क्या तमिलनाडु की तरफ बढ़ रहा चक्रवाती तूफान 'मोंथा' है खतरनाक?
सारांश
Key Takeaways
- तमिलनाडु में चक्रवाती तूफान 'मोंथा' का खतरा है।
- ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है।
- तूफान की गति 8 किलोमीटर प्रति घंटे है।
- तूफान के कारण भारी बारिश और तेज हवाएं हो सकती हैं।
- मछुआरों को समुद्र में जाने से मना किया गया है।
चेन्नई, 26 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। दक्षिण-पूर्वी बंगाल की खाड़ी में बन रहा गहरा दबाव क्षेत्र धीरे-धीरे एक शक्तिशाली चक्रवाती तूफान 'मोंथा' में बदलने की संभावना है। भारत मौसम विभाग (आईएमडी) द्वारा जारी चेतावनी के बाद, तमिलनाडु के उत्तरी तटीय क्षेत्रों में ऑरेंज अलर्ट जारी कर दिया गया है।
मौसम विभाग के अनुसार, यह चक्रवाती तूफान उत्तर-पश्चिम दिशा में बढ़ रहा है और इसकी गति लगभग 8 किलोमीटर प्रति घंटे है। अगले 48 घंटों में, तमिलनाडु और पुडुचेरी के तटीय जिलों में भारी बारिश और तेज़ हवाओं का सामना करना पड़ सकता है।
दक्षिण-पूर्वी बंगाल की खाड़ी में बना यह दबाव क्षेत्र रविवार सुबह 5:30 बजे चेन्नई से लगभग 800 किलोमीटर पूर्व-दक्षिण पूर्व में स्थित था।
आईएमडी के पूर्वानुमान के अनुसार, यह दबाव क्षेत्र सोमवार सुबह तक चक्रवाती तूफान में परिवर्तित हो जाएगा। मौसम विशेषज्ञों का कहना है कि यह प्रणाली उत्तर-उत्तर-पश्चिम दिशा में बढ़ती रहेगी, और सोमवार रात या मंगलवार सुबह तक गंभीर चक्रवाती तूफान बन सकती है।
यह तूफान मंगलवार की शाम या रात को आंध्र प्रदेश के तट से काकीनाडा के पास, मछलीपट्टनम और कलिंगपट्टनम के बीच होकर गुजर सकता है।
तूफान के दौरान हवा की गति 90 से 100 किलोमीटर प्रति घंटे तक पहुंच सकती है, जबकि आंध्र और उत्तरी तमिलनाडु के तटों पर हवाएं 110 किलोमीटर प्रति घंटे तक चल सकती हैं। मछुआरों को समुद्र में जाने से मना किया गया है।
इस प्रणाली के कारण, रविवार को तिरुवल्लुर, चेन्नई, चेंगलपट्टू, कांचीपुरम, विल्लुपुरम, रानीपेट जिलों और पुडुचेरी में भारी से बहुत भारी बारिश का अनुमान है।
मौसम विभाग ने इन क्षेत्रों के लिए ऑरेंज अलर्ट जारी किया है, जिसका अर्थ है कि इन क्षेत्रों में तेज बारिश और हवा से खतरा बढ़ सकता है। सोमवार को रानीपेट, तिरुवल्लुर और चेन्नई जिलों में भारी बारिश की संभावना है।
मंगलवार तक बारिश का क्षेत्र उत्तर की तरफ बढ़ेगा और रानीपेट और तिरुवल्लुर जिलों में विशेष रूप से जोरदार बारिश हो सकती है।
जिलों की प्रशासनिक टीमों को उच्च अलर्ट पर रखा गया है और आपदा प्रबंधन टीमों को निर्देशित किया गया है कि वे अगले 48 घंटों में भारी बारिश, बाढ़ या तेज हवाओं से उत्पन्न किसी भी आपात स्थिति का सामना करने के लिए तैयार रहें।