क्या कर्नाटक विधान परिषद के नेता प्रतिपक्ष चलवाड़ी नारायण स्वामी ने कांग्रेस के नेताओं की अनुभवहीनता पर सवाल उठाया?

सारांश
Key Takeaways
- कांग्रेस के नेताओं में अनुभव की कमी
- ऑपरेशन सिंदूर का महत्व
- राजनीतिक दलों की जिम्मेदारी
- सुरक्षा मामलों पर सरकार का निर्णय
- वायुसेना का प्रभाव
बेंगलुरु, 9 अगस्त (राष्ट्र प्रेस)। 'ऑपरेशन सिंदूर' के संदर्भ में वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल एपी सिंह के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए, कर्नाटक विधान परिषद के नेता प्रतिपक्ष चलवाड़ी नारायण स्वामी ने कांग्रेस को कठघरे में खड़ा किया है। उनके अनुसार, कांग्रेस के नेताओं में अनुभव की कमी है।
राष्ट्र प्रेस से बातचीत में, चलवाड़ी नारायण स्वामी ने कहा कि कांग्रेस हमेशा प्रधानमंत्री मोदी के खिलाफ कुछ न कुछ कहने का प्रयास करती है, इसलिए वह लगातार सवाल उठाती रहती है। 'ऑपरेशन सिंदूर' में पाकिस्तान के कितने जेट गिराए गए, यह सभी रिकॉर्ड में है। लेकिन कांग्रेस को तात्कालिक जवाब चाहिए। किस मुद्दे पर और कब जवाब देना है, यह सरकार तय करती है क्योंकि यह देश की सुरक्षा से संबंधित है। कांग्रेस के नेताओं में अनुभव की कमी है, जिसके कारण उन्हें यह समझ नहीं आता कि कब क्या पूछना चाहिए।
भारतीय वायुसेना प्रमुख ने शनिवार को 'ऑपरेशन सिंदूर' के दौरान पाकिस्तान को हुए भारी नुकसान के बारे में जानकारी दी। एयर चीफ मार्शल सिंह ने दो तस्वीरें प्रस्तुत की, जिनमें पाकिस्तान में हुए नुकसान के पहले और बाद के दृश्य स्पष्ट दिखाई दिए। इन तस्वीरों में यह दर्शाया गया कि भारत ने 'ऑपरेशन सिंदूर' के तहत आतंकियों के ठिकानों पर सटीक हमला कर उन्हें नेस्तनाबूद कर दिया। उन्होंने यह भी बताया कि भारत ने पाकिस्तान के 5 जेट सहित कुल 6 विमानों को मार गिराया था।
इस बीच, चुनाव आयोग ने राहुल गांधी से आरोपों को लेकर हलफनामा मांगा है। इस पर चलवाड़ी नारायण स्वामी ने कहा कि चुनाव आयोग ने राहुल गांधी को चुनौती दी है कि यदि उनमें साहस है तो हलफनामा दाखिल करें, लेकिन वे यहाँ से भाग गए हैं। उन्होंने किसी भी सवाल का जवाब नहीं दिया। भीमराव अंबेडकर ने कहा था कि कांग्रेस एक जलता हुआ घर है। मैं 13 हजार वोटों से चुनाव हार गया, लेकिन अवैध वोटों की संख्या 75 हजार है। इसके बाद इंदिरा गांधी के समय में भी यही हुआ। यह वंशानुगत है।