क्या विक्रांत मैसी कम फिल्में करने की वजह बता सकते हैं?

Click to start listening
क्या विक्रांत मैसी कम फिल्में करने की वजह बता सकते हैं?

सारांश

अभिनेता विक्रांत मैसी ने हाल ही में अपनी फिल्म 'आंखों की गुस्ताखियां' के प्रमोशन के दौरान फिल्म निर्माण प्रक्रिया और अपनी कम फिल्मों के पीछे के कारणों पर चर्चा की। जानिए उन्होंने क्या कहा और क्यों वह तैयारी पर जोर देते हैं।

Key Takeaways

  • फिल्म की तैयारी महत्वपूर्ण होती है।
  • कम फिल्में करने का मतलब है उच्च गुणवत्ता।
  • किरदार को समझना
  • दर्शकों की संतुष्टि प्राथमिकता है।
  • शूटिंग समय सीमित होता है।

मुंबई, 30 जून (राष्ट्र प्रेस)। अभिनेता विक्रांत मैसी अपनी आने वाली फिल्म 'आंखों की गुस्ताखियां' के प्रचार में व्यस्त हैं। उन्होंने राष्ट्र प्रेस से चर्चा करते हुए बताया कि किसी भी फिल्म के निर्माण में दो महत्वपूर्ण चरण होते हैं, पहला फिल्म की शूटिंग करना, किरदार को निभाना और कैमरे के सामने अपनी भूमिका को प्रभावी ढंग से प्रस्तुत करना और दूसरा, योजना के अनुसार उसे सही तरीके से धरातल पर उतारना और उस पर काम करना। इन दोनों चरणों के बीच संतुलन बनाना आवश्यक है।

राष्ट्र प्रेस से बात करते हुए विक्रांत मैसी ने कहा कि फिल्म की शूटिंग कुछ ही हफ्तों में पूरी हो जाती है, लेकिन असली मेहनत और समय उस तैयारी में लगता है जो शूटिंग के पहले की जाती है। उनका मानना है कि किसी भी किरदार को निभाने से पहले उसकी तैयारी, उसकी सोच समझना और उसकी भावनाओं को महसूस करना बहुत आवश्यक है।

जब विक्रांत मैसी से पूछा गया कि वह कम फिल्में क्यों करते हैं, तो उन्होंने कहा, "मैं घर पर अधिक समय बिताना पसंद करता हूं, केवल आराम करने के लिए नहीं, बल्कि खुद को एक बेहतर अभिनेता बनाने के लिए। मैंने समझ लिया है कि जितनी अधिक तैयारी करूंगा, उतना ही अच्छा काम कर पाऊंगा। इसलिए, मैं शूटिंग से ज्यादा समय को तैयारी में लगाना चाहता हूं।"

अभिनेता ने कहा कि दर्शकों और अपनी खुद की संतुष्टि के लिए फिल्म की शूटिंग पर जाने से पहले पूरी तरह से तैयार होना बहुत आवश्यक है।

उन्होंने कहा, "शूटिंग तो लगभग 55–60 दिनों में पूरी हो जाती है, लेकिन कई बार पुराने कामों की वजह से मुझे तैयारी के लिए उतना समय नहीं मिल पाता, जितना मैं चाहता हूं। कई बार केवल एक महीने का समय मिलता है, लेकिन वह पर्याप्त नहीं होता। मैं चाहता हूं कि जब दर्शक स्क्रीन पर देखें, तो उनका समय और पैसा दोनों व्यर्थ न हों। इसलिए मैं ज्यादा फिल्में करने के बजाय कम फिल्में करना पसंद करता हूं।"

मैसी ने आगे बताया, "जब आप अपनी स्क्रिप्ट और किरदार को समय देते हैं, तो आपका काम अपने आप बेहतर हो जाता है।"

विक्रांत मैसी ने अपनी फिल्मों की शैली पर भी बात की। उन्होंने कहा, "मैं जिस प्रकार की फिल्में करता हूं, उनमें 150 दिनों की लंबी शूटिंग नहीं होती। अधिकतम शूटिंग के लिए मुझे 50-55 दिन मिलते हैं। ऐसे में तैयारी पक्की रखनी होती है। अपने किरदार को अच्छे से समझना होता है, ताकि कम समय में भी बेहतरीन प्रदर्शन दे सकें।"

विक्रांत मैसी की नई फिल्म 'आंखों की गुस्ताखियां' में अभिनेत्री शनाया कपूर हैं। यह फिल्म 11 जुलाई को सिनेमाघरों में रिलीज होने जा रही है।

Point of View

वह दर्शाता है कि वे गुणवत्ता को प्राथमिकता देते हैं। एक राष्ट्रीय संपादक के रूप में, यह महत्वपूर्ण है कि अभिनेता अपने किरदारों के लिए सही तैयारी करें। दर्शकों को अच्छी फिल्में देखने का हक है और यह सुनिश्चित करने का प्रयास करना चाहिए कि उनका समय और पैसा व्यर्थ न हो।
NationPress
25/07/2025

Frequently Asked Questions

विक्रांत मैसी अपनी फिल्मों का चयन कैसे करते हैं?
विक्रांत मैसी अपने किरदारों की तैयारी और स्क्रिप्ट पर ध्यान देते हैं।
क्या विक्रांत मैसी की फिल्में लंबे समय की शूटिंग लेती हैं?
नहीं, विक्रांत की फिल्मों में आमतौर पर 50-55 दिन की शूटिंग होती है।
विक्रांत मैसी अपने किरदारों की तैयारी कैसे करते हैं?
वह किरदार की सोच, भावनाओं को समझने पर जोर देते हैं।
क्या विक्रांत मैसी कम फिल्में करने का कोई विशेष कारण बताते हैं?
हां, वह खुद को बेहतर अभिनेता बनाने के लिए समय देना चाहते हैं।
विक्रांत मैसी की नई फिल्म कब रिलीज होगी?
उनकी नई फिल्म 'आंखों की गुस्ताखियां' 11 जुलाई को रिलीज होगी।