क्या साहिबगंज में ग्राम प्रधान की मौत के लिए वृद्ध को जिम्मेदार ठहराया गया?

सारांश
Key Takeaways
- गुहिया पहाड़िया की हत्या ने क्षेत्र में दहशत फैला दी है।
- पुलिस ने दो मुख्य आरोपियों को गिरफ्तार किया है।
- आदिम जनजाति समुदाय ने न्याय की मांग की है।
- यह घटना अंधविश्वास के खिलाफ एक चेतावनी है।
- सामाजिक असहिष्णुता पर विचार करने की आवश्यकता है।
साहिबगंज, 21 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। झारखंड के साहिबगंज जिले के तीनपहाड़ थाना क्षेत्र में आदिम पहाड़िया जनजाति के एक 60 वर्षीय वृद्ध को जादू-टोना के आरोप में बेरहमी से पीट-पीटकर हत्या कर दी गई। यह घातक घटना बड़ा दुर्गापुर पंचायत के तेलोटोक गांव में शनिवार रात को हुई। मृतक की पहचान गुहिया पहाड़िया के रूप में की गई है। रविवार को पुलिस ने शव को बरामद कर पोस्टमार्टम के लिए भेजा। इस मामले में अब तक दो आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार, स्थानीय ग्रामीणों ने गुहिया पहाड़िया को गांव के चौक पर पेड़ से बांधकर लाठी-डंडों से बुरी तरह पीटा। उनकी गंभीर चोटों के कारण मौके पर ही मौत हो गई। मृतक की पत्नी चांदी पहाड़िन और बेटी सोनाली पहाड़िन ने आरोप लगाया कि हत्या की साजिश गांव के पूर्व प्रधान के परिजनों ने रची थी।
उन्होंने बताया कि हाल ही में गांव के प्रधान की मृत्यु हुई थी और इसी संदर्भ में गुहिया पहाड़िया पर जादू-टोना का आरोप लगाया गया था। पुलिस का कहना है कि गुहिया पहाड़िया ने पूर्व प्रधान की मौत को लेकर आपत्तिजनक टिप्पणी की थी, जिससे नाराज होकर परिजनों ने अन्य ग्रामीणों के साथ मिलकर उन्हें निशाना बनाया।
राजमहल अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी विमलेश कुमार त्रिपाठी ने बताया कि वृद्ध को पेड़ से बांधकर पीटा गया, जिससे उनकी मौके पर ही मृत्यु हो गई। घटना की सूचना पर पुलिस दल मौके पर पहुंचा और छापामारी अभियान चलाया। मृतक की पत्नी के बयान पर प्राथमिकी दर्ज की गई है।
पुलिस ने दो मुख्य आरोपियों पौलुस मलतो और सुशील मालतो को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है। अधिकारियों का कहना है कि अन्य आरोपियों की तलाश जारी है और उन्हें भी जल्द गिरफ्तार किया जाएगा। यह जघन्य घटना पूरे क्षेत्र में दहशत और आक्रोश पैदा कर चुकी है। आदिम जनजाति समुदाय के लोग इस मामले में त्वरित और कड़ी कार्रवाई की मांग कर रहे हैं।