क्या एनआईए ने अमृतसर मंदिर ग्रेनेड हमले में बड़ी कार्रवाई की?

सारांश
Key Takeaways
- एनआईए ने 19 स्थानों पर छापेमारी की।
- भारी मात्रा में सामान जब्त किया गया।
- गुरसिदक सिंह और विशाल गिल इस हमले में शामिल थे।
- जांच में विदेशी हैंडलर्स का नाम आया।
- देश की सुरक्षा के लिए सख्त कदम उठाए जा रहे हैं।
नई दिल्ली, 5 अगस्त (राष्ट्र प्रेस)। राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने अमृतसर के ठाकुर द्वार सनातन मंदिर पर मार्च 2025 में हुए आतंकी ग्रेनेड हमले के संदर्भ में एक महत्वपूर्ण कार्रवाई की है। एजेंसी ने पंजाब के 19 स्थानों पर छापेमारी करते हुए भारी मात्रा में सामान जब्त किया है।
एनआईए ने मंगलवार को इस कार्रवाई के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि अमृतसर, गुरदासपुर और बटाला के सीमावर्ती क्षेत्रों में छापेमारी के दौरान मोबाइल फोन और डिजिटल उपकरण जैसे कई आपत्तिजनक सामान मिले हैं।
एजेंसी के अनुसार, 14 मार्च 2025 की रात को विदेशी हैंडलर्स के निर्देश पर आतंकियों ने शेर शाह रोड स्थित मंदिर पर ग्रेनेड फेंका था। यह घटना पंजाब में हाल की कई आतंकी घटनाओं में से एक है, जो विदेशी हैंडलर्स के निर्देश पर आतंकियों द्वारा अंजाम दी गई।
एनआईए की जांच (केस नंबर आरसी-08/2025/एनआईए/डीएलआई) में खुलासा हुआ कि इस हमले में गुरसिदक सिंह (अब deceased) और विशाल गिल शामिल थे। गुरसिदक सिंह विदेशी हैंडलर्स के संपर्क में था, जो भारत में युवाओं को भर्ती कर ग्रेनेड, विस्फोटक और फंड देकर आतंक फैलाने की साजिश रचते थे। ये कमजोर युवाओं को पैसों और ड्रग्स के लालच में आतंकी गतिविधियों के लिए उकसाते थे।
एनआईए के अनुसार, जांच में यह भी पता चला कि गुरसिदक सिंह और विशाल गिल कई बार ग्रेनेड और हथियारों की डिलीवरी में शामिल थे।
एनआईए की जांच अभी भी जारी है और देश की सुरक्षा को खतरे में डालने वाले आतंकी मॉड्यूल के खिलाफ कठोर कदम उठाए जा रहे हैं।
आपको बता दें कि 14 मार्च को अमृतसर में रात के समय एक मंदिर पर हमला किया गया था। खंडवाला क्षेत्र में स्थित ठाकुर द्वार मंदिर पर मोटरसाइकिल सवार दो अज्ञात युवकों ने ग्रेनेड से हमला किया था।
यह घटना मंदिर के बाहर लगे सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई थी, जिसमें स्पष्ट रूप से दिख रहा था कि मंदिर पर ग्रेनेड कैसे फेंका गया था।