क्या ओडिशा में कांग्रेस नेता पंचानन कानूनगो ने 'नेक्स्ट जेनरेशन जीएसटी' को जुमला बताया?

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क्या ओडिशा में कांग्रेस नेता पंचानन कानूनगो ने 'नेक्स्ट जेनरेशन जीएसटी' को जुमला बताया?

सारांश

कांग्रेस नेता पंचानन कानूनगो ने 'नेक्स्ट जेनरेशन जीएसटी' को लोगों को गुमराह करने की रणनीति बताया। क्या यह सच है? जानिए उनके तर्क और सरकार की नीतियों पर उनके विचार।

Key Takeaways

  • पंचानन कानूनगो की आलोचना में जीएसटी के प्रभाव पर चिंता व्यक्त की गई है।
  • 'एक राष्ट्र, एक कर' की अवधारणा को मिथक कहा गया है।
  • छोटे उद्योगों को अभिशाप और बड़े कॉर्पोरेट्स को लाभ पहुंचाने का आरोप।
  • सरकार को संरचनात्मक मुद्दों का समाधान करने की आवश्यकता है।
  • जीएसटी सुधार के नाम पर स्थानीय बाजार को नुकसान हो रहा है।

भुवनेश्वर, 21 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। कांग्रेस के प्रमुख नेता और पूर्व वित्त मंत्री पंचानन कानूनगो ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा प्रस्तुत 'नेक्स्ट जेनरेशन जीएसटी' की तीखी आलोचना की है। उन्होंने इसे लोगों को गुमराह करने की रणनीति करार देते हुए कहा कि मोदी सरकार कर ढांचे को सरल बनाने में पूर्णत: असफल रही है।

कानूनगो ने राष्ट्र प्रेस से बातचीत में कहा, "'एक राष्ट्र, एक कर' का वादा एक मिथक बन चुका है। आज भी आम आदमी कई करों के बोझ तले दबा हुआ है। जीएसटी से कोई लाभ नहीं हुआ, बल्कि आवश्यक वस्तुओं, परिवहन, पेट्रोल और डीजल पर अप्रत्यक्ष कर बढ़ गए हैं। इससे उत्पादकों और उपभोक्ताओं दोनों की लागत में वृद्धि हुई है।"

उन्होंने जीएसटी प्रणाली को छोटे उद्योगों के लिए अभिशाप बताया और कहा, "एफएमसीजी क्षेत्र, छोटे उत्पादक और एमएसएमई सबसे अधिक प्रभावित हैं। बड़ी कंपनियां जैसे हिंदुस्तान यूनिलीवर बाजार पर काबिज हो चुकी हैं, जबकि छोटे निर्माता प्रतिस्पर्धा नहीं कर पा रहे हैं। सरकार एमएसएमई को बढ़ावा देने का दावा करती है, लेकिन वास्तविकता में अनुपालन की जटिलताएं और कर बोझ उन्हें बर्बाद कर रहे हैं।"

पूर्व वित्त मंत्री ने परिवहन और ईंधन करों पर भी हमला करते हुए कहा, "राहत देने के बजाय, सरकार उत्पादकों और उपभोक्ताओं को निचोड़ रही है। जीएसटी सुधार के नाम पर केवल बड़े कॉर्पोरेट्स को फायदा हुआ है, जबकि स्थानीय बाजार और छोटे व्यवसाय तबाह हो रहे हैं।" कानूनगो ने 'नेक्स्ट जेनरेशन जीएसटी' को मौजूदा दोषपूर्ण प्रणाली का नया चेहरा बताया और कहा कि यह अर्थव्यवस्था की रीढ़ एमएसएमई को वास्तविक लाभ से वंचित रखने की साजिश है। सरकार को बड़े-बड़े दावे छोड़कर संरचनात्मक मुद्दों का समाधान करना चाहिए।

बता दें कि पंचानन कानूनगो का यह बयान स्वतंत्रता दिवस पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा की गई घोषणा के तुरंत बाद आया है, जिसमें उन्होंने दिवाली तक जीएसटी में दो स्लैब (5 और 18 प्रतिशत) लागू करने और व्यापारियों को राहत देने का वादा किया था।

Point of View

एक संतुलित कर प्रणाली की आवश्यकता है जो सभी स्तरों के व्यवसायों के लिए समान अवसर प्रदान करे।
NationPress
21/09/2025

Frequently Asked Questions

पंचानन कानूनगो ने 'नेक्स्ट जेनरेशन जीएसटी' के बारे में क्या कहा?
उन्होंने इसे लोगों को गुमराह करने की रणनीति बताया और कहा कि यह कर ढांचे को सरल बनाने में असफल रही है।
'नेक्स्ट जेनरेशन जीएसटी' का मुख्य मुद्दा क्या है?
मुख्य मुद्दा यह है कि जीएसटी छोटे उद्योगों के लिए अभिशाप बन गया है और यह बड़े कॉर्पोरेट्स को फायदा पहुंचा रहा है।