क्या केदारनाथ हेलीकॉप्टर दुर्घटना को गंभीरता से लेगी केंद्र सरकार? : तृणमूल नेता कुणाल घोष

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क्या केदारनाथ हेलीकॉप्टर दुर्घटना को गंभीरता से लेगी केंद्र सरकार? : तृणमूल नेता कुणाल घोष

सारांश

उत्तराखंड के केदारनाथ में हेलीकॉप्टर दुर्घटना के बाद केंद्र सरकार को इस मामले को गंभीरता से लेने की आवश्यकता है। तृणमूल कांग्रेस के नेता कुणाल घोष ने प्रशासन की लापरवाही पर सवाल उठाए हैं। जानिए इस मामले में क्या हो रहा है।

Key Takeaways

  • केदारनाथ में हेलीकॉप्टर दुर्घटना की जांच हो रही है।
  • केंद्र सरकार को यात्री सुरक्षा पर ध्यान देना चाहिए।
  • खराब मौसम के बावजूद उड़ान जारी रखने का मामला सामने आया है।
  • यह घटना प्रशासन की लापरवाही को उजागर करती है।
  • दुर्घटना की जांच के बाद सुरक्षा उपायों की समीक्षा की जाएगी।

कोलकाता, १५ जून (राष्ट्र प्रेस)। उत्तराखंड के केदारनाथ में रविवार सुबह एक हेलीकॉप्टर के दुर्घटनाग्रस्त होने के बाद तुरंत हेलीकॉप्टर सेवाओं पर रोक लगाई गई है। तृणमूल कांग्रेस के नेता कुणाल घोष ने केंद्र सरकार को सलाह दी है कि इस मामले को गंभीरता से लेना चाहिए।

वास्तव में, चार धाम यात्रा के लिए हेलीकॉप्टर सेवाओं पर यह रोक केदारनाथ हेलीकॉप्टर दुर्घटना के कारण लगाई गई है। मार्ग पर लगातार हो रही दुर्घटनाओं ने प्रशासन और सरकार में चिंता बढ़ा दी है। यह एक महीने में तीसरी बड़ी दुर्घटना है।

कुणाल घोष ने समाचार एजेंसी राष्ट्र प्रेस से बातचीत करते हुए कहा, "क्या हो रहा है, अहमदाबाद में जो विमान दुर्घटना हुई। इतना बड़ा हादसा कैसे हुआ? रखरखाव में कितनी लापरवाही हुई, इसकी जांच होनी चाहिए। फिर हमने देखा कि पठानकोट में एक हेलीकॉप्टर को इमरजेंसी लैंडिंग करनी पड़ी। आज (रविवार को) उत्तराखंड के केदारनाथ में पायलट समेत सात यात्रियों की जान चली गई। यह क्या हो रहा है? केंद्र सरकार के शासन में विमान और ट्रेनों की यात्री सुरक्षा और सेवा पूरी तरह से प्रभावित हो गई है, इसलिए केंद्र सरकार को इसे गंभीरता से देखना चाहिए।"

यह उल्लेखनीय है कि केदारनाथ क्षेत्र में रविवार सुबह एक दुखद हेलीकॉप्टर हादसा हुआ, जिसमें आर्यन एविएशन का बेल 407 हेलीकॉप्टर (रजिस्ट्रेशन नंबर वीटी-बीकेए) दुर्घटनाग्रस्त हो गया। इस हेलीकॉप्टर में पांच वयस्क, एक बच्चा और एक पायलट सवार था।

नागरिक उड्डयन मंत्रालय द्वारा साझा की गई जानकारी के अनुसार, हेलीकॉप्टर ने सुबह ५:१० बजे गुप्तकाशी के आर्यन हेलीपैड से उड़ान भरी और ५:१८ बजे श्री केदारनाथ जी हेलीपैड पर लैंड किया। इसके बाद हेलीकॉप्टर ने ५:१९ बजे गुप्तकाशी के लिए दोबारा उड़ान भरी, लेकिन लगभग ५:३० से ५:४५ के बीच गौरीकुंड के पास दुर्घटनाग्रस्त हो गया।

फिलहाल यह माना जा रहा है कि खराब मौसम और अत्यधिक बादलों के बावजूद हेलीकॉप्टर ने उड़ान जारी रखी, जिससे यह कंट्रोल्ड फ्लाइट इनटू टेरेन की स्थिति का शिकार हो गया। हालांकि, दुर्घटनाग्रस्त के असली कारणों की पुष्टि विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो (एएआईबी) की विस्तृत जांच के बाद ही होगी।

Point of View

यह घटना न केवल यात्री सुरक्षा के मुद्दे को उजागर करती है, बल्कि सरकार की जिम्मेदारी पर भी सवाल उठाती है। नागरिक उड्डयन मंत्रालय को इस तरह की घटनाओं पर ठोस कदम उठाने की आवश्यकता है। हमें उम्मीद है कि दुर्घटना की जांच के बाद वास्तविक कारणों का पता चलेगा और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए आवश्यक कदम उठाए जाएंगे।
NationPress
04/08/2025

Frequently Asked Questions

केदारनाथ हेलीकॉप्टर दुर्घटना कब हुई?
केदारनाथ हेलीकॉप्टर दुर्घटना १५ जून को हुई।
इस दुर्घटना में कितने लोग प्रभावित हुए?
इस दुर्घटना में पायलट समेत सात यात्रियों की जान गई।
कुणाल घोष ने क्या कहा?
कुणाल घोष ने केंद्र सरकार से इस मामले को गंभीरता से लेने की सलाह दी है।
क्या हेलीकॉप्टर सेवाओं पर रोक लगाई गई है?
हाँ, हेलीकॉप्टर सेवाओं पर तत्काल रोक लगा दी गई है।
दुर्घटना के कारण क्या हैं?
दुर्घटना के कारणों की जांच एएआईबी द्वारा की जाएगी।