क्या किम जोंग उन ने उत्तर कोरिया की सेना को युद्ध की तैयारी के लिए कहा?

सारांश
Key Takeaways
- किम जोंग-उन ने सेना को गहन प्रशिक्षण पर जोर दिया है।
- सेना को युद्ध की स्थिति में तैयार रहना चाहिए।
- यह बयान तोपखाना फायरिंग प्रतियोगिता के दौरान आया।
- फायरिंग अभ्यास में दक्षिण कोरिया और अमेरिका को निशाना नहीं बनाया गया।
- 2025 को सैन्य प्रशिक्षण का वर्ष घोषित किया गया है।
सोल, २४ जुलाई (राष्ट्र प्रेस)। उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग-उन ने अपनी सेना को निर्देश दिया है कि वे गहन प्रशिक्षण के माध्यम से अपनी युद्ध क्षमता को और मजबूत करें। उन्होंने कहा कि सेना को "किसी भी समय युद्ध का सामना करने और हर लड़ाई में दुश्मन को हराने" के लिए तत्पर रहना चाहिए। यह जानकारी उत्तर कोरियाई सरकारी मीडिया ने गुरुवार को दी।
कोरियन सेंट्रल न्यूज एजेंसी के अनुसार, योनहाप ने बताया कि किम जोंग-उन ने यह बयान कोरियाई पीपुल्स आर्मी की तोपखाना इकाइयों की फायरिंग प्रतियोगिता का निरीक्षण करते समय दिया। इस दौरान उनके साथ पार्टी के वरिष्ठ नेता और रक्षा अधिकारी भी उपस्थित थे।
केसीएनए के मुताबिक, यह प्रशिक्षण तोपखाने की फायरिंग क्षमता बढ़ाने के उद्देश्य से आयोजित किया गया। इसमें भाग लेने वाली इकाइयों को एक निश्चित समय और स्थान पर समुद्र में मौजूद लक्ष्य पर निशाना लगाने का आदेश दिया गया।
किम जोंग-उन ने प्रतियोगिता का निरीक्षण करने के बाद संतोष व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि लगातार बदलती युद्ध स्थितियों को देखते हुए सेना को अपनी तोपखाने की रणनीति को और बेहतर बनाना चाहिए।
उन्होंने यह भी कहा कि सेना को वास्तविक युद्ध जैसी स्थिति के लिए और अधिक गहन प्रशिक्षण करना चाहिए। किम जोंग-उन ने कहा कि युद्ध रोकने का सबसे प्रभावी तरीका है, "दुश्मन के इरादों को लेकर स्पष्ट और सख्त नजरिया रखना।"
इस कार्यक्रम में शामिल होने वाले प्रमुख अधिकारियों में सत्तारूढ़ पार्टी के केंद्रीय सैन्य आयोग के उपाध्यक्ष पाक जोंग-चोन, रक्षा मंत्री नो क्वांग-चोल और कोरियाई पीपुल्स आर्मी के जनरल स्टाफ प्रमुख री योंग-गिल शामिल थे।
फरवरी में रक्षा मंत्रालय की अपनी यात्रा के दौरान, किम जोंग-उन ने 2025 को सैन्य प्रशिक्षण का वर्ष घोषित किया था। तभी से उनका जोर गहन प्रशिक्षण और आधुनिक युद्ध क्षमताएं विकसित करने पर है। इसी के तहत वह विभिन्न सैन्य गतिविधियों की निगरानी कर रहे हैं।
उन्होंने मई के अंत में भी इसी तरह की सैन्य तोपखाना फायरिंग प्रतियोगिता का निरीक्षण किया था।
दक्षिण कोरिया के कोरिया इंस्टीट्यूट फॉर नेशनल यूनिफिकेशन के एक अधिकारी ने कहा कि उत्तर कोरिया ने बुधवार के फायरिंग अभ्यास में न तो दक्षिण कोरिया और न ही अमेरिका को सीधे तौर पर निशाना बनाया। उन्होंने यह भी बताया कि जब प्योंगयांग ने "कट्टर दुश्मन" का जिक्र किया, तो यह स्पष्ट नहीं किया कि इशारा किसकी ओर था।