क्या द्वारका पुलिस ने 6 घंटे में कार जैकिंग केस सुलझा लिया?

सारांश
Key Takeaways
- द्वारका पुलिस ने 6 घंटे में कार जैकिंग केस सुलझाया।
- 4 नाबालिग, कुख्यात गैंग से जुड़े पाए गए।
- पुलिस ने लूटी गई संपत्ति बरामद की।
- आरोपियों की गिरफ्तारी तकनीकी निगरानी से हुई।
- पुलिस की सक्रियता से कानून व्यवस्था में सुधार।
नई दिल्ली, 13 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। द्वारका जिला पुलिस ने केवल 6 घंटे में कार जैकिंग की एक घटना का खुलासा करते हुए 4 नाबालिगों को गिरफ्तार किया है। ये सभी नाबालिग कुख्यात अमन उर्फ राज्जी गैंग से जुड़े हुए बताए जा रहे हैं। पुलिस ने उनके पास से लूटी गई कार, मोबाइल फोन, एटीएम कार्ड, पर्स और अन्य सामान भी बरामद किया है।
दरअसल, 11 सितंबर की रात लगभग 9:58 बजे द्वारका साउथ थाना क्षेत्र में एक कैब ड्राइवर ने पीसीआर कॉल करके कार लूट की सूचना दी। शिकायतकर्ता ने बताया कि उसे एक बुकिंग मिली थी, जिसके तहत चार लड़के उसकी सफेद रंग की कार में सवार हुए और कालकाजी जाने के लिए कहा। इसके बाद, जब वे सेक्टर-7 द्वारका के सिद्धार्थ कुंज अपार्टमेंट और भैंसवाला पार्क के बीच सुनसान जगह पर पहुंचे, तो आरोपियों ने ड्राइवर को जबरन कार से बाहर खींच लिया और गला दबाकर नीचे उतार दिया। इसके पश्चात सभी नाबालिग लूटी गई कार, मोबाइल फोन, एटीएम कार्ड और पर्स के साथ फरार हो गए।
इस मामले में एफआईआर संख्या 350/2025, धारा 309(4)/3(5) बीएनएस के तहत द्वारका साउथ थाने में मामला दर्ज किया गया। सूचना मिलते ही एसएचओ द्वारका साउथ के नेतृत्व में पुलिस की कई टीमें गठित की गईं। इलाके की सघन तलाशी ली गई, सीसीटीवी फुटेज की जांच की गई और टोल प्लाजा को अलर्ट किया गया।
तकनीकी निगरानी और हेड कॉन्स्टेबल प्रवीण यादव की गुप्त सूचना के आधार पर पुलिस ने लूटी गई कार को सेक्टर-6 द्वारका के अनुसंधान अपार्टमेंट के पास ट्रेस किया। यहां पुलिस ने घेराबंदी कर कार में बैठे चारों नाबालिग आरोपियों को पकड़ लिया।
पुलिस टीम में एसआई अभिषेक राणा, एएसआई महावीर, एचसी प्रवीण यादव, एचसी सुधीर, एचसी मनोज, एचसी सुरेंद्र और एचसी दिलबाग शामिल थे। यह कार्रवाई एसएचओ द्वारका साउथ राजेश कुमार साह के नेतृत्व और एसीपी द्वारका किशोर कुमार रेवाला की देखरेख में की गई।
आरोपियों ने पूछताछ में बताया कि वारदात के बाद वे शास्त्री पार्क अपनी गर्लफ्रेंड से मिलने गए थे और फिर कालका माता मंदिर आशीर्वाद लेने पहुंचे। इसके बाद उन्होंने कार के अंदर से एक वीडियो बनाया, जिसमें वे कह रहे थे, "ये देखो, ये हमारे भाइयों ने, अपने सारे भाइयों ने ये गाड़ी लूट ली है।"
पुलिस के अनुसार, आरोपी इस वीडियो को अपने गैंग सर्कल में वायरल कर फेमस होना चाहते थे। वे अपने आपको अमन उर्फ राज्जी गैंग का सदस्य बताते हैं। राज्जी पर आरोप है कि वह अपने प्रतिद्वंद्वियों पर फायरिंग करके वीडियो बनाकर वायरल करता रहा है।