क्या कामकाजी महिलाएं सफलतापूर्वक ब्रेस्टफीडिंग कर सकती हैं? जानें सही जानकारी

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क्या कामकाजी महिलाएं सफलतापूर्वक ब्रेस्टफीडिंग कर सकती हैं? जानें सही जानकारी

सारांश

क्या कामकाजी महिलाएं ब्रेस्टफीडिंग को सफलतापूर्वक कर सकती हैं? जानें इस लेख में। सही जानकारी, योजना और सुविधाओं की मदद से मातृत्व और प्रोफेशनल जीवन को संतुलित करना संभव है।

Key Takeaways

  • ब्रेस्टफीडिंग की सही जानकारी आवश्यक है।
  • कामकाजी महिलाएं लेक्टेशन रूम का उपयोग कर सकती हैं।
  • दूध को सही तरीके से स्टोर करें।
  • दूध को गर्म करने की सही विधि अपनाएं।
  • हर 3-4 घंटे में दूध निकालें।

नोएडा, 6 अगस्त (राष्ट्र प्रेस)। वर्तमान में महिलाएं सिर्फ घर के काम नहीं कर रही हैं, बल्कि वे प्रोफेशनल रूप से भी अपनी पहचान बना रही हैं। मां बनना और कामकाजी जीवन का संतुलन बनाना एक चुनौती है, विशेषकर जब बात नवजात शिशु को स्तनपान कराने की आती है। यह धारणा कि कामकाजी महिलाएं ब्रेस्टफीडिंग को लंबे समय तक नहीं कर सकतीं, गलत है। यदि सही जानकारी और थोड़ी योजना हो, तो महिलाएं मातृत्व और करियर दोनों में सफलता प्राप्त कर सकती हैं।

नोएडा के सीएचसी भंगेल की सीनियर मेडिकल ऑफिसर और स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ. मीरा पाठक बताती हैं कि आजकल कई दफ्तरों में लेक्टेशन रूम की सुविधा मौजूद है, जहां महिलाएं शांति से ब्रेस्टफीडिंग कर सकती हैं या ब्रेस्ट मिल्क को पंप करके स्टोर कर सकती हैं। महिलाएं चाहें तो अपने दूध को निकालकर सुरक्षित रख सकती हैं और घर पर किसी विश्वसनीय व्यक्ति को दे सकती हैं, जिससे बच्चे को मां का दूध मिलता रहे।

डॉ. पाठक ने बताया कि दूध निकालने से पहले स्वच्छता का ध्यान रखना आवश्यक है। हाथों को धोना और पंप को साफ करना चाहिए। उन्होंने सुझाव दिया कि एक बार में 120 एमएल से ज्यादा दूध न निकालें। दूध को स्टोर करने के लिए ग्लास की बोतल या BPA फ्री प्लास्टिक की बोतल का प्रयोग करें।

कमरे के तापमान पर रखा दूध लगभग 4 घंटे तक सुरक्षित रहता है, जबकि फ्रिज में 4 दिनों तक। हालांकि, इसे फ्रिज के पीछे वाले हिस्से में रखना चाहिए, न कि दरवाजे के पास।

दूध को गर्म करने की प्रक्रिया में, डॉ. पाठक ने स्पष्ट किया कि इसे उबालना नहीं चाहिए। इसके बजाय, दूध की बोतल को गुनगुने पानी में रखकर गर्म करना चाहिए। दूध को कमरे के तापमान पर लाने के बाद दोबारा फ्रिज में नहीं रखना चाहिए।

कामकाजी महिलाओं के लिए डॉ. पाठक की सलाह है कि हर 3-4 घंटे में दूध निकालें। ऐसा न करने पर दूध बनना कम हो सकता है, जिससे स्तनपान में बाधा आ सकती है। जब महिलाएं ऑफिस से लौटें, तो बच्चे को अच्छे से ब्रेस्टफीड कराएं। डॉ. पाठक का कहना है कि स्टोर किया गया ब्रेस्ट मिल्क भी बच्चे के लिए उतना ही लाभकारी होता है जितना ताजा दूध।

Point of View

यह स्पष्ट है कि मातृत्व और करियर को संतुलित करने के लिए कामकाजी महिलाओं को आवश्यक जानकारी और सुविधाएं प्रदान की जानी चाहिए। यह न केवल उनके और उनके बच्चों के लिए फायदेमंद है, बल्कि समाज के लिए भी एक सकारात्मक कदम है।
NationPress
07/08/2025

Frequently Asked Questions

कामकाजी महिलाएं ब्रेस्टफीडिंग कैसे कर सकती हैं?
कामकाजी महिलाएं लेक्टेशन रूम का उपयोग कर सकती हैं और दूध को पंप कर सुरक्षित रख सकती हैं।
ब्रेस्ट मिल्क को कैसे स्टोर करें?
ब्रेस्ट मिल्क को ग्लास या BPA फ्री प्लास्टिक की बोतल में स्टोर करें और इसे फ्रिज में रखें।
दूध को कैसे गर्म करना चाहिए?
दूध को गुनगुने पानी में गर्म करें, उबालें नहीं।
ब्रेस्टफीडिंग का लाभ क्या है?
ब्रेस्टफीडिंग से बच्चे को आवश्यक पोषण मिलता है और यह उनकी इम्युनिटी को भी बढ़ाता है।
स्तनपान के लिए कब और कैसे दूध निकालना चाहिए?
हर 3-4 घंटे में दूध निकालें और ऑफिस से लौटने पर बच्चे को दूध पिलाएं।