क्या जोहान्सबर्ग में पीएम मोदी ने जलवायु अनुकूल कृषि के लिए आईबीएसए फंड का प्रस्ताव रखा?
सारांश
Key Takeaways
- आईबीएसए फंड का प्रस्ताव जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए है।
- बैठक में पीएम मोदी ने वैश्विक सहयोग पर जोर दिया।
- सहयोग के लिए बाजरा और प्राकृतिक खेती जैसे क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित किया गया।
जोहान्सबर्ग, 23 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। रविवार को जोहान्सबर्ग में आयोजित आईबीएसए (इंडिया, ब्राजील, साउथ अफ्रीका) की बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जलवायु परिवर्तन का सामना करने वाली कृषि के लिए आईबीएसए फंड की स्थापना का प्रस्ताव प्रस्तुत किया।
पीएम मोदी ने शिक्षा, स्वास्थ्य, महिला सशक्तीकरण और सौर ऊर्जा जैसे क्षेत्रों में चालीस देशों में प्रोजेक्ट्स को समर्थन देने में आईबीएसए फंड के योगदान की सराहना की। बैठक की अध्यक्षता दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति सिरिल रामफोसा ने की। इसमें पीएम मोदी के साथ-साथ ब्राजील के राष्ट्रपति लुइज इनासियो लूला दा सिल्वा भी उपस्थित रहे।
पीएम मोदी ने कहा कि ग्लोबल साउथ देशों ने लगातार चार जी20 समिट की अध्यक्षता की है। उन्होंने कहा कि इससे ह्यूमन-सेंट्रिक डेवलपमेंट, मल्टीलेटरल रिफॉर्म, और सस्टेनेबल ग्रोथ पर ध्यान केंद्रित करने वाले कई महत्वपूर्ण प्रयास किए गए हैं।
उन्होंने इस बात पर बल दिया कि आईबीएसए एक-दूसरे के विकास का सम्मान कर सकता है और सस्टेनेबल ग्रोथ के लिए एक उदाहरण प्रस्तुत कर सकता है। उन्होंने बाजरा, प्राकृतिक खेती, आपदा प्रबंधन, हरित ऊर्जा, पारंपरिक दवाइयां, और स्वास्थ्य सुरक्षा जैसे क्षेत्रों में सहयोग के अवसरों पर जोर दिया।
इसके अतिरिक्त, पीएम मोदी ने सुरक्षित, भरोसेमंद और इंसानियत-आधारित एआई नियमों के विकास में आईबीएसए की भूमिका पर भी प्रकाश डाला। उन्होंने आईबीएसए के नेताओं को अगले साल भारत में आयोजित होने वाले एआई इम्पैक्ट समिट में शामिल होने के लिए आमंत्रित किया।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि ग्लोबल गवर्नेंस संस्थाएं 21वीं सदी की वास्तविकता से बहुत दूर हैं। उन्होंने आईबीएसए से यह मजबूत संदेश देने का आग्रह किया कि ग्लोबल गवर्नेंस संस्थाओं, विशेषकर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में अब सुधार अनिवार्य है।
पीएम मोदी ने मानव विकास में तकनीक की महत्वपूर्ण भूमिका पर जोर दिया। उन्होंने तीनों देशों के बीच यूपीआईडिजिटल पब्लिक इंफ्रास्ट्रक्चर, साइबर सुरक्षा ढांचे और महिलाओं के नेतृत्व वाली तकनीकी पहलों को साझा करने के लिए आईबीएसए डिजिटल इनोवेशन अलायंस बनाने का सुझाव दिया।