क्या स्ट्रिक्ट डाइट और जिम से शरीर को तकलीफ दी जा सकती है? आयुर्वेद से जानें वेट लॉस का सही तरीका
सारांश
Key Takeaways
- सुबह गर्म पानी
- ध्यान से भोजन
- छोटी-छोटी आदतें
नई दिल्ली, 5 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। आज के समय में हर कोई फिट और स्वस्थ दिखना चाहता है। कुछ लोग जिम में मेहनत कर रहे हैं, तो कुछ कम-कैलोरी आहार ले रहे हैं या सप्लीमेंट्स पर निर्भर हैं, लेकिन फिर भी उन्हें संतोषजनक परिणाम नहीं मिल रहे हैं। आयुर्वेद के अनुसार, वजन घटाने के लिए केवल डाइट और व्यायाम ही पर्याप्त नहीं हैं। इसके पहले, आपको अपने शरीर के संतुलन पर ध्यान केंद्रित करना होगा।
वजन घटाने की प्रक्रिया की शुरुआत शरीर की अग्नि (पाचन शक्ति) को मजबूत करने, कफ दोष को संतुलित रखने और मन को शांत करने से होती है। जब ये तीनों तत्व सही होते हैं, तो आपका शरीर अपने आप हल्का, ऊर्जावान और फिट महसूस करता है।
सुबह की शुरुआत गर्म पानी से करें, जिसमें नींबू डाल सकते हैं या सादा पानी पी सकते हैं। इससे पाचन क्रिया सक्रिय होती है। इसके बाद कुछ मिनट गहरी सांसें लें, हल्की स्ट्रेचिंग या सूर्य नमस्कार करें। ये सभी क्रियाएं आपके शरीर की ऊर्जा को संतुलित करने में मदद करती हैं। भोजन से पहले अदरक-जीरा पानी या हल्का गर्म जल पीना पाचन के लिए लाभकारी होता है। कोशिश करें कि आप जल्दी में न खाएं। धीरे-धीरे और ध्यान से चबाकर खाना सही तरीका है। इससे शरीर को संकेत मिलता है कि वह भोजन को सही तरीके से पचाए।
भोजन का नियम भी बेहद महत्वपूर्ण है। बार-बार स्नैकिंग से बचें ताकि शरीर को डाइजेशन का समय मिले। ठंडा पानी, जंक फूड और अधिक मीठी चाय से दूर रहना बेहतर है। हमेशा गर्म, सादा और ताजा खाना खाएं। दोपहर का भोजन भारी रखें और रात का हल्का। रात को 6:30 से 8 बजे के बीच भोजन करें और उसके बाद 10 मिनट टहलें। ये छोटी-छोटी आदतें पेट की चर्बी को कम करने में मदद करती हैं।
आयुर्वेदिक उपायों में कुछ घरेलू नुस्खे भी प्रभावी हैं, जैसे त्रिकटु चूर्ण (अदरक, काली मिर्च, पिप्पली) को शहद के साथ लेना, दालचीनी या मेथी का पानी पीना और भोजन के बाद अजवाइन पानी लेना। ये सभी फैट मेटाबॉलिज्म को बढ़ाते हैं और ब्लोटिंग को कम करते हैं। इसके अलावा, अच्छी नींद लेना बेहद आवश्यक है, क्योंकि गहरी नींद में शरीर फैट बर्निंग मोड में चला जाता है।