क्या सीएम नीतीश का चंपारण दौरा केसरिया के लिए तरक्की लेकर आएगा?

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क्या सीएम नीतीश का चंपारण दौरा केसरिया के लिए तरक्की लेकर आएगा?

सारांश

सीएम नीतीश कुमार का चंपारण दौरा केसरिया के लिए गर्व का क्षण है। विधायक शालिनी मिश्रा ने मुख्यमंत्री के लगाव और योजनाओं का जिक्र किया, जिससे क्षेत्र के विकास का संकेत मिलता है। क्या केसरिया आने वाले समय में बिहार का प्रमुख पर्यटन केंद्र बनेगा?

Key Takeaways

  • मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का चंपारण दौरा विकास की दिशा में महत्वपूर्ण है।
  • केसरिया को पर्यटन हब के रूप में विकसित करने की योजना है।
  • बौद्ध स्तूप के रेप्लिका का कार्य तेजी से चल रहा है।
  • मुख्यमंत्री ने कई विकास योजनाओं की समीक्षा की।
  • खजुरिया को प्रखंड बनाने की मांग पर विचार चल रहा है।

मोतिहारी, 11 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के हालिया दौरे को लेकर जेडी(यू) विधायक शालिनी मिश्रा ने लोगों को बधाई देते हुए कहा कि यह चंपारण और विशेष रूप से केसरिया विधानसभा के लिए एक गर्व का क्षण है। उन्होंने बताया कि चुनाव जीतने के बाद मुख्यमंत्री ने चंपारण की यात्रा की और अपनी पहली यात्रा के लिए केसरिया को चुना। इससे बड़ी खुशी और क्या हो सकती है?

शालिनी मिश्रा ने कहा कि मुख्यमंत्री का केसरिया के प्रति लगाव कोई नया नहीं है। पिछले पांच वर्षों में, वे यहाँ पांच बार आ चुके हैं। इस बार, जैसे ही उनका नया कार्यकाल शुरू हुआ, वे तुरंत केसरिया पहुँच गए। यह संकेत देता है कि आने वाले दिनों में केसरिया बड़ी तरक्की की राह पर बढ़ने वाला है।

विधायक शालिनी मिश्रा ने कहा कि मुख्यमंत्री ने इस बार विशेष रूप से बौद्ध स्तूप के रेप्लिका का निरीक्षण किया, जो असली स्तूप के आकार का लगभग 25 प्रतिशत प्रतिरूप है।

उन्होंने बताया कि यह कार्य तेजी से चल रहा है और अगले छह महीने में पूरा हो जाएगा। मुख्यमंत्री ने खुद साइट पर जाकर हर चीज़ को विस्तार से समझा, जैसे कि कहाँ क्या बन रहा है, कितनी सीटें होंगी, और पर्यटन सुविधाओं की योजना क्या है।

उन्होंने बताया कि केसरिया को एक बड़े पर्यटन हब के रूप में विकसित करने की योजना पहले से चल रही है। ठीक दो वर्ष पूर्व, 12 दिसंबर 2023 को मुख्यमंत्री ने इस परियोजना का शिलान्यास किया था और उसी समय कैफेटेरिया का उद्घाटन भी किया था। अब इसी योजना का कार्य अंतिम चरण में है, जिसकी कुल लागत लगभग 22 करोड़ रुपए है।

विधायक ने यह भी बताया कि मुख्यमंत्री से उनकी कई मांगों पर सकारात्मक चर्चा हुई। केसरिया के लोगों की लंबे समय से मांग है कि खजुरिया को प्रखंड बनाया जाए, इस पर भी सरकार गंभीरता से विचार कर रही है। इसके अलावा, बौद्ध स्तूप के सौंदर्यीकरण को लेकर भी बातचीत हुई।

शालिनी मिश्रा ने कहा कि कार्यक्रम में स्तूप का निरीक्षण शामिल नहीं था, लेकिन मुख्यमंत्री खुद अंदर गए और लाइटिंग सहित कई सुधारों की बात की।

उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री की इस यात्रा ने स्पष्ट कर दिया है कि आने वाले समय में केसरिया न केवल विकास की नई ऊंचाइयों तक पहुंचेगा, बल्कि बिहार का एक प्रमुख पर्यटन केंद्र भी बन जाएगा।

Point of View

जिससे क्षेत्र की पहचान बढ़ेगी। यह यात्रा राजनीतिक दृष्टिकोण से भी महत्वपूर्ण है क्योंकि यह चुनावी निष्ठा को दर्शाती है।
NationPress
11/12/2025

Frequently Asked Questions

सीएम नीतीश का चंपारण दौरा कब हुआ?
सीएम नीतीश का चंपारण दौरा 11 दिसंबर को हुआ।
क्या केसरिया को पर्यटन हब बनाया जाएगा?
हाँ, केसरिया को पर्यटन हब के रूप में विकसित करने की योजना चल रही है।
बौद्ध स्तूप का निरीक्षण किसने किया?
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बौद्ध स्तूप का निरीक्षण किया।
क्या खजुरिया को प्रखंड बनाया जाएगा?
इस पर सरकार गंभीरता से विचार कर रही है।
इस परियोजना की लागत कितनी है?
इस परियोजना की कुल लागत लगभग 22 करोड़ रुपए है।
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