क्या अमेरिका के लिए भारत 'अत्यंत महत्वपूर्ण' है? मार्को रूबियो की टिप्पणी

Click to start listening
क्या अमेरिका के लिए भारत 'अत्यंत महत्वपूर्ण' है? मार्को रूबियो की टिप्पणी

सारांश

न्यूयॉर्क में अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रूबियो ने भारत के महत्व पर जोर दिया है। उन्होंने व्यापार और रक्षा जैसे क्षेत्रों में सहयोग की सराहना की और एक स्वतंत्र इंडो-पैसिफिक क्षेत्र की दिशा में आगे बढ़ने का आश्वासन दिया। क्या यह भारत और अमेरिका के संबंधों को और मजबूत करेगा?

Key Takeaways

  • भारत अमेरिका के लिए एक महत्वपूर्ण साझेदार है।
  • दोनों देशों ने इंडो-पैसिफिक क्षेत्र में सहयोग बढ़ाने का संकल्प लिया।
  • बातचीत में निरंतर संवाद की आवश्यकता पर जोर दिया गया।
  • भारत और अमेरिका के बीच व्यापार और रक्षा क्षेत्रों में सहयोग की संभावनाएँ हैं।
  • मारको रूबियो और एस जयशंकर की मुलाकात महत्वपूर्ण थी।

न्यूयॉर्क, 23 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। अमेरिकी विदेश मंत्री मारको रूबियो ने कहा कि भारत उनके देश के लिए 'अत्यंत महत्वपूर्ण' है। इसके साथ ही, उन्होंने व्यापार के क्षेत्र में भारत के साथ चल रहे सहयोग का स्वागत किया।

सोमवार को विदेश मंत्री एस जयशंकर से मुलाकात के बाद, रुबियो ने कहा कि अमेरिका के लिए भारत बहुत महत्वपूर्ण है। उन्होंने व्यापार, रक्षा, ऊर्जा, दवाइयां, महत्वपूर्ण खनिज और अन्य द्विपक्षीय मुद्दों पर भारत सरकार के निरंतर सहयोग की सराहना की।

अमेरिका और भारत ने मिलकर एक स्वतंत्र और खुले इंडो-पैसिफिक क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए सहयोग जारी रखने पर सहमति जताई, जिसमें क्वाड के माध्यम से भी काम होगा।

यह बयान उस वक्त सामने आया है जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भारत पर 50 प्रतिशत टैरिफ लगाए और भारत को लेकर कई कठोर बयान दिए, लेकिन इसके बाद भी उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को उनके 75वें जन्मदिन पर बधाई दी।

इसके अलावा, विदेश मंत्री जयशंकर के साथ रुबियो की मुलाकात महत्वपूर्ण थी, क्योंकि यह उनकी उस दिन की पहली आधिकारिक बैठक थी। रुबियो संयुक्त राष्ट्र महासभा के सत्र के लिए आए विश्व नेताओं के साथ कई द्विपक्षीय बैठकें कर रहे हैं।

जयशंकर ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक पोस्ट में बताया कि बातचीत के दौरान द्विपक्षीय और अंतर्राष्ट्रीय मुद्दों पर चर्चा हुई। प्राथमिकता वाले क्षेत्रों में प्रगति के लिए निरंतर संवाद की आवश्यकता पर हम सहमत हुए। उन्होंने कहा कि वे संपर्क में रहेंगे।

कॉन्फ्रेंस रूम में जाने से पहले, वे बाहर मौजूद मीडिया के सामने सौहार्दपूर्ण ढंग से आए, हाथ मिलाया, लेकिन सवालों के जवाब देने से मना कर दिया।

बाद में, जयशंकर ने भारत में अमेरिका के राजदूत सर्जियो गोर से मुलाकात की।

अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने एक्स पोस्ट में कहा कि वे दोनों अमेरिका-भारत संबंधों को और मजबूत करने के लिए उत्सुक हैं।

गोर को दक्षिण और मध्य एशिया के लिए ट्रंप का विशेष दूत भी बनाया गया है। उनकी नियुक्ति को सीनेट की मंजूरी की जरूरत है, जैसा कि सभी राजदूत पदों के लिए होता है।

Point of View

रक्षा और अन्य क्षेत्रों में सहयोग की संभावनाएँ हैं। यह एक सकारात्मक संकेत है, खासकर वैश्विक राजनीति के इस संवेदनशील दौर में।
NationPress
23/09/2025

Frequently Asked Questions

मारको रूबियो ने भारत के बारे में क्या कहा?
मारको रूबियो ने कहा कि भारत अमेरिका के लिए 'अत्यंत महत्वपूर्ण' है और उन्होंने व्यापार और रक्षा के क्षेत्र में सहयोग की सराहना की।
भारत और अमेरिका के बीच क्या सहयोग है?
भारत और अमेरिका के बीच व्यापार, रक्षा, ऊर्जा, और महत्वपूर्ण खनिजों सहित कई क्षेत्रों में सहयोग है।
जयशंकर और रुबियो की मुलाकात का क्या महत्व है?
यह मुलाकात दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय और अंतर्राष्ट्रीय मुद्दों पर चर्चा के लिए महत्वपूर्ण थी।