क्या महाराष्ट्र के गढ़चिरौली में 2 लाख के इनामी नक्सली की गिरफ्तारी सुरक्षाबलों के लिए एक बड़ी सफलता है?
 
                                सारांश
Key Takeaways
- शंकर महाका की गिरफ्तारी एक महत्वपूर्ण सुरक्षा सफलता है।
- उस पर 2 लाख रुपए का इनाम था।
- महाका का संबंध भामरागढ़ दलम से है।
- इस क्षेत्र में 109 नक्सलियों की गिरफ्तारी हुई है।
- आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों की संख्या बढ़ रही है।
गढ़चिरौली, 14 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। महाराष्ट्र की गढ़चिरौली पुलिस ने 2 लाख रुपए के इनाम परWanted नक्सली शंकर भीमा महाका (32) को गिरफ्तार किया है। वह भामरागढ़ दलम का सक्रिय सदस्य है और हत्या तथा आगजनी जैसी कई गंभीर घटनाओं में संलिप्त रहा है।
पुलिस अधिकारियों ने बताया कि 13 सितंबर को विशेष अभियान दल की दो टीमों ने भामरागढ़ के तिरकामेटा वन क्षेत्र में तलाशी अभियान के दौरान शंकर महाका को संदिग्ध परिस्थितियों में पकड़ लिया। पूछताछ में उसकी पहचान हुई और यह भी पता चला कि महाराष्ट्र सरकार ने उसकी गिरफ्तारी पर 2 लाख रुपए का इनाम रखा है।
उन्होंने बताया कि शंकर महाका 2022 में धोधराज-इरपनार मार्ग पर सड़क निर्माण में लगी 19 गाड़ियों को आग लगाने की घटना में शामिल था, जिनकी कीमत 2 करोड़ रुपए थी। उसके खिलाफ कुल 4 आपराधिक मामले दर्ज हैं, जिनमें हत्या और आगजनी जैसे गंभीर आरोप भी शामिल हैं।
अधिकारी ने बताया कि वह सुरक्षा बलों पर हमला करने के इरादे से क्षेत्र में रेकी कर रहा था। विशेष अभियान दल ने उसे समय पर गिरफ्तार कर लिया।
जनवरी 2022 से अब तक पुलिस ने कुल 109 नक्सलियों को गिरफ्तार किया है। गढ़चिरौली में एक ओर जहां पुलिस और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ होती है, वहीं दूसरी ओर कुछ नक्सली सरकार की नीतियों से प्रभावित होकर आत्मसमर्पण कर रहे हैं।
6 जून को महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के समक्ष महाराष्ट्र-छत्तीसगढ़ सीमा पर स्थित कवांडे गांव में 12 नक्सलियों ने हथियारों के साथ आत्मसमर्पण किया था। यह घटना आत्मसमर्पण की पहली घटना थी।
मुख्यमंत्री ने कहा था कि 12 नक्सलियों ने सरेंडर किया है, जिन पर 1 करोड़ से ज्यादा का इनाम था। उन्होंने अत्याधुनिक हथियारों के साथ सरेंडर किया है। सरकार इस जिले में रोजगार पैदा करने और इसे भारत की स्टील सिटी के रूप में विकसित करने के लिए प्रतिबद्ध है।
गढ़चिरौली में पहले आत्मसमर्पण कर चुके 13 पूर्व नक्सलियों का सामूहिक विवाह समारोह आयोजित किया गया, जिसमें मुख्यमंत्री पहुंचे थे। इस अवसर पर उन्होंने उनकी बहादुरी की प्रशंसा की।
 
                     
                                             
                                             
                                             
                                            