क्या किसानों की ज्यादा से ज्यादा मदद होनी चाहिए: रामदास आठवले?

सारांश
Key Takeaways
- मराठवाड़ा में बाढ़ ने किसानों को भारी नुकसान पहुँचाया।
- केंद्रीय मंत्री रामदास आठवले किसानों की मदद के लिए प्रयासरत हैं।
- किसानों के लिए दीर्घकालिक योजनाएँ आवश्यक हैं।
- केंद्रीय और राज्य सरकारों को सहयोग करना चाहिए।
- बड़ी कंपनियों को भी किसानों की मदद करनी चाहिए।
बीड, 25 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। महाराष्ट्र के मराठवाड़ा क्षेत्र में इस वर्ष आई विनाशकारी बाढ़, जो भारी बारिश के कारण हुई, ने किसानों की फसलों को गंभीर नुकसान पहुँचाया है। प्रभावित किसान अब सरकार से कर्ज माफी की अपील कर रहे हैं। केंद्रीय मंत्री रामदास आठवले ने इस मुद्दे पर कहा कि मैं दिल्ली जाकर कृषि मंत्री से बातचीत करूंगा और जितने संभव हो सके किसानों की सहायता के लिए प्रयास करूंगा।
बीड में मीडिया से बातचीत करते हुए उन्होंने बताया कि इस वर्ष भारी बारिश के कारण कई किसानों को कठिनाइयों का सामना करना पड़ा है और कई घर भी प्रभावित हुए हैं। उन्होंने कहा कि वे बीड जिले के कुछ गांवों का दौरा करेंगे।
आठवले ने उल्लेख किया कि मराठवाड़ा में इस वर्ष की तरह इतनी बारिश पहले कभी नहीं हुई थी, जिससे फसलों का नाश हुआ है। एक किसान ने मुझसे रोते हुए कहा कि उसने सोयाबीन की फसल के लिए बैंक से एक लाख रुपये का कर्ज लिया था और अब वह असमंजस में है।
उन्होंने केंद्र सरकार से अपील की कि किसानों को आर्थिक मदद प्रदान की जाए, क्योंकि राज्य सरकार ने प्रभावित जिलों के लिए सहायता राशि की घोषणा की है, लेकिन किसानों को और अधिक सहायता की आवश्यकता है। आठवले ने सुझाव दिया कि बड़ी कंपनियों को, जिनका सीएसआर फंड करोड़ों में है, प्रभावित क्षेत्रों के पुनर्विकास के लिए कुछ तहसीलों को गोद लेना चाहिए। उन्होंने कहा कि किसानों का कर्ज माफ होना चाहिए और सभी को उनकी मदद के लिए आगे आना चाहिए।
रामदास आठवले ने आश्वासन दिया कि वह इस मुद्दे पर केंद्र सरकार से चर्चा करेंगे और किसानों के हित में हर संभव प्रयास करेंगे।
केंद्रीय मंत्री ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा कि मराठवाड़ा के लिए केवल अस्थायी मदद पर्याप्त नहीं है। इस क्षेत्र के लिए एक दीर्घकालिक और ठोस योजना बनानी चाहिए, जो न केवल किसानों, बल्कि सभी वंचित समूहों को भी पुनः स्थापित करे, क्योंकि मराठवाड़ा की संघर्षशील परंपरा और यहां के लोगों का धैर्य हमेशा से महाराष्ट्र के लिए प्रेरणादायक रहा है।
उन्होंने लिखा कि मैं व्यक्तिगत रूप से मुख्यमंत्री से संपर्क करूंगा और राज्य सरकार को, विशेष रूप से दलितों, शोषितों और वंचित समुदायों के मुद्दों पर सुझाव दूंगा। मैं कॉर्पोरेट और व्यावसायिक क्षेत्र से भी अपील करता हूं कि वे आगे आकर मराठवाड़ा के हमारे अन्नदाताओं की मदद करें।