क्या नाखूनों की मजबूती और चमक के लिए ये पांच योगासन सहायक हैं?

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क्या नाखूनों की मजबूती और चमक के लिए ये पांच योगासन सहायक हैं?

सारांश

क्या आप जानना चाहते हैं कि नाखूनों की मजबूती और चमक बढ़ाने के लिए कौन से योगासन सबसे प्रभावी हैं? इस लेख में हम आपको पांच प्रमुख योगासनों के बारे में बताएंगे, जो आपके नाखूनों को मजबूत और स्वस्थ बनाने में मदद करेंगे।

Key Takeaways

  • नियमित योगाभ्यास से नाखूनों की मजबूती में सुधार होता है।
  • रक्त प्रवाह बढ़ाने वाले आसन नाखूनों को पोषण देते हैं।
  • मार्जरासन और भुजंगासन नाखूनों के लिए विशेष लाभकारी हैं।
  • तनाव को कम करने से नाखूनों की वृद्धि में सुधार होता है।
  • पोषण की कमी से नाखून कमजोर हो सकते हैं।

नई दिल्ली, ७ अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। आज की तेज-तर्रार जिंदगी में हम अक्सर अपनी सेहत को अनदेखा कर देते हैं, जिसके परिणामस्वरूप हमारी त्वचा, बाल और नाखून कमजोर हो सकते हैं। खासकर नाखून, जो हमारी सेहत का आईना होते हैं, कई बार कमजोर होकर टूटने लगते हैं या फिर पीले पड़ जाते हैं।

आयुष मंत्रालय के अनुसार, नाखूनों की समस्याएं रक्त संचार की कमी और कुपोषण से जुड़ी होती हैं। जब शरीर के अंगों तक सही मात्रा में रक्त नहीं पहुंचता, तब नाखूनों को आवश्यक पोषण नहीं मिलता, जिससे उनकी मजबूती प्रभावित होती है। ऐसे में योगासन एक सरल और प्राकृतिक उपाय है, जो न केवल रक्त संचार को सुधारता है बल्कि नाखूनों की जड़ों तक पोषण पहुंचाने में मदद करता है।

आयुष मंत्रालय की गाइडलाइंस के अनुसार, नियमित योगाभ्यास से रक्त प्रवाह बढ़ता है, जिससे हाथ-पैर और विशेषकर नाखूनों तक पोषण की आपूर्ति में सुधार होता है। रक्त संचार में सुधार से नाखूनों की बनावट मजबूत होती है।

मार्जरासन: इस आसन को कैट पोज भी कहा जाता है। इसे आयुष मंत्रालय ने नाखूनों के लिए लाभकारी बताया है। इसमें शरीर को रीढ़ की हड्डी के माध्यम से आगे-पीछे झुकाया जाता है, जिससे पीठ के साथ-साथ हाथों और पैरों में रक्त का संचार बेहतर होता है। खासकर हाथों की उंगलियों तक रक्त का प्रवाह बढ़ता है, जिससे नाखूनों की जड़ों तक पोषण पहुंचता है। इससे नाखून मजबूत होते हैं और उनकी वृद्धि भी स्वस्थ होती है।

पदहस्तासन: यह आसन शरीर के निचले हिस्से से लेकर हाथों तक रक्त प्रवाह को सक्रिय करता है। आयुष मंत्रालय ने बताया है कि इस आसन से पैरों के रक्त संचार में सुधार आता है और शरीर के लचीलेपन में भी वृद्धि होती है। जब हम अपने हाथों से पैरों को छूने की कोशिश करते हैं, तो नाखूनों वाले अंगों में रक्त की आपूर्ति तेज होती है, जिससे नाखूनों को आवश्यक पोषण मिलता है। इससे नाखूनों की चमक बढ़ती है और वे टूटने से बचते हैं।

भुजंगासन: इसे कोबरा पोज के नाम से भी जाना जाता है। यह नाखूनों के स्वास्थ्य के लिए महत्वपूर्ण है। इस आसन में पेट के बल लेटकर शरीर के ऊपरी हिस्से को उठाया जाता है, जिससे छाती और हाथों तक रक्त संचार तेज होता है। आयुष मंत्रालय ने बताया है कि भुजंगासन से रक्त में ऑक्सीजन का प्रवाह बढ़ता है। इससे न केवल नाखून बल्कि त्वचा और बाल भी स्वस्थ होते हैं।

बालासन: इसे शिशु मुद्रा भी कहा जाता है। यह मानसिक और शारीरिक तनाव को कम करने में मदद करता है। तनाव कम होने से हार्मोनल संतुलन बना रहता है, जो नाखूनों की वृद्धि के लिए आवश्यक है। बालासन रक्त संचार को संतुलित करता है, जिससे नाखूनों तक पोषण बेहतर तरीके से पहुंचता है। इस आसन में शरीर की मांसपेशियां आराम करती हैं, जिससे रक्त प्रवाह सुचारू होता है और नाखून मजबूत होते हैं।

चतुरंग दंडासन: यह आसन शरीर की सभी मुख्य मांसपेशियों को सक्रिय करता है। आयुष मंत्रालय ने इसे शरीर की ऊर्जा बढ़ाने और रक्त प्रवाह सुधारने वाला बताया है। जब हम इस मुद्रा में अपने शरीर को नीचे लाते हैं, तो हाथों और कंधों की मांसपेशियां सक्रिय होती हैं, जिससे नाखूनों वाले अंगों में बेहतर रक्त संचार होता है। इससे नाखूनों की मजबूती बढ़ती है और उनका स्वास्थ्य बेहतर होता है।

Point of View

यह स्पष्ट है कि नाखूनों की सेहत हमारे समग्र स्वास्थ्य का एक महत्वपूर्ण संकेतक है। नियमित योगाभ्यास न केवल रक्त संचार को बढ़ाता है, बल्कि यह हमारे नाखूनों की मजबूती और चमक में भी सुधार करता है। यह सभी के लिए एक सरल और प्रभावी उपाय है।
NationPress
07/10/2025

Frequently Asked Questions

क्या योगासन से नाखूनों की मजबूती बढ़ती है?
हाँ, नियमित योगासन करने से रक्त संचार में सुधार होता है, जिससे नाखूनों को आवश्यक पोषण मिलता है।
कौन सा योगासन नाखूनों के लिए सबसे अच्छा है?
मार्जरासन और भुजंगासन नाखूनों की सेहत के लिए विशेष रूप से लाभकारी हैं।
क्या नाखूनों की समस्या का संबंध पोषण से है?
जी हाँ, नाखूनों की समस्याएं अक्सर कुपोषण और रक्त संचार की कमी से जुड़ी होती हैं।