क्या आरबीआई के ब्याज दरों में कटौती से उपभोग को बढ़ावा मिलेगा?

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क्या आरबीआई के ब्याज दरों में कटौती से उपभोग को बढ़ावा मिलेगा?

सारांश

इंडस्ट्री लीडर्स ने आरबीआई के ब्याज दरों में कटौती के निर्णय का स्वागत किया है। यह कदम न केवल उधारी की लागत को कम करेगा, बल्कि उपभोग में भी वृद्धि का मार्ग प्रशस्त करेगा। जानिए इस निर्णय का अर्थव्यवस्था पर क्या प्रभाव पड़ेगा।

Key Takeaways

  • आरबीआई ने ब्याज दर में 25 बेसिस पॉइंट की कटौती की।
  • उधार की लागत में कमी आएगी।
  • उपभोग में वृद्धि का अनुमान है।
  • उद्योग के नेताओं ने निर्णय का स्वागत किया।
  • यह कदम निवेश के माहौल को बेहतर बनाएगा।

नई दिल्ली, 5 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। उद्योग के नेताओं ने शुक्रवार को भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा रेपो दर में की गई कटौती के निर्णय का स्वागत किया है। उनका कहना है कि इस केंद्रीय बैंक के कदम से उधार लेने की लागत में कमी आएगी और उपभोग को बढ़ावा मिलेगा।

पीएचडीसीसीआई के सीईओ और सचिव जनरल रंजीत मेहता ने न्यूज एजेंसी राष्ट्र प्रेस को बताया कि आरबीआई द्वारा 25 बेसिस पॉइंट की कटौती के इस निर्णय से यह संकेत मिलता है कि मौद्रिक नीति देश की विकास प्राथमिकताओं से जुड़ी हुई है।

रंजीत मेहता ने कहा, "भारत इस समय सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था बना हुआ है। चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में जीडीपी की वृद्धि दर 8.2 प्रतिशत रही है और इसी समय मुद्रास्फीति दर भी नियंत्रित रही है। भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए यह स्थिति बेहद महत्वपूर्ण है, जिसका हमें जश्न मनाना चाहिए।"

उन्होंने कहा कि आरबीआई की ब्याज दरों में कमी से उपभोग में वृद्धि होगी और उधार लेने की लागत घटेगी। इस प्रकार के कदम यह दर्शाते हैं कि सरकार देश की अर्थव्यवस्था और निवेश को बढ़ावा देने के लिए निरंतर प्रयासरत है।

मेहता ने इस बात पर जोर देते हुए कहा, "यह कदम निश्चित रूप से भारतीय अर्थव्यवस्था को बल देगा। देश में निवेश का माहौल सुधरेगा और निवेशक हमारी इकोनॉमी में अधिक निवेश करने के लिए प्रेरित होंगे।"

एसोचैम के अध्यक्ष निर्मल मिंडा ने कहा, "एसोचैम आरबीआई के इस ठोस और भविष्यदृष्टि वाले दृष्टिकोण की सराहना करता है। इस वर्ष कुल 125 बेसिस पॉइंट की कटौती के बाद यह रेट कट उधार लेने की लागत को कम करेगा, औद्योगिक विस्तार को बढ़ावा देगा और सभी क्षेत्रों में रोजगार के अवसरों को सृजित करेगा।"

भारत के सबसे बड़े और पुराने शीर्ष व्यावसायिक संगठन फिक्की के अध्यक्ष अनंत गोयनका ने कहा, "फिक्की आरबीआई के रेपो रेट में कटौती के निर्णय का स्वागत करता है। यह ढील क्रेडिट ऑफटेक को बढ़ाने, उद्योग और उपभोक्ताओं के लिए उधार लेने की लागत को कम करने और मौजूदा विकास की गति को मजबूत करने में सहायक होगी।"

गोयनका ने आगे कहा कि आरबीआई की ओर से चालू वित्त वर्ष के लिए जीडीपी वृद्धि के अनुमान को 6.8 प्रतिशत से बढ़ाकर 7.3 प्रतिशत करना और सौम्य मुद्रास्फीति का पूर्वानुमान दिखाता है कि भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूत बनी हुई है। इसके साथ ही, आरबीआई का यह निर्णय यह प्रदर्शित करता है कि नीतिगत और सुधारात्मक उपायों का प्रभाव निरंतर सकारात्मक बना हुआ है।

Point of View

NationPress
05/12/2025

Frequently Asked Questions

आरबीआई की ब्याज दर में कटौती का क्या प्रभाव पड़ेगा?
इससे उधारी की लागत में कमी आएगी और उपभोग को बढ़ावा मिलेगा।
उद्योग के नेताओं ने इस पर क्या प्रतिक्रिया दी है?
उद्योग के नेताओं ने इसे सकारात्मक कदम बताया और इसके आर्थिक लाभों की सराहना की।
क्या इससे निवेश का माहौल सुधरेगा?
जी हाँ, यह कदम निवेशकों को आकर्षित करेगा और निवेश का माहौल बेहतर करेगा।
आरबीआई ने कितनी बेसिस पॉइंट की कटौती की है?
आरबीआई ने 25 बेसिस पॉइंट की कटौती की है।
क्या यह कदम भारतीय अर्थव्यवस्था को प्रभावित करेगा?
यह कदम निश्चित रूप से भारतीय अर्थव्यवस्था को सकारात्मक रूप से प्रभावित करेगा।
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