क्या ज्योति सिंह के रूप में काराकाट को मिलेगी महिला विधायक या एनडीए-महागठबंधन के उम्मीदवार करेंगे बाजी?
सारांश
Key Takeaways
- काराकाट विधानसभा सीट पर ज्योति सिंह का निर्दलीय उम्मीदवार बनना दिलचस्प है।
- एनडीए और महागठबंधन के बीच सीधी टक्कर है।
- पिछले चुनावों का इतिहास राजद का दबदबा दिखाता है।
- स्थानीय मुद्दे इस बार महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं।
नई दिल्ली, 1 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। बिहार विधानसभा चुनाव के चलते विभिन्न राजनीतिक दलों द्वारा जोरदार चुनावी सभाओं का आयोजन किया जा रहा है। कुछ विधानसभा सीटें न केवल बिहार, बल्कि पूरे देश की बारिकी से देखी जा रही हैं। इनमें काराकाट विधानसभा सीट भी शामिल है, जो सामान्य श्रेणी की है। यहां महागठबंधन और एनडीए के उम्मीदवारों के बीच एक सीधी प्रतिद्वंद्विता है, लेकिन भोजपुरी सिनेमा की प्रसिद्धि के चलते पवन सिंह की पत्नी ज्योति सिंह का निर्दलीय उम्मीदवार बनना मुकाबले को और भी दिलचस्प बना रहा है।
अब चर्चा इस बात की है कि क्या इस बार काराकाट की जनता ज्योति सिंह को महिला विधायक के रूप में चुनने जा रही है या फिर चुनावी खेल में एनडीए या महागठबंधन के उम्मीदवार जीत हासिल करेंगे।
इस क्षेत्र से एनडीए उम्मीदवार महाबली सिंह के प्रचार के लिए भाजपा सांसद मनोज तिवारी, रवि किशन, और पूर्व सांसद दिनेश लाल यादव सक्रिय हैं। वहीं, महागठबंधन से अरुण सिंह
पिछले पांच चुनावों में, राजद का इस सीट पर दबदबा रहा है, जबकि जदयू ने केवल एक बार यहां जीत दर्ज की है। 2015 के विधानसभा चुनाव में राजद ने जीत हासिल की, जबकि भाजपा दूसरे स्थान पर रही। इस बार भी राजद ने 2000 और 2005 के चुनाव में जीत दर्ज की।
इस सीट में कुल जनसंख्या 567897 है, जिसमें पुरुष 293905 और महिलाएं 273992 हैं। चुनाव आयोग के आंकड़ों के अनुसार, यहां कुल मतदाता 337162 हैं।
काराकाट विधानसभा क्षेत्र एक कृषि-प्रधान क्षेत्र है, लेकिन विकास की कमी और सामाजिक-आर्थिक चुनौतियां यहां की मुख्य समस्याएं हैं। स्थानीय निवासी इस बार ऐसे नेतृत्व का चुनाव करने का मन बना चुके हैं जो उनकी समस्याओं का समाधान कर सके।