क्या कर्नाटक और हिमाचल प्रदेश में भ्रष्टाचार की पराकाष्ठा हो रही है?

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क्या कर्नाटक और हिमाचल प्रदेश में भ्रष्टाचार की पराकाष्ठा हो रही है?

सारांश

केंद्र की मोदी सरकार के डिजिटल इंडिया मिशन ने 10 साल पूरे कर लिए हैं। भाजपा प्रवक्ता प्रदीप भंडारी ने कांग्रेस पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए हैं। जानें कैसे डिजिटल इंडिया ने देश के गरीबों को प्रभावित किया है और विपक्ष का क्या कहना है।

Key Takeaways

  • डिजिटल इंडिया मिशन ने 10 साल पूरे कर लिए हैं।
  • कर्नाटक और हिमाचल प्रदेश में भ्रष्टाचार बढ़ रहा है।
  • यूपीआई के जरिए 50 प्रतिशत डिजिटल लेनदेन भारत में हो रहे हैं।
  • 95 प्रतिशत गांवों में इंटरनेट पहुंच चुका है।
  • कोविड पोर्टल डिजिटल इंडिया का हिस्सा है।

नई दिल्ली, 1 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। केंद्र की मोदी सरकार के डिजिटल इंडिया मिशन ने अपने 10 साल पूरे कर लिए हैं। इस अवसर पर भारतीय जनता पार्टी जश्न मना रही है।

भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता प्रदीप भंडारी ने कांग्रेस पर आरोप लगाते हुए कहा कि जहां एक ओर डिजिटल इंडिया मिशन के 10 साल पूरे हुए हैं, वहीं कर्नाटक में कुर्सी की लड़ाई चल रही है, जिसका इतिहास भ्रष्टाचार से भरा हुआ है। उनके डीएनए में भ्रष्टाचार समाहित है। पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी कहा करते थे कि अगर सरकार 1 रुपए भेजती है तो 15 पैसे ही गरीबों तक पहुंचते हैं। कर्नाटक और हिमाचल प्रदेश में भ्रष्टाचार की भरपूर घटनाएं हो रही हैं।

प्रदीप भंडारी ने आगे कहा कि कांग्रेस ने संसद में सवाल उठाया था कि क्या गरीब कभी डिजिटल ट्रांजेक्शन का उपयोग कर सकता है? उन्होंने बताया कि जब से डिजिटल इंडिया के 10 साल पूरे हुए हैं, तब दुनिया के 50 प्रतिशत डिजिटल लेनदेन भारत में यूपीआई के माध्यम से हो रहे हैं। यह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विकास मॉडल की सफलता है।

उन्होंने कहा कि आज 95 प्रतिशत गांवों में इंटरनेट पहुंच चुका है। कांग्रेस के शासन में 27 करोड़ इंटरनेट कनेक्शन थे, जबकि अब यह संख्या 97 करोड़ हो गई है। सियाचिन में 5जी इंटरनेट भी पहुंच चुका है और भारत इस मामले में दुनिया में पहले स्थान पर है। आज देश का गरीब इस डिजिटल इंडिया मिशन से जुड़ रहा है, और 25 करोड़ से अधिक लोग गरीबी रेखा से बाहर आ चुके हैं।

प्रदीप भंडारी ने कहा कि राहुल गांधी अपने आपको शहंशाह समझते थे, लेकिन प्रधानमंत्री मोदी की सरकार में जो डिजिटल क्रांति हुई है, उसके सबसे बड़े भागीदार देश के गरीब हैं। हर गरीब यूपीआई के जरिए जुड़ रहा है और पीएम मोदी गरीबों की सेवा एक सेवक के रूप में कर रहे हैं। आज रिकॉर्ड तोड़ ऑनलाइन ट्रांजेक्शन हो रहे हैं।

उन्होंने कहा कि विपक्ष ने कोविड पोर्टल और कोरोना वैक्सीन का विरोध किया था। यह देश के लिए सबसे बड़ा उदाहरण है कि 200 करोड़ से अधिक वैक्सीन के डोज़ लग चुके हैं। कोविड पोर्टल भी डिजिटल इंडिया मिशन का एक हिस्सा है।

Point of View

यह स्पष्ट है कि डिजिटल इंडिया मिशन ने समाज के गरीब वर्ग को सशक्त किया है। लेकिन भ्रष्टाचार की समस्या भी गंभीर है, जिसे सुलझाने की आवश्यकता है।
NationPress
20/07/2025

Frequently Asked Questions

डिजिटल इंडिया मिशन का क्या महत्व है?
डिजिटल इंडिया मिशन ने देश में डिजिटल लेनदेन को बढ़ावा दिया है और लोगों को तकनीकी रूप से सशक्त किया है।
भ्रष्टाचार के आरोपों का क्या सच है?
कर्नाटक और हिमाचल प्रदेश में भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप हैं, जो राजनीतिक स्थिरता को प्रभावित करते हैं।