क्या अगस्ता वेस्टलैंड घोटाले में क्रिश्चियन मिशेल को रिहाई मिलेगी? राऊज एवेन्यू कोर्ट से बड़ा झटका

सारांश
Key Takeaways
- क्रिश्चियन मिशेल की रिहाई की याचिका खारिज हुई।
- कोर्ट ने ईडी और सीबीआई के विरोध को ध्यान में रखा।
- मिशेल पर गंभीर आरोप हैं, जिनके लिए आजीवन कारावास की सजा हो सकती है।
- उसे 2018 में संयुक्त अरब अमीरात से प्रत्यर्पित किया गया था।
- वह वर्तमान में तिहाड़ जेल में है।
नई दिल्ली, 8 अगस्त (राष्ट्र प्रेस)। अगस्ता वेस्टलैंड वीवीआईपी हेलीकॉप्टर घोटाले में संदिग्ध बिचौलिए क्रिश्चियन मिशेल जेम्स को राऊज एवेन्यू कोर्ट से एक बड़ा झटका लगा है। कोर्ट ने मिशेल की उस याचिका को खारिज कर दिया है, जिसमें उसने जेल से रिहाई के निर्देश देने की मांग की थी।
कोर्ट ने कहा कि आरोपी पर आरोप है कि उसने आईपीसी की धारा 467 के तहत अपराध किया है, जिसके लिए उसे आजीवन कारावास की सजा हो सकती है। इसलिए, यह नहीं कहा जा सकता कि क्रिश्चियन मिशेल जेम्स ने पहले से तय की गई अधिकतम सजा की अवधि पूरी कर ली है।
अदालत ने यह भी स्पष्ट किया कि धारा 467 लागू होने का मुद्दा आरोप तय करने की प्रक्रिया के दौरान देखा जाएगा। इसलिए, फिलहाल उसे रिहा नहीं किया जा सकता।
कोर्ट में ईडी और सीबीआई ने मिशेल की याचिका का विरोध किया। मिशेल ने यह तर्क दिया कि जिन अपराधों का आरोप उस पर है, उनके लिए अधिकतम सजा केवल सात साल है, और वह यह अवधि पहले ही जेल में काट चुका है।
इस वर्ष 18 फरवरी को, सर्वोच्च न्यायालय ने सीबीआई मामले में मिशेल को जमानत दी थी। इसके बाद, दिल्ली उच्च न्यायालय ने भी उसे ईडी मामले में जमानत दी थी, लेकिन मूल जमानत आदेश के तहत, आरोपी को 5-5 लाख रुपये का निजी मुचलका और जमानत राशि जमा करनी थी और निचली अदालत में अपना पासपोर्ट जमा करना था, जिसमें भारत में अपने निवास की जानकारी भी देनी थी। इसके खिलाफ क्रिश्चियन मिशेल जेम्स ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था, लेकिन वहां से उसे कोई राहत नहीं मिली।
गौरतलब है कि जेम्स को 5 दिसंबर 2018 को संयुक्त अरब अमीरात से भारत प्रत्यर्पित किया गया था। भारत पहुंचने के बाद, केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने उसे गिरफ्तार कर लिया, और कुछ दिन बाद प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने भी उसे पकड़ लिया। तब से वह तिहाड़ जेल में है।