क्या 'दंडित किया जाना चाहिए'? अशोक स्तंभ विवाद पर केंद्रीय मंत्री राजीव रंजन सिंह

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क्या 'दंडित किया जाना चाहिए'? अशोक स्तंभ विवाद पर केंद्रीय मंत्री राजीव रंजन सिंह

सारांश

केंद्रीय मंत्री राजीव रंजन सिंह और बिहार के उपमुख्यमंत्री विजय सिन्हा ने अशोक चिह्न को लेकर हजरतबल दरगाह में हुई घटना की निंदा की है। उन्होंने इसे देश के प्रतीक की सुरक्षा के लिए गंभीर मुद्दा बताया और दंड की मांग की। जानें इस विवाद के पीछे की पूरी कहानी।

Key Takeaways

  • अशोक चिह्न का राष्ट्रीय प्रतीक के रूप में महत्व
  • दंडित किए जाने की आवश्यकता पर चर्चा
  • महिला सशक्तीकरण कार्यक्रम की सफलता
  • विपक्ष के आरोपों का उत्तर
  • संविधान की रक्षा की आवश्यकता पर बल

पटना, 7 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। केंद्रीय मंत्री राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह और बिहार के उपमुख्यमंत्री विजय सिन्हा ने श्रीनगर के हजरतबल दरगाह के उद्घाटन पत्थर से अशोक चिह्न हटाने की घटना को दुर्भाग्यपूर्ण और खेदजनक बताया। राजीव रंजन सिंह ने कहा कि अशोक चिह्न हमारे राष्ट्र का प्रतीक है। जो कोई भी इसे नुकसान पहुंचाने की कोशिश करेगा, उसे दंडित किया जाना चाहिए।

पटना में मीडिया से बातचीत करते हुए विजय सिन्हा ने कहा कि अशोक चिह्न राष्ट्र और बिहार के गौरव का प्रतीक है। इसके साथ छेड़छाड़ दोषपूर्ण मानसिकता को दर्शाता है।

उन्होंने कांग्रेस और नेशनल कॉन्फ्रेंस पर आरोप लगाते हुए माफी और कार्रवाई की मांग की। उन्होंने केरल में बिहार मूल के लोगों के कथित अपमान और सत्ता के लिए समझौते का भी जिक्र किया।

उन्होंने कांग्रेस पर सवाल उठाते हुए इस मामले में तुरंत माफी मांगने की अपील की।

उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के साथ, हमने गर्व के साथ महिला सशक्तीकरण कार्यक्रम का शुभारंभ किया। प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री के नेतृत्व में महिलाओं की शासन में भागीदारी बढ़ी है, नौकरियों में आरक्षण 50 प्रतिशत से बढ़कर एक-तिहाई हो गया है, और 10,000 रुपए से 2 लाख रुपए तक के नए रोजगार के अवसर उपलब्ध हुए हैं। यह नारी शक्ति का सम्मान है। इंडी अलायंस के लोग नारी शक्ति का अपमान करते हैं। प्रधानमंत्री के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी करने वाले माफी मांगें, नहीं तो चुनाव में नारी शक्ति सबक सिखाएगी।

देशभर में एसआईआर के संबंध में उन्होंने कहा कि वह और उनकी पार्टी संविधान को मानने वाली हैं और संवैधानिक संस्थाओं के हर निर्णय के साथ हैं। उन्होंने कांग्रेस और राजद पर निशाना साधते हुए उन्हें चोरों की जमात और कालनेमि करार दिया। सिन्हा ने आरोप लगाया कि ये दल संविधान की किताब दिखाकर संवैधानिक संस्थाओं को अपमानित करते हैं।

उन्होंने स्टालिन और रेड्डी जैसे नेताओं पर बिहार को अपमानित करने का आरोप लगाया और पूछा कि क्या वे इसके लिए माफी मांगेंगे? उन्होंने चुनाव आयोग के फैसलों को जनहित में बताया और समर्थन किया।

भाजपा सांसदों की दो दिवसीय कार्यशाला को उन्होंने राष्ट्र प्रथम की भावना के साथ मां भारती की सेवा से जोड़ा। उन्होंने कहा कि भाजपा में प्रशिक्षण की प्रक्रिया निरंतर चलती है। यह कार्यशाला उसी का हिस्सा है।

उन्होंने जीएसटी सुधारों की टाइमिंग और विपक्षी दलों के सवालों पर कहा कि विपक्ष अपनी सत्ता के दौरान कोई बेहतर काम नहीं कर सका और अब जब प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में अच्छे काम हो रहे हैं, तो उनकी बेचैनी और हताशा बढ़ रही है। सिन्हा ने जीएसटी सुधारों को सकारात्मक कदम बताते हुए विपक्ष के सवालों को उनकी नाकामी और ईर्ष्या से प्रेरित ठहराया।

उन्होंने कहा कि तेजस्वी के पिता, लालू प्रसाद यादव ने भ्रष्टाचार के जरिए अकूत संपत्ति अर्जित की, जिसके कारण उन्हें बार-बार जेल जाना पड़ा और परिवार को बदनामी झेलनी पड़ी। उन्होंने सुझाव दिया कि तेजस्वी को पुत्र धर्म निभाते हुए अपने पिता की कथित अवैध संपत्ति जनता के खजाने में लौटानी चाहिए।

Point of View

बल्कि यह हमारे राष्ट्रीय प्रतीकों के प्रति हमारी जिम्मेदारी को भी उजागर करता है। एक राष्ट्रीय संपत्ति के रूप में, अशोक चिह्न का सम्मान करना हर नागरिक का कर्तव्य है। नेताओं की प्रतिक्रियाएँ इस मुद्दे पर उनकी संवेदनशीलता और राष्ट्रीयता को दर्शाती हैं।
NationPress
07/09/2025

Frequently Asked Questions

अशोक चिह्न का महत्व क्या है?
अशोक चिह्न भारतीय संस्कृति और इतिहास का एक महत्वपूर्ण प्रतीक है, जो शांति और धर्म का प्रतिनिधित्व करता है।
क्यों कहा गया कि दंडित किया जाना चाहिए?
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि जो कोई भी अशोक चिह्न को नुकसान पहुंचाने की कोशिश करेगा, उसे दंडित किया जाना चाहिए।
इस विवाद पर उपमुख्यमंत्री का क्या कहना है?
उपमुख्यमंत्री ने इसे राष्ट्रीय गौरव के अपमान के रूप में देखा और माफी की मांग की।
महिला सशक्तीकरण पर क्या कहा गया?
महिला सशक्तीकरण कार्यक्रम की सफलता और महिलाओं की भागीदारी में वृद्धि पर जोर दिया गया।
विपक्ष के आरोपों का क्या जवाब है?
केंद्रीय मंत्री ने विपक्षी दलों की नाकामी और ईर्ष्या को इस विवाद का कारण बताया।