क्या शी चिनफिंग ने वर्चुअल ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में महत्वपूर्ण बातें साझा कीं?

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क्या शी चिनफिंग ने वर्चुअल ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में महत्वपूर्ण बातें साझा कीं?

सारांश

चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने वर्चुअल ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में भाग लेकर महत्त्वपूर्ण विचार साझा किए। उन्होंने बहुपक्षवाद, सहयोग और समान विकास पर जोर दिया। इस सम्मेलन में विश्व के कई प्रमुख नेताओं ने भाग लिया, जो वैश्विक चुनौतियों का सामना करने के लिए एकजुट होने की आवश्यकता पर बल देते हैं।

Key Takeaways

  • ब्रिक्स देशों को बहुपक्षवाद की रक्षा करनी होगी।
  • अंतर्राष्ट्रीय न्याय और निष्पक्षता को बनाए रखना आवश्यक है।
  • साझा विकास के लिए एकजुटता और सहयोग महत्वपूर्ण हैं।
  • एकतरफावाद से विश्व शांति को खतरा है।
  • नेताओं ने मिलकर संकटों का सामना करने की आवश्यकता पर बल दिया।

बीजिंग, 9 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने 8 सितंबर की शाम को वर्चुअल ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में भाग लिया और "एकता व सहयोग से आगे बढ़ें" शीर्षक भाषण दिया। सम्मेलन की अध्यक्षता ब्राजील के राष्ट्रपति लुइज इनासियो लूला ने की।

रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन, दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति मतमेरा सिरिल रामफोसा, मिस्र के राष्ट्रपति अब्दुल फतह अल सीसी, ईरान के राष्ट्रपति मसूद पेज़ेशकियन, इंडोनेशिया के राष्ट्रपति प्रबोवो सुबियांटो, संयुक्त अरब अमीरात के अबू धाबी के क्राउन प्रिंस खालिद बिन मोहम्मद और भारतइथियोपिया के प्रतिनिधियों ने शिखर सम्मेलन में भाग लिया।

इस अवसर पर शी चिनफिंग ने कहा कि वर्तमान दुनिया में सदी का अभूतपूर्व परिवर्तन तेजी से हो रहा है। प्रभुत्ववाद, एकतरफावाद और संरक्षणवाद सक्रिय हैं। "ग्लोबल साउथ" का मुख्य भाग होने के नाते ब्रिक्स देशों को खुलेपन, समावेशिता, सहयोग और समान जीत की ब्रिक्स भावना का पालन कर एक साथ बहुपक्षवाद और बहुपक्षीय व्यापारिक व्यवस्था की रक्षा करनी होगी, ताकि मानव जाति साझे भविष्य वाले समुदाय का निर्माण कर सके।

शी चिनफिंग ने तीन सुझाव पेश किए। पहला, बहुपक्षवाद को कायम रखकर अंतर्राष्ट्रीय निष्पक्षता और न्याय की रक्षा करें। दूसरा, खुलेपन व समान जीत का पालन कर अंतर्राष्ट्रीय आर्थिक और व्यापारिक व्यवस्था बनाए रखें। तीसरा, एकता व सहयोग का पालन कर साझा विकास के लिए ताकत जुटाएं। वहीं, सम्मेलन में उपस्थित नेताओं ने कहा कि अब एकतरफावाद और धौंस जमाने का व्यवहार अंतर्राष्ट्रीय व्यवस्था को प्रभावित करता है। अंतर्राष्ट्रीय कानून और अंतर्राष्ट्रीय नियम खतरे में हैं। व्यापार अन्य देशों के अंदरूनी मामलों में हस्तक्षेप का साधन बन गया है। इससे विश्व शांति और विकास पर गंभीर प्रभाव पड़ा। ब्रिक्स देशों को एकजुट होकर संकट और चुनौतियों का सामना करना होगा, ताकि बहुपक्षवाद की रक्षा की जा सके।

(साभार- चाइना मीडिया ग्रुप, पेइचिंग)

Point of View

NationPress
09/09/2025

Frequently Asked Questions

ब्रिक्स सम्मेलन का उद्देश्य क्या है?
ब्रिक्स सम्मेलन का उद्देश्य आर्थिक सहयोग, विकास और बहुपक्षीयता को बढ़ावा देना है।
शी चिनफिंग ने कौन से सुझाव दिए?
उन्होंने बहुपक्षवाद, खुलेपन और साझा विकास पर जोर देते हुए तीन सुझाव दिए।
कौन-कौन से देश इस सम्मेलन में शामिल हुए?
इसमें ब्राजील, रूस, भारत, चीन, दक्षिण अफ्रीका और अन्य देशों के नेता शामिल हुए।
क्या एकतरफावाद का खतरा है?
जी हां, एकतरफावाद और धौंस जमाने का व्यवहार अंतरराष्ट्रीय व्यवस्था को प्रभावित कर रहा है।
ब्रिक्स देशों को किस प्रकार की चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है?
ब्रिक्स देशों को आर्थिक, राजनीतिक और सामाजिक चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है।