क्या लोनावला में कुख्यात अपराधी बेताब पवार की कर्नाटक से गिरफ्तारी हुई?
सारांश
Key Takeaways
- बेताब पवार की गिरफ्तारी से पुलिस को बड़ी सफलता मिली है।
- पुलिस ने उसके साथियों को पहले ही गिरफ्तार कर लिया था।
- पवार के खिलाफ अपहरण और यौन शोषण के गंभीर आरोप हैं।
- पुलिस अब गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश कर रही है।
- इस घटना ने समाज में सुरक्षा की भावना को बढ़ाने की आवश्यकता को उजागर किया है।
लोनावला, १३ सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। पुणे ग्रामीण पुलिस ने एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की है। महाराष्ट्र, गुजरात और कर्नाटक की पुलिस की लंबे समय से चल रही खोज के बाद, अंतरराष्ट्रीय अपराध गिरोह का सरगना बेताब उर्फ शिवम उर्फ शुभम आनंद पवार को कर्नाटक से गिरफ्तार कर लोनावला लाया गया है।
३० वर्षीय पवार हनुमान टेकड़ी, क्रांति नगर, कुसगांव, तालुका मावल, जिला पुणे का निवासी है। वह पिछले दो वर्षों से नाबालिग लड़कियों और महिलाओं का अपहरण, बंधक बनाकर मारपीट, यौन शोषण और जबरन वसूली जैसे गंभीर अपराधों के लिए फरार चल रहा था। पुलिस ने उसे कर्नाटक के कलबुर्गी जिले से पकड़ा, और अब अदालत ने उसे पांच दिनों की पुलिस हिरासत में भेज दिया है।
सितंबर २०२३ में पुलिस को गोपनीय सूचना मिली थी कि यह गिरोह लोनावला के कांतिनगर और हनुमान टेकड़ी इलाकों में सक्रिय है। आरोपी नाबालिग लड़कियों और महिलाओं को अगवा कर बंधक बनाते थे, उनसे जबरन काम करवाते, मारपीट करते और बार-बार यौन शोषण करते थे। उस समय पुलिस ने गिरोह के दो साथियों राज सिद्धेश्वर शिंदे और ज्ञानेश्वर लोकरे को गिरफ्तार किया था। लेकिन, मुख्य सरगना बेताब पवार भाग निकला।
लोनावला शहर पुलिस स्टेशन में उसके खिलाफ कई गंभीर मामले दर्ज हैं। एक मामले में एक महिला को चाकू की नोक पर अगवा किया गया था। उसे बंधक बनाकर बार-बार यौन शोषण किया गया और उसका मोबाइल फोन और नकदी लूट ली गई। पुलिस ने उसके घर पर छापा मारा तो एक बंधक महिला को जंजीरों से बंधे हुए दो नाबालिग बच्चों के साथ मुक्त कराया।
पवार के खिलाफ विभिन्न राज्यों में कुल सात मामले दर्ज हैं। पुणे ग्रामीण क्षेत्रों में चार, गुजरात में दो और कर्नाटक में एक अपराध शामिल हैं। इनमें अपहरण, यौन उत्पीड़न, जबरन वसूली के अलावा पॉक्सो एक्ट (बच्चों के खिलाफ यौन अपराधों की रोकथाम अधिनियम) और किशोर न्याय अधिनियम की गंभीर धाराएं लगाई गई हैं। आरोपी को पहले गुजरात की साबरमती जेल से अस्थायी जमानत पर रिहा किया गया था, लेकिन वह कोर्ट में पेश हुए बिना ही फरार हो गया और विभिन्न राज्यों में अपराध करता रहा।
लोनावला शहर पुलिस, ग्रामीण पुलिस और स्थानीय अपराध शाखा की संयुक्त टीम ने कलबुर्गी में पवार का पता लगाया। कर्नाटक के मलखेड पुलिस की मदद से उसे गिरफ्तार किया गया और लोनावला शहर पुलिस को सौंप दिया गया। पूछताछ में उसके दो और चोरी के मामलों का खुलासा हुआ। पुलिस अब गिरोह के अन्य सदस्यों और नेटवर्क की तलाश में जुटी है।