क्या अभिनेता राघव लॉरेंस ने अपने घर को स्कूल में बदलने का फैसला किया?

सारांश
Key Takeaways
- राघव लॉरेंस ने अपने पहले घर को स्कूल में बदला है।
- स्कूल में गरीब बच्चों को निशुल्क शिक्षा प्रदान की जाएगी।
- यह पहल समाज सेवा के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को दर्शाती है।
- पहला शिक्षक उनके घर में पले-बढ़े बच्चों में से एक होगा।
- राघव ने हाल ही में एक बुजुर्ग दंपति को भी मदद की है।
चेन्नई, 12 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। फिल्म अभिनेता और निर्माता राघव लॉरेंस को उनकी फिल्मों के साथ-साथ समाजसेवा के लिए भी पहचाना जाता है। वह अपने 'मातृम्' आंदोलन के माध्यम से गरीबों और वंचितों की सहायता करते आए हैं। अब उन्होंने अपने पहले घर को एक स्कूल में परिवर्तित करने का निर्णय लिया है, जहां गरीब बच्चों को निशुल्क शिक्षा प्रदान की जाएगी।
अभिनेता ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर यह जानकारी साझा की। उन्होंने एक वीडियो के माध्यम से लिखा, "मुझे आप सभी को यह बताते हुए खुशी हो रही है कि मेरी फिल्म ‘कंचना 4’ आधिकारिक तौर पर शुरू हो गई है और इसकी शूटिंग लगभग आधी हो गई है। इसके लिए मिली एडवांस राशि से मैं अपने दिल के करीब एक नई सामाजिक पहल शुरू कर रहा हूं। इस बार मुझे यह घोषणा करते हुए बहुत खुशी हो रही है कि मैं अपने पहले घर को बच्चों के लिए एक निशुल्क शिक्षा स्कूल में बदलने जा रहा हूं।"
राघव लॉरेंस ने आगे लिखा, "यह मेरा पहला घर था जो मैंने डांस मास्टर के रूप में अपनी मेहनत से की गई बचत से खरीदा था। बाद में मैंने इसे अनाथालय के बच्चों के लिए एक घर में परिवर्तित कर दिया और मैं और मेरा परिवार किराए के घर में रहने लगे। आज मेरे बच्चे बड़े हो गए हैं और काम कर रहे हैं और मुझे इस घर को एक बार फिर एक नेक काम के लिए समर्पित करने पर गर्व है।"
राघव ने लिखा, "मुझे और भी अधिक खुशी और गर्व इस बात पर हो रहा है कि मैं स्कूल में जिस पहले शिक्षक की नियुक्ति कर रहा हूं, वह मेरे घर में पले-बढ़े बच्चों में से एक है। वह बड़ा हो गया है और समाज के लिए कुछ करने के लिए तैयार है। मैं इस नई पहल के लिए आप सभी का आशीर्वाद चाहता हूं और मुझे उम्मीद है कि आप हमेशा की तरह मेरा समर्थन करते रहेंगे।"
इससे पहले गुरुवार को राघव लॉरेंस ने एक बुजुर्ग दंपति को एक लाख रुपये की राशि दान करने की पेशकश की थी, जो ट्रेनों में मिठाई बेचकर अपना गुजारा करते थे। इसके बाद सोशल मीडिया पर लोग उनकी तारीफ करने लगे और अन्य लोग भी उस दंपत्ति की मदद के लिए आगे आए।