क्या माइक्रोसॉफ्ट ने महाराष्ट्र में साइबरक्राइम की जांच को तेज करने के लिए अगली-पीढ़ी का एआई प्लेटफॉर्म लांच किया?
सारांश
Key Takeaways
- महाक्राइमओएस एआई का अनावरण
- साइबर क्राइम की जांच को तेज करने के लिए एआई का उपयोग
- कानून प्रवर्तन एजेंसियों को सशक्त बनाना
- डिजिटल सुरक्षा के नए मानदंड स्थापित करना
- महाराष्ट्र के सभी पुलिस स्टेशनों में विस्तार की योजना
मुंबई, 12 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। माइक्रोसॉफ्ट के अध्यक्ष और मुख्य कार्यकारी अधिकारी सत्य नडेला ने शुक्रवार को 'महाक्राइमओएस एआई' का अनावरण किया। यह एआई प्लेटफॉर्म माइक्रोसॉफ्ट एज्योर के समर्थन से कार्य करेगा और राज्य में साइबरक्राइम की जांच को तेजी से और अधिक प्रभावी बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
महाक्राइमओएस एआई का उद्देश्य अधिकारियों को एआई उपकरणों से सुसज्जित करना है ताकि वे मानव विशेषज्ञता के साथ जिम्मेदार नवाचार को मिलाकर मामलों का समाधान तेजी से और कुशलता से कर सकें।
यह पहल कानून प्रवर्तन एजेंसियों को साइबर अपराध की जांच में तेजी लाने के लिए सशक्त बनाती है और भारत में डिजिटल सुरक्षा के लिए एक नया मापदंड स्थापित करती है, क्योंकि देश साइबर अपराध की बढ़ती घटनाओं का सामना कर रहा है। राष्ट्रीय साइबर अपराध रिपोर्टिंग पोर्टल के अनुसार, 2024 में 3.6 मिलियन से अधिक घटनाएं दर्ज की गई थीं।
इस प्लेटफॉर्म का विकास साइबर सुरक्षा और IOT की अत्याधुनिक तकनीकों के साथ माइक्रोसॉफ्ट के भागीदार आईएसवी, साइबरआई द्वारा महाराष्ट्र सरकार के विशेष उद्देश्य वाहन मार्वल और माइक्रोसॉफ्ट इंडिया डेवलपमेंट सेंटर (आईडीसी) के सहयोग से किया गया है।
महाक्राइमओएस एआई वर्तमान में नागपुर के 23 पुलिस स्टेशनों में सक्रिय है और इसे मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस द्वारा मान्यता प्राप्त हुई है, जिन्होंने इसके भविष्य में महाराष्ट्र के सभी 1,100 पुलिस स्टेशनों में विस्तार का प्रस्ताव रखा।
फडणवीस ने कहा, “मार्वल का निर्माण एक ऐसा मंच तैयार करने के लिए किया गया है, जो वैश्विक स्तर पर उन्नत तकनीकी संगठनों के सहयोग से ऐसे एआई सह-पायलट विकसित करे जो शासन के तरीके में मौलिक परिवर्तन ला सकें। माइक्रोसॉफ्ट के साथ हमारा सहयोग जटिल साइबर अपराध चुनौतियों के समाधान से शुरू हुआ, लेकिन इसकी क्षमता इससे कहीं अधिक है।”
माइक्रोसॉफ्ट इंडिया और दक्षिण एशिया के अध्यक्ष पुनीत चंदोक ने कहा, “माइक्रोसॉफ्ट एज्योर की विशाल क्षमता को अत्याधुनिक एआई क्षमताओं के साथ मिलाकर, हम महाराष्ट्र के प्रत्येक अधिकारी को तेजी से, अधिक समझदारी से और अधिक सुरक्षित रूप से जांच करने के लिए सशक्त बना रहे हैं।”
मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की अगुवाई में राज्य में प्रस्तावित विस्तार से सभी पुलिस स्टेशनों में AI-पावर्ड वर्कफ्लो का उपयोग करके साइबर क्राइम को डिजिटल रूप से रजिस्टर और जांच की जा सकेगी।
नागपुर ग्रामीणमार्वल के सीईओ हर्ष पोद्दार ने कहा, “महाक्राइमओएस एआई साइबर क्राइम से लड़ने के हमारे तरीके को फिर से परिभाषित कर रहा है और जटिलताओं को स्पष्टता एवं गति में बदल रहा है। यह प्लेटफॉर्म सिर्फ तेज जांच के बारे में नहीं है, बल्कि विश्वास बनाने, शासन के लिए नए मानदंड तय करने और एक ऐसा मॉडल बनाने के बारे में है जो पूरे भारत में फैल सके।”