क्या जैस्मिन लंबोरिया ने ओलंपिक मेडलिस्ट को हराकर गोल्ड जीते?

सारांश
Key Takeaways
- जैस्मिन लंबोरिया ने वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप में गोल्ड जीता।
- उन्होंने ओलंपिक मेडलिस्ट जूलिया को हराया।
- जैस्मिन की सफलता का श्रेय उनके पिता को जाता है।
- यह जीत भिवानी के लिए गर्व का विषय है।
- जैस्मिन ओलंपिक वेट कैटेगरी में मेडल जीतने वाली इकलौती भारतीय हैं।
भिवानी, 14 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप में भिवानी की बॉक्सिंग प्रतिभाएं अपने प्रदर्शन से सबको प्रभावित कर रही हैं। इन बेटियों ने चैंपियनशिप में गोल्ड, सिल्वर और ब्रॉन्ज मेडल जीते हैं। जैस्मिन लंबोरिया ने 57 किलोग्राम भार वर्ग में 2024 ओलंपिक की सिल्वर मेडलिस्ट जूलिया को हराकर गोल्ड जीता।
जैस्मिन के पिता संदीप लंबोरिया ने उन्हें कोचिंग दी है। बेटी की सफलता पर गर्व करते हुए उन्होंने राष्ट्र प्रेस से कहा, "शनिवार को जैस्मिन ने फाइनल मैच जीतकर देश का नाम रौशन किया है। उनका गोल्ड मेडल मुकाबला पोलैंड की एक बॉक्सर के खिलाफ था, जिसने पेरिस ओलंपिक 2024 में सिल्वर मेडल जीता था। इस मुकाबले में जैस्मिन ने एकतरफा जीत हासिल की।"
संदीप लंबोरिया ने कहा, "जैस्मिन ने चैंपियनशिप में जाने से पहले ही तय कर लिया था कि उन्हें गोल्ड जीतना है। उन्होंने अपने वादे को पूरा किया है। जब जैस्मिन घर लौटेंगी, तो हम उनका शानदार स्वागत करेंगे। भिवानी की तीन प्रतिभाशाली बेटियों ने मिलकर गोल्ड, सिल्वर और ब्रॉन्ज मेडल जीते हैं। युवा खिलाड़ियों को इनसे प्रेरणा लेनी चाहिए। जैस्मिन ओलंपिक वेट कैटेगरी में मेडल जीतने वाली इकलौती भारतीय बॉक्सर हैं। यह एक बहुत बड़ी उपलब्धि है। अगले वर्ष एशियन गेम्स और कॉमनवेल्थ गेम्स में भी जैस्मिन गोल्ड जीतकर देश को गर्वित करना चाहेंगी।"
उन्होंने कहा, "जैस्मिन की इस जीत के बाद परिवार को लगातार बधाइयां मिल रही हैं। लोग जैस्मिन से मिलकर उन्हें आशीर्वाद देना चाहते हैं। जैस्मिन मेरी बेटी हैं, इसलिए मुझे खुशी है। लेकिन यदि मेरा कोई भी शिष्य मेडल जीतेगा, तो मुझे उतनी ही खुशी होगी।"
वर्ल्ड बॉक्सिंग चैंपियनशिप में 20 भार वर्ग (10 पुरुष, 10 महिलाएं) होते हैं। इनमें से 14 ओलंपिक वेट कैटेगरी हैं। जैस्मिन ओलंपिक वेट कैटेगरी में जीतने वाली इकलौती भारतीय बॉक्सर हैं। अब जैस्मिन अगले साल होने वाले एशियन और कॉमनवेल्थ गेम्स की तैयारी करेंगी।