क्या बिहार में सोशल मीडिया पर हथियार दिखाना महंगा पड़ गया?

सारांश
Key Takeaways
- सोशल मीडिया पर हथियारों का प्रदर्शन करना कानूनी रूप से गलत है।
- लाइसेंसी हथियार का उपयोग केवल आत्मरक्षा के लिए होना चाहिए।
- पुलिस ऐसे मामलों में सख्त कार्रवाई कर रही है।
- यह घटना समाज में भय पैदा कर सकती है।
- सोशल मीडिया पर जिम्मेदारी से व्यवहार करना आवश्यक है।
मोतिहारी, 16 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। यदि आप सोशल मीडिया पर हथियारों का प्रदर्शन कर रहे हैं तो सावधान रहें, क्योंकि पुलिस आपके खिलाफ कार्रवाई कर सकती है। ऐसा एक मामला बिहार के पूर्वी चम्पारण जिले के हरसिद्धि थाना क्षेत्र में देखने को मिला, जहां एक व्यक्ति को सोशल मीडिया पर हथियार लहराना महंगा पड़ा और पुलिस ने उनके घर से कई हथियारों को जब्त कर लिया।
पुलिस के अनुसार, हरसिद्धि थाना क्षेत्र के मुरारपुर गांव में एक व्यक्ति की हथियार लहराने की तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल हुई। जब पुलिस ने इस वायरल तस्वीर की जांच की, तो पता चला कि यह अरविंद सिंह और उनके बेटे सिद्धार्थ कुमार हैं। इसके बाद, आवश्यक कार्रवाई के लिए पुलिस उपाधीक्षक सह थानाध्यक्ष साइबर थाना मोतिहारी के नेतृत्व में एक विशेष जांच दल का गठन किया गया। टीम ने त्वरित कार्रवाई करते हुए अरविंद सिंह के घर से वायरल तस्वीर वाली बंदूक और अन्य हथियार जब्त कर लिए।
पुलिस उपाधीक्षक (साइबर थाना) अभिनव परासर ने बताया कि छापेमारी के दौरान पुलिस को एक लाइसेंसी बंदूक, एक लाइसेंसी पिस्टल, दो एयरगन, दो मैगजीन और 50 कारतूस मिले, जिन्हें जब्त कर लिया गया है। इसके साथ ही, पुलिस ने दो लाइसेंस बुक भी अपने कब्जे में ले ली हैं।
उपाधीक्षक ने कहा कि हथियार का इस तरह से सार्वजनिक प्रदर्शन करना कानूनी दृष्टि से गलत है। लाइसेंसी हथियार रखने का मुख्य उद्देश्य आत्मरक्षा होता है, न कि सोशल मीडिया पर प्रदर्शन करना। इससे लोगों में भय उत्पन्न हो सकता है। जब्त किए गए हथियारों के संबंध में आगे की कानूनी कार्रवाई की जा रही है।
इस छापेमारी दल में नगर थाना प्रभारी राजीव रंजन और मुफ्फसिल पुलिस निरीक्षक मुन्ना कुमार भी शामिल थे। पुलिस इस पूरे मामले की गहन जांच कर रही है।