क्या बिहार में सीएम नीतीश ने निगरानी विभाग की समीक्षा की?

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क्या बिहार में सीएम नीतीश ने निगरानी विभाग की समीक्षा की?

सारांश

बिहार में सीएम नीतीश कुमार ने निगरानी विभाग की समीक्षा की, जिसमें उन्होंने अधिकारियों को भ्रष्टाचार समाप्त करने और विकास योजनाओं को तेजी से लागू करने के निर्देश दिए। यह बैठक सुशासन और पारदर्शिता की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। जानें इस बैठक में क्या निर्णय लिए गए और सरकार की प्राथमिकताएं क्या हैं।

Key Takeaways

  • नीतीश कुमार की सक्रियता ने बिहार की राजनीति में नया मोड़ लाया है।
  • निगरानी विभाग की समीक्षा से भ्रष्टाचार समाप्त करने की दिशा में सकारात्मक कदम उठाए जा रहे हैं।
  • सरकार की प्राथमिकता रोजगार और विकास है।

पटना, 27 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। बिहार विधानसभा चुनाव में प्रचंड बहुमत मिलने के बाद नीतीश कुमार के नेतृत्व में एनडीए की नई सरकार ने कार्यभार संभाल लिया है। सरकार के गठन के बाद, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार अधिक सक्रिय दिखाई दे रहे हैं। वे स्वयं विभिन्न विकास योजनाओं का निरीक्षण कर रहे हैं और अधिकारियों के साथ बैठकें भी कर रहे हैं।

गुरुवार को, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मंत्रिमंडल सचिवालय विभाग एवं निगरानी विभाग के कार्यों की समीक्षा करते हुए अधिकारियों को महत्वपूर्ण निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि मंत्रिमंडल सचिवालय एवं निगरानी विभाग के कार्यों को बेहतर तरीके से लागू करने के लिए अधिकारियों को तेजी से काम करना चाहिए, जो सरकार की प्राथमिकताओं के अनुरूप हो।

मुख्यमंत्री ने बताया कि राज्य में भ्रष्टाचार को समाप्त करने के लिए निगरानी विभाग अपनी प्रभावी भूमिका निभा रहा है। उनका उद्देश्य न्याय के साथ विकास करते हुए जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाना है, ताकि राज्य को भ्रष्टाचार से मुक्त किया जा सके।

उन्होंने सुशासन और पारदर्शिता के साथ योजनाओं के कार्यान्वयन पर जोर दिया, जिससे आम जनता को त्वरित लाभ मिल सके।

बैठक में मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव दीपक कुमार, मंत्रिमंडल सचिवालय एवं निगरानी विभाग के अपर मुख्य सचिव अरविंद कुमार चौधरी, और मुख्यमंत्री के सचिव कुमार रवि सहित कई अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

मुख्यमंत्री ने पहली कैबिनेट बैठक में ही बंद पड़ी चीनी मिलों के पुनरुद्धार समेत कई प्रस्तावों को मंजूरी दी। इसके अलावा, उन्होंने हाजीपुर इंडस्ट्रियल एरिया का दौरा कर वहां के कार्यों की समीक्षा की, जिससे यह स्पष्ट हुआ कि सरकार की प्राथमिकता रोजगार और नौकरी सृजन है। एनडीए ने चुनाव में अगले पांच वर्षों में एक करोड़ लोगों को नौकरी और रोजगार देने का वादा किया है।

Point of View

यह स्पष्ट है कि बिहार में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की सक्रियता और निगरानी विभाग की भूमिका सकारात्मक संकेत दे रहे हैं। सुशासन और भ्रष्टाचार के खिलाफ उनकी स्पष्ट नीति से राज्य में विकास की संभावनाएं बढ़ रही हैं।
NationPress
27/11/2025

Frequently Asked Questions

नीतीश कुमार ने किस विभाग की समीक्षा की?
नीतीश कुमार ने मंत्रिमंडल सचिवालय एवं निगरानी विभाग की समीक्षा की।
सरकार की प्राथमिकताएं क्या हैं?
सरकार की प्राथमिकताएं भ्रष्टाचार समाप्त करना और रोजगार सृजन करना है।
बैठक में कौन-कौन से अधिकारी उपस्थित थे?
बैठक में मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव, अपर मुख्य सचिव और अन्य अधिकारी शामिल थे।
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