क्या बंगाल फाइल्स का पश्चिम बंगाल में प्रदर्शित न होना सीएम ममता बनर्जी की कायरता है?

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क्या बंगाल फाइल्स का पश्चिम बंगाल में प्रदर्शित न होना सीएम ममता बनर्जी की कायरता है?

सारांश

भाजपा नेता दिलीप घोष ने ममता बनर्जी पर आरोप लगाया है कि उन्होंने डर के कारण 'बंगाल फाइल्स' को पश्चिम बंगाल में रिलीज नहीं होने दिया। क्या यह सिर्फ एक राजनीतिक चाल है या वास्तव में कोई बड़ा कारण है? जानें इस विवाद की पूरी कहानी।

Key Takeaways

  • दिलीप घोष ने ममता बनर्जी पर गंभीर आरोप लगाए हैं।
  • 'बंगाल फाइल्स' 1946 के दंगों पर आधारित है।
  • फिल्म के प्रदर्शित न होने से सिनेमा हॉल संचालकों में डर है।

कोलकाता, 6 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। भाजपा नेता दिलीप घोष ने 'बंगाल फाइल्स' को पश्चिम बंगाल में प्रदर्शित न किए जाने पर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर तीखा प्रहार किया।

उन्होंने राष्ट्र प्रेस से बातचीत में कहा कि ममता बनर्जी एक कायर मुख्यमंत्री हैं, जिन्हें डर है कि लोग उनके काले कारनामों के बारे में जान न सकें, इसलिए उन्होंने पश्चिम बंगाल में 'बंगाल फाइल्स' को रिलीज नहीं होने दिया। हालांकि, इससे कुछ नहीं होगा। पश्चिम बंगाल की जनता किसी न किसी तरीके से इस फिल्म को देख लेगी।

उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि पश्चिम बंगाल के सभी सिनेमा हॉल के संचालकों को धमकाया गया है। उन्हें कहा गया है कि वे किसी भी कीमत पर 'बंगाल फाइल्स' को नहीं दिखाएं। इससे सिनेमा हॉल के संचालकों के बीच डर का माहौल पैदा हो गया है। यही कारण है कि वे इसे प्रदर्शित करने से हिचकिचा रहे हैं। ऐसा करने से ममता बनर्जी को कुछ भी हासिल नहीं होगा, क्योंकि उन्हें बंगाल की जनता की नापसंदगी का सामना करना पड़ रहा है।

दिलीप घोष ने कहा कि ममता बनर्जी घबरा चुकी हैं। वे सच्चाई को छुपाने की कोशिश कर रही हैं, लेकिन वे इसे अधिक समय तक छुपाकर नहीं रख पाएंगी। यदि ममता अपनी खुद की पार्टी को नियंत्रित नहीं कर पा रही हैं, तो वे 'बंगाल फाइल्स' को रोकने में सफल कैसे होंगी?

गौरतलब है कि 'द बंगाल फाइल्स' विवेक अग्निहोत्री द्वारा निर्देशित 2025 की हिंदी राजनीतिक ड्रामा फिल्म है, जो उनकी 'फाइल्स ट्रायोलॉजी' की अंतिम कड़ी है। यह फिल्म 1946 के ग्रेट कलकत्ता किलिंग्स और नोआखाली दंगों पर केंद्रित है, जिन्हें हिंदू नरसंहार के रूप में दर्शाया गया है। फिल्म में मिथुन चक्रवर्ती, अनुपम खेर, पल्लवी जोशी और सास्वत चटर्जी जैसे कलाकार शामिल हैं। 204 मिनट की यह फिल्म इतिहास के दबाए गए अध्यायों को उजागर करती है।

Point of View

यह स्पष्ट है कि राजनीतिक विवादों में अक्सर सच्चाई और प्रचार का मिश्रण होता है। 'बंगाल फाइल्स' का मामला भी इसी दायरे में आता है, जहां एक पक्ष की चिंता दूसरे पक्ष की आलोचना बन जाती है। हमें यह समझना होगा कि जनता का हित सबसे महत्वपूर्ण है।
NationPress
06/09/2025

Frequently Asked Questions

बंगाल फाइल्स फिल्म किस विषय पर आधारित है?
यह फिल्म 1946 के ग्रेट कलकत्ता किलिंग्स और नोआखाली दंगों पर आधारित है।
क्यों ममता बनर्जी ने फिल्म को रिलीज नहीं होने दिया?
भाजपा नेता दिलीप घोष का कहना है कि ममता को डर है कि लोग उनके काले कारनामों के बारे में जान जाएंगे।
इस फिल्म में कौन-कौन से कलाकार हैं?
फिल्म में मिथुन चक्रवर्ती, अनुपम खेर, पल्लवी जोशी और सास्वत चटर्जी जैसे कलाकार शामिल हैं।