क्या राजस्थान की नगर निकायों और ग्राम पंचायतों को आत्मनिर्भर बनाने का प्रयास सफल होगा?

सारांश
Key Takeaways
- आत्मनिर्भरता के लिए स्थानीय निकायों का सशक्त होना आवश्यक है।
- विकास के लिए विस्तृत रिपोर्ट सरकार को सौपी गई है।
- सेवा सप्ताह पखवाड़ा स्वच्छता और पर्यावरण संरक्षण पर केंद्रित होगा।
- जीएसटी में सुधार से आर्थिक विकास को गति मिलेगी।
बीकानेर, 15 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। भाजपा नेता एवं राजस्थान राज्य वित्त आयोग के अध्यक्ष डॉ. अरुण चतुर्वेदी ने सोमवार को बीकानेर प्रवास के दौरान कहा कि आयोग का मुख्य प्रयास प्रदेश के नगर निकायों और ग्राम पंचायतों को आत्मनिर्भर बनाने का है।
डॉ. अरुण चतुर्वेदी ने बताया कि आयोग ने स्थानीय निकायों में विकास के लिए विस्तृत रिपोर्ट तैयार कर सरकार को सौंप दी है। स्वीकृति मिलते ही विकास की बौछार होगी। उन्होंने कहा, "ग्रामीण क्षेत्रों में ग्राम पंचायतें और नगरीय क्षेत्रों में नगर निकाय विकास की मुख्य कड़ी हैं। हमने आय बढ़ाने और वित्तीय संसाधनों का बेहतर प्रबंधन करने के सुझाव दिए हैं।" यह बयान आयोग के गठन के एक महीने बाद आया है, जब अगस्त 2025 में उन्हें यह जिम्मेदारी सौंपी गई थी। उनका बीकानेर दौरा सामाजिक कार्यों, संगठन की बैठकों और पदाधिकारियों से चर्चा के लिए था।
डॉ. चतुर्वेदी ने भाजपा के तीन प्रमुख अभियानों पर जोर दिया। उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिन (17 सितंबर) से लेकर महात्मा गांधी (2 अक्टूबर) और लाल बहादुर शास्त्री के जन्मदिन तक 'सेवा सप्ताह पखवाड़ा' मनाया जाएगा। इस दौरान स्वच्छता, पर्यावरण संरक्षण और सामाजिक सेवा पर फोकस होगा।
उन्होंने जीएसटी सुधारों की सराहना करते हुए कहा, "पीएम मोदी ने लाल किले से जीएसटी कम करने की घोषणा की थी। अब चार स्लैब को घटाकर 5 प्रतिशत और 18 प्रतिशत के दो स्लैब कर दिया गया है। इससे आम नागरिक, व्यापारी और उद्योगपतियों को राहत मिलेगी। देश में जीएसटी संग्रह 11 लाख करोड़ से बढ़कर 24 लाख करोड़ पहुंच गया है।" उन्होंने कहा कि यह कदम आर्थिक विकास को गति देगा।
लोकसभा के नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी पर कटाक्ष करते हुए चतुर्वेदी ने कहा, "राहुल गांधी हमेशा देश के सैनिकों और सेना पर टिप्पणी करते रहते हैं, जिससे लगता है कि वे भारत के साथ नहीं, बल्कि भारत के विरोधी देशों के साथ खड़े हैं।"