सुबह की सैर क्यों है इतनी जरूरी?
सारांश
Key Takeaways
- सुबह की सैर स्वास्थ्य के लिए बेहद फायदेमंद है।
- यह हृदय और रक्तसंचार को मजबूत बनाती है।
- इससे मानसिक स्वास्थ्य में सुधार होता है।
- सुबह की सैर से हार्मोनल संतुलन बेहतर होता है।
- यह पाचन क्रिया को सुधारती है।
नई दिल्ली, 31 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। आयुर्वेद के अनुसार, सुबह की सैर केवल एक व्यायाम नहीं है, बल्कि यह स्वस्थ जीवनशैली का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जो शरीर, मन, और आत्मा को संतुलित करता है। चरक संहिता, सुश्रुत संहिता और अष्टांग हृदयम जैसे प्राचीन आयुर्वेदिक ग्रंथों में भी यह बताया गया है कि व्यक्ति को दैनिक रूप से सुबह टहलना चाहिए ताकि वह अच्छे स्वास्थ्य का अनुभव कर सके।
सुबह का समय, जिसे ब्रह्म मुहूर्त कहा जाता है, सबसे ज्यादा ऊर्जावान माना जाता है। इस समय हवा में प्राणवायु की मात्रा अधिक होती है। जब हम इस समय टहलते हैं, तो हमारे शरीर में ऑक्सीजन का प्रवाह बढ़ता है, जो रोग-प्रतिरोधक शक्ति को मजबूत बनाता है और मानसिक स्थिति को तरोताजा करता है। यही कारण है कि आयुर्वेद में कहा गया है कि जो व्यक्ति प्रतिदिन प्रातः भ्रमण करता है, वह दीर्घायु और निरोगी रहता है।
सुबह की सैर हृदय और रक्तसंचार के लिए एक वरदान मानी जाती है। यह रक्त प्रवाह को संतुलित करती है, हृदय को मजबूत बनाती है और ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करती है। इसके अलावा, यह शरीर के स्रोतस (चैनल) को साफ रखती है, जिससे टॉक्सिन्स बाहर निकलते हैं। मानसिक दृष्टिकोण से भी इसका गहरा प्रभाव होता है। सुबह का सात्विक वातावरण मन को शांत करता है, तनाव और चिंता को कम करता है और सत्व गुण को बढ़ाता है।
आयुर्वेद में कहा गया है कि 'प्रातः भ्रमणं दीपनम्,' यानी सुबह की सैर भूख बढ़ाने और पाचन क्रिया को सुधारने वाली औषधि है। यह जठराग्नि को संतुलित करती है और कब्ज, गैस जैसी समस्याओं को दूर रखती है। साथ ही, यह तीनों दोषों वात, पित्त और कफ को संतुलित करती है। हल्की सैर से वात नियंत्रित रहता है। सुबह की ठंडी हवा पित्त को शांत करती है और कफ को शरीर से बाहर निकालती है। इसलिए, ठंड या सुस्ती से ग्रस्त लोगों के लिए यह एक प्राकृतिक उपचार है।
सुबह की सैर से हार्मोनल संतुलन भी बेहतर होता है। स्वाभाविक श्वसन-प्रश्वसन से नाड़ियां शुद्ध होती हैं, जिससे थायरॉइड, इंसुलिन और अन्य हार्मोन सही मात्रा में स्रावित होते हैं। इससे शरीर की ऊर्जा और मानसिक स्थिरता बनी रहती है। यही नहीं, सैर के दौरान त्वचा को शुद्ध ऑक्सीजन और हल्की धूप मिलने से चेहरा दमकने लगता है और बाल भी स्वस्थ रहते हैं।