क्या यूपी इंटरनेशनल ट्रेड शो में कौशल विकास, खादी और युवा उद्यमिता का बोलबाला है?

सारांश
Key Takeaways
- युवाओं के लिए रोजगार के नए दरवाजे
- नवाचार और कौशल विकास का संगम
- बी2बी और बी2सी विजिटर्स की बड़ी संख्या
- सीएम युवा कॉन्क्लेव का महत्व
- स्थानीय उत्पादों का वैश्विक मंच पर प्रदर्शन
ग्रेटर नोएडा, 28 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। उत्तर प्रदेश इंटरनेशनल ट्रेड शो के चौथे दिन रविवार को इंडिया एक्सपो मार्ट ने नवाचार, कौशल और परंपरा के अद्वितीय मेल को प्रस्तुत किया। मेले में कुल 1,34,938 दर्शकों ने भाग लिया, जिसमें 36,307 बी2बी और 98,631 बी2सी विजिटर्स शामिल थे।
इन पहले चार दिनों में कुल विजिटर्स की संख्या 4,00,467 को पार कर गई। दिनभर चले सेमिनार, पैनल चर्चा, पुरस्कार समारोह और सांस्कृतिक प्रस्तुतियों ने इस व्यापारिक आयोजन को एक उत्सव का रूप दे दिया।
गौतम बुद्ध यूनिवर्सिटी द्वारा आयोजित पैनल चर्चा में विशेषज्ञों ने उद्योगों की ज़रूरतों के अनुरूप पाठ्यक्रम को ढालने और इंटर्नशिप तथा व्यावसायिक प्रशिक्षण को शिक्षा प्रणाली का अनिवार्य हिस्सा बनाने की आवश्यकता पर जोर दिया।
इस ट्रेड शो में सीएम युवा कॉन्क्लेव आकर्षण का केंद्र बना, जिसमें 113 स्टॉलों वाले इस कॉन्क्लेव में 49 फ्रेंचाइज ब्रांड, 64 मशीनरी सप्लायर और 26 बिजनेस ऑन व्हील्स शामिल रहे।
इसमें अब तक 8,300 से अधिक बिजनेस इनक्वायरी और 7,500 से अधिक पंजीकरण दर्ज हुए। यूपी इंटरनेशनल ट्रेड शो में पहुंचे राज्य सूचना आयुक्त वीरेंद्र सिंह वत्स ने आयोजन का अवलोकन किया।
उन्होंने कहा कि यहां उमड़ी युवाओं की भीड़ यह दर्शाती है कि यूपी का युवा सपने देखने के साथ-साथ उन्हें पूरा करने का साहस भी रखता है। यह आयोजन रोजगार के नए दरवाजे खोल रहा है और इसकी अवधि को बढ़ाया जाना चाहिए।
उन्होंने उत्तर प्रदेश पुलिस, पर्यटन, नमामि गंगे, ओडीओपी, जेसीएस हनी और ऑटोमोबाइल कंपनियों के स्टॉलों का निरीक्षण किया। ट्रेड शो के चौथे दिन भी बी2बी मीटिंग्स का सिलसिला जारी रहा।
टेक्सटाइल, हैंडीक्राफ्ट, लेदर, फूड प्रोसेसिंग, फार्मा और इलेक्ट्रॉनिक्स जैसे क्षेत्रों के उत्पादों ने विदेशी खरीदारों का ध्यान आकर्षित किया। विशेष रूप से ओडीओपी और जीआई टैग वाले उत्पादों ने उत्तर प्रदेश की विशिष्ट पहचान को वैश्विक मंच पर प्रदर्शित किया।