क्या ग्राहम स्टेंस मामले में दारा सिंह की रिहाई की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट फरवरी 2026 में सुनवाई करेगा?
सारांश
Key Takeaways
- ग्राहम स्टेंस और उनके बेटों की हत्या ने पूरे देश में आक्रोश पैदा किया।
- दारा सिंह ने अपनी रिहाई की मांग की है।
- ओडिशा सरकार ने एक विशेष समिति का गठन किया है।
- दारा सिंह को 24 वर्षों से जेल में रखा गया है।
- सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई टाली है।
नई दिल्ली, 5 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। ऑस्ट्रेलियाई मिशनरी ग्राहम स्टेंस और उनके दो नाबालिग बेटों की हत्या के मामले में उम्रकैद की सजा भोग रहे रविंद्र कुमार पाल उर्फ दारा सिंह की जल्द रिहाई की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई को टाल दिया है। अब इस मामले की अगली सुनवाई फरवरी 2026 के दूसरे सप्ताह में निर्धारित की गई है।
सुप्रीम कोर्ट में हुई सुनवाई के दौरान ओडिशा सरकार ने जानकारी दी कि राज्य सरकार ने एक विशेष समिति का गठन किया है, जो दारा सिंह की समय पूर्व रिहाई की अर्जी पर विचार कर रही है। इसी कारण कोर्ट ने फिलहाल सुनवाई स्थगित कर दी है।
दारा सिंह ने अपनी याचिका में कहा है कि उनकी उम्र अब 61 वर्ष हो चुकी है और वे पिछले 24 वर्षों से अधिक समय से जेल में हैं। इस दौरान उन्हें एक बार भी पैरोल नहीं मिली। उनकी मां का निधन हो गया, लेकिन वह उनका अंतिम संस्कार भी नहीं कर सके। दारा सिंह ने अच्छे व्यवहार का हवाला देते हुए रिहाई की मांग की है।
23 जनवरी 1999 की रात को ओडिशा के क्योंझर जिले के मनोहरपुर गांव में ऑस्ट्रेलियाई मिशनरी ग्राहम स्टेंस अपने दो छोटे बेटों फिलिप (10 वर्ष) और तिमोथी (6 वर्ष) के साथ एक जीप में सो रहे थे। एक उग्र भीड़ ने उनकी गाड़ी में आग लगा दी, जिससे तीनों जिंदा जल गए। इस घटना ने पूरे देश और दुनिया में आक्रोश उत्पन्न किया।
सीबीआई जांच के बाद दारा सिंह को मुख्य आरोपी माना गया। 2003 में सेशन कोर्ट ने उसे मौत की सजा सुनाई, लेकिन 2005 में ओडिशा हाईकोर्ट ने इसे उम्रकैद में बदल दिया। 2019 में सुप्रीम कोर्ट ने भी उम्रकैद की सजा को बरकरार रखा था।