क्या तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम. के. स्टालिन ने अस्पताल में रहते हुए 'उंगलुदन स्टालिन' शिविरों की प्रगति की समीक्षा की?

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क्या तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम. के. स्टालिन ने अस्पताल में रहते हुए 'उंगलुदन स्टालिन' शिविरों की प्रगति की समीक्षा की?

सारांश

तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम. के. स्टालिन ने अस्पताल में भर्ती होने के बावजूद अपनी प्रशासनिक जिम्मेदारियों को नहीं छोड़ा। उन्होंने 'उंगलुदन स्टालिन' शिविरों की प्रगति की समीक्षा की और हर शिकायत का त्वरित समाधान सुनिश्चित करने की बात की। जानें इस पहल की अहमियत और मुख्यमंत्री की वर्तमान स्वास्थ्य स्थिति के बारे में।

Key Takeaways

  • मुख्यमंत्री एम. के. स्टालिन अस्पताल में भर्ती होने के बावजूद प्रशासनिक कार्य जारी रख रहे हैं।
  • 'उंगलुदन स्टालिन' शिविरों की प्रगति की समीक्षा की गई है।
  • जन शिकायतों का त्वरित समाधान सुनिश्चित किया जाएगा।
  • 10,000 विशेष शिविर आयोजित किए जाएंगे।
  • शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में विभिन्न सेवाएं उपलब्ध होंगी।

चेन्नई, 22 जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम. के. स्टालिन ने अस्पताल में भर्ती होने के बावजूद अपने प्रशासनिक कार्यों को जारी रखने की दृढ़ता दिखाई है। मंगलवार को उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट साझा करते हुए बताया कि वे अस्पताल से भी अपने आधिकारिक दायित्वों का पालन कर रहे हैं।

स्टालिन ने मुख्य सचिव को 'उंगलुदन स्टालिन' (आपके साथ स्टालिन) शिविरों की प्रगति की समीक्षा करने का निर्देश दिया है। इन शिविरों में प्राप्त जन शिकायतों और उनके समाधान की स्थिति पर ध्यान केंद्रित करने को कहा गया है। उन्होंने कहा कि जनता की समस्याओं के समाधान में किसी भी प्रकार की देरी नहीं होनी चाहिए।

स्टालिन ने एक्स पोस्ट में लिखा, "लोगों की परेशानियों का समाधान मेरी प्राथमिकता है। मैं चाहता हूं कि इन शिविरों के माध्यम से हर शिकायत पर त्वरित कार्रवाई हो और किसी भी याचिका को लंबित न रखा जाए।"

'उंगलुदन स्टालिन' तमिलनाडु सरकार की एक महत्वाकांक्षी पहल है, जिसके तहत लोगों की शिकायतों और समस्याओं को सीधे सुनकर उनका त्वरित समाधान किया जाता है। इन शिविरों में लोग अपनी समस्याएं लेकर आते हैं, जिन्हें संबंधित विभागों के माध्यम से हल करने का प्रयास किया जाता है।

इस पहल के तहत, 15 जुलाई से नवंबर तक सभी जिलों के ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में कुल 10,000 विशेष शिविर आयोजित किए जाएंगे। एक आधिकारिक विज्ञप्ति के अनुसार, इस पहल का उद्देश्य सरकारी सेवाओं और कल्याणकारी योजनाओं को सीधे लोगों के पास पहुंचाना है। कुल शिविरों में से 3,768 शहरी क्षेत्रों में और 6,232 ग्रामीण क्षेत्रों में आयोजित किए जाएंगे।

विज्ञप्ति में कहा गया है कि शहरी क्षेत्रों में आयोजित होने वाले शिविरों में 13 विभागों की 43 सेवाएं प्रदान की जाएंगी, जबकि ग्रामीण क्षेत्रों में 15 विभागों की 46 सेवाएं उपलब्ध कराई जाएंगी। इसके अतिरिक्त, जनता की भलाई सुनिश्चित करने के लिए प्रत्येक शिविर में चिकित्सा सेवाएं भी उपलब्ध कराई जाएंगी।

बता दें, एम.के. स्टालिन को सोमवार को चेन्नई के अपोलो अस्पताल में भर्ती कराया गया था। अपोलो अस्पताल ने इसकी जानकारी साझा की थी।

अपोलो अस्पताल के मेडिकल सर्विसेज निदेशक डॉ. अनिल बी.जी. ने बताया था कि मुख्यमंत्री को सुबह टहलते समय हल्का चक्कर महसूस हुआ, जिसके बाद उन्हें ग्रेम्स रोड स्थित अपोलो अस्पताल में भर्ती किया गया। अस्पताल में उनकी जांच की गई। वर्तमान में वे डॉक्टरों की निगरानी में हैं और उनकी स्थिति स्थिर बताई जा रही है।

Point of View

यह कहना उचित है कि मुख्यमंत्री एम. के. स्टालिन का अस्पताल में रहते हुए भी प्रशासनिक कार्यों को जारी रखना एक सकारात्मक संकेत है। यह दर्शाता है कि वे जनता की समस्याओं को लेकर गंभीर हैं। 'उंगलुदन स्टालिन' पहल उनकी प्रशासनिक कुशलता और लोगों के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को स्पष्ट करती है।
NationPress
20/12/2025

Frequently Asked Questions

क्या एम. के. स्टालिन की स्वास्थ्य स्थिति स्थिर है?
हाँ, वर्तमान में उनकी स्वास्थ्य स्थिति स्थिर बताई जा रही है और वे डॉक्टरों की निगरानी में हैं।
'उंगलुदन स्टालिन' पहल का उद्देश्य क्या है?
'उंगलुदन स्टालिन' पहल का उद्देश्य लोगों की शिकायतों का त्वरित समाधान करना है।
ये शिविर कब आयोजित किए जाएंगे?
इन शिविरों का आयोजन 15 जुलाई से नवंबर तक किया जाएगा।
शिविरों में किन सेवाओं का वितरण किया जाएगा?
शिविरों में 13 विभागों की 43 सेवाएं शहरी क्षेत्रों में और 15 विभागों की 46 सेवाएं ग्रामीण क्षेत्रों में उपलब्ध कराई जाएंगी।
क्या अस्पताल में भर्ती होने के बावजूद स्टालिन ने प्रशासनिक कार्य किए?
जी हाँ, उन्होंने अस्पताल से भी अपने प्रशासनिक कार्यों को जारी रखा।
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