क्या किरदार निभाना अपनी सोच के विपरीत होना असली मजा है? : इमरान हाशमी
सारांश
Key Takeaways
- इमरान हाशमी की फिल्म 'हक' एक वकील पर आधारित है।
- उन्होंने बताया कि किरदार निभाने में चुनौती असली प्रेरणा होती है।
- यह किरदार उनकी सोच से विपरीत है।
- अभिनय के दौरान सीखने की प्रक्रिया महत्वपूर्ण होती है।
- उनके लिए ऐसे किरदार निभाना नया अनुभव लाता है।
मुंबई, 5 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। अभिनेता इमरान हाशमी अपनी अद्वितीय अभिनय क्षमता और विभिन्न प्रकार के किरदारों के लिए प्रसिद्ध हैं। रोमांटिक और ग्रे शेड वाले रोल्स से लेकर सस्पेंस और थ्रिलर फिल्मों तक, उन्होंने हमेशा दर्शकों को एक नई झलक से चौंकाया है। इस बार, इमरान अपनी आगामी फिल्म 'हक' के माध्यम से प्रशंसकों के सामने वापस आ रहे हैं।
इस फिल्म में वह एक वकील का किरदार निभा रहे हैं, जो प्रसिद्ध वकील मोहम्मद अहमद खान से प्रेरित है। दिलचस्प यह है कि यह किरदार इमरान की निजी सोच से पूरी तरह भिन्न है, जो उन्हें इस भूमिका के प्रति आकर्षित करता है।
फिल्म के प्रचार के दौरान, इमरान हाशमी ने राष्ट्र प्रेस से अपने अभिनय के तरीकों और दृष्टिकोण के बारे में बात की। उन्होंने कहा कि कलाकारों को अक्सर ऐसे किरदार निभाने में मजा आता है, जो उनकी अपनी मान्यताओं से दूर होते हैं।
इमरान ने कहा, ''अगर कोई रोल मेरे दृष्टिकोण से मेल नहीं खाता, तो वह एक बड़ी चुनौती बन जाती है और एक कलाकार के लिए चुनौती असली प्रेरणा होती है। कभी-कभी आप ऐसे किरदार निभाते हैं जो आपकी सोच के करीब होते हैं, लेकिन असली मजा तब आता है जब आप किसी ऐसे व्यक्ति को पर्दे पर जीवित करते हैं जिसे आप नहीं समझते।''
उन्होंने आगे कहा, ''जब कोई किरदार आपकी सोच से भिन्न होता है, तो उसे निभाने में मेहनत और गहराई दोनों की आवश्यकता होती है। हर अभिनेता के लिए यह एक सीखने की प्रक्रिया होती है। जब आप स्क्रिप्ट पढ़ते हैं और उन दृश्यों को महसूस करते हुए निभाते हैं, तो धीरे-धीरे उस किरदार की असलियत सामने आने लगती है।''
इमरान कहते हैं, ''जब मैं किसी किरदार में उतरता हूं, तो मैं सिर्फ डायलॉग याद नहीं करता। मैं समझने की कोशिश करता हूं कि यह व्यक्ति ऐसा क्यों सोचता है, उसके निर्णयों के पीछे क्या भावनाएं हैं। ऐसा करते-करते मैं महसूस करता हूं कि यही इस किरदार की सच्चाई है।''
इमरान हाशमी का मानना है कि किसी ऐसे किरदार को निभाना जो आपकी अपनी सोच के करीब है, उतना रोमांचक नहीं होता क्योंकि आप पहले से जानते हैं कि वह व्यक्ति कैसे महसूस करेगा। लेकिन जब किरदार आपकी सोच से दूर होता है, तो उसे निभाने में नया अनुभव और उत्साह जुड़ जाता है।
फिल्म 'हक' 7 नवंबर को सिनेमाघरों में रिलीज होने जा रही है।