क्या ऑनलाइन गेमिंग 'जोगणियां' मनी लॉन्ड्रिंग में शामिल है?
सारांश
Key Takeaways
- ईडी ने ऑनलाइन गेमिंग ऐप 'जोगणियां' से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में छापे मारे।
- मुख्य आरोपी बालमुकुंद ईनाणी हैं, जो दुबई भाग चुके हैं।
- कई जगहों पर सैकड़ों लोग एकत्रित हुए जब छापेमारी की गई।
- ईडी ने कई महत्वपूर्ण दस्तावेज और उपकरण जब्त किए।
- यह मामला कई राज्यों से जुड़ा हुआ है।
चित्तौड़गढ़, 2 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। राजस्थान के चित्तौड़गढ़ जिले के कपासन उपखंड में मंगलवार को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने ऑनलाइन गेमिंग ऐप 'जोगणियां' से संबंधित करोड़ों रुपए के मनी लॉन्ड्रिंग मामले में एक महत्वपूर्ण कार्रवाई की।
ईडी की टीमें पुलिस सुरक्षा के साथ कपासन शहर में आधा दर्जन से अधिक स्थानों पर पहुंचीं और एक साथ छापेमारी का अभियान शुरू किया। कार्रवाई की सूचना फैलते ही कई स्थानों पर सैकड़ों लोग एकत्रित हो गए।
ईडी के अनुसार, यह ऑपरेशन 'जोगणियां' नामक अवैध ऑनलाइन गेमिंग प्लेटफॉर्म से जुड़ा है, जो जुआ और बेटिंग के माध्यम से काले धन को सफेद करने का कार्य कर रहा था। ऐप के जरिए उपयोगकर्ताओं को लुभाकर पैसे जुटाए जाते थे, फिर जीत के लालच देकर बड़े दांव लगाए जाते थे। इससे कमाई के करोड़ों रुपए मनी लॉन्ड्रिंग के जरिए बैंकों, क्रिप्टो वॉलेट्स और विदेशी खातों में भेजे जाते थे।
जांच एजेंसी को संदेह है कि इस पूरे नेटवर्क का मुख्य दोषी कपासन नगरपालिका का पार्षद बालमुकुंद ईनाणी है। ईनाणी पर पहले से ही कपासन थाने में लगभग एक दर्जन आपराधिक मामले दर्ज हैं, जिनमें धोखाधड़ी, जुआ और गुंडागर्दी के आरोप शामिल हैं। वह लंबे समय से पुलिस की निगरानी में था और अब दुबई भाग चुका है। ईडी को लगता है कि वही इस अवैध कारोबार को वहीं से चला रहा है।
छापों के दौरान ईडी ने कई दस्तावेज, मोबाइल फोन, लैपटॉप और बैंक रिकॉर्ड जब्त किए। कुछ स्थानों पर नगद भी बरामद हुआ, लेकिन कुल राशि का खुलासा बाद में किया जाएगा।
ईडी के अनुसार, यह मामला राष्ट्रीय स्तर का है, जिसमें कई राज्यों के लोग शामिल हैं। ईडी को जानकारी मिली थी कि ईनाणी ने स्थानीय युवाओं को लुभाकर इस ऐप का एजेंट बनाया था। जून 2025 में चित्तौड़गढ़ पुलिस ने इसी कांड में तीन युवाओं को गिरफ्तार किया था, जिन्होंने ईनाणी का नाम लिया था। अब ईडी ने मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के तहत मामला दर्ज कर लिया है।