क्या क्षत्रिय समाज का इतिहास बलिदान और राष्ट्र निर्माण की गाथाओं से भरा है?

सारांश
Key Takeaways
- क्षत्रिय समाज का इतिहास बलिदान और पराक्रम से भरा है।
- यह समाज राष्ट्र निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
- पूर्व सांसद बृजभूषण शरण सिंह ने समाज के योगदान की सराहना की।
- लोकतंत्र में सभी को अपनी बात रखने का अधिकार है।
- भविष्य में भी भाजपा का समर्थन जारी रहेगा।
कानपुर, १२ अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। भारतीय जनता पार्टी के पूर्व सांसद बृजभूषण शरण सिंह रविवार को क्षत्रिय महासभा की ओर से आयोजित एक भव्य कार्यक्रम में शामिल होने के लिए उत्तर प्रदेश के कानपुर पहुंचे। उन्होंने बताया कि क्षत्रिय समाज का इतिहास बलिदान, पराक्रम और राष्ट्र निर्माण की गाथाओं से भरा हुआ है।
पत्रकारों से बातचीत में उन्होंने कहा कि सतयुग से लेकर कलयुग तक इस समाज ने देश की रक्षा और उत्थान में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है, और उनका योगदान भविष्य में भी जारी रहेगा। क्षत्रिय समाज का योगदान हर युग में अद्वितीय रहा है।
उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती की रैली के बारे में पूछे जाने पर बृजभूषण शरण सिंह ने कहा कि विपक्षी दलों का काम केवल विरोध करना है। बसपा की रैली मायावती की अपनी पार्टी का आयोजन था और इससे किसी को कोई परेशानी नहीं होनी चाहिए। लोकतंत्र में हर किसी को अपनी बात रखने का अधिकार है, लेकिन हमें केवल भारतीय जनता पार्टी ही नजर आती है।
उन्होंने कहा, "२०१७ में भाजपा की सरकार प्रदेश में बनी थी और जनता ने जिस विश्वास के साथ पार्टी को समर्थन दिया, वह भविष्य में भी कायम रहेगा। २०२७ में भी उत्तर प्रदेश में केवल भाजपा की सरकार बनेगी। जनता भाजपा के साथ है।"
बृजभूषण सिंह ने कहा, "मैं छह बार का सांसद रहा हूं, मेरी पत्नी भी एक बार सांसद रह चुकी हैं और मेरा बेटा भी एक बार सांसद बना। अगर किस्मत ने धोखा नहीं दिया होता, तो आज मैं सांसद होता।"
कार्यक्रम के दौरान उन्होंने अपने आत्मविश्वास के साथ कहा कि उनका दबदबा था, है और आगे भी रहेगा।
इस कार्यक्रम में शहर और आसपास के क्षेत्रों से बड़ी संख्या में क्षत्रिय समाज के लोग शामिल हुए। आयोजन में समाज के कई प्रमुख पदाधिकारी, कार्यकर्ता और गणमान्य नागरिक भी उपस्थित थे। कार्यक्रम के अंत में बृजभूषण शरण सिंह का सम्मान शाल और पुष्पगुच्छ देकर किया गया।