क्या लखपति दीदी अभियान से महिलाएं आर्थिक आत्मनिर्भरता की नई मिसाल गढ़ रही हैं?: अर्जुन राम मेघवाल

सारांश
Key Takeaways
- लखपति दीदी अभियान महिलाओं को आर्थिक आत्मनिर्भरता की दिशा में बढ़ावा दे रहा है।
- महिलाएं अपने उत्पादों को मेलों में बेचकर आय बढ़ा रही हैं।
- राजीविका और नाबार्ड जैसे संगठनों का सहयोग प्राप्त है।
- यह पहल 'वोकल फॉर लोकल' के सिद्धांत को सशक्त बनाती है।
- आर्थिक स्वावलंबन से ग्रामीण अर्थव्यवस्था को गति मिल रही है।
बीकानेर, १३ अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। राजस्थान के बीकानेर में सोमवार को जिला परिषद परिसर में स्वयं सहायता समूह महिला सशक्तिकरण का कार्यक्रम आयोजित किया गया। केंद्रीय विधि एवं न्याय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने बताया कि लखपति दीदी अभियान के माध्यम से महिलाएं आर्थिक आत्मनिर्भरता की नई मिसाल गढ़ रही हैं।
उन्होंने बताया कि राजीविका (राजस्थान ग्रामीण आजीविका विकास परिषद) के माध्यम से गठित स्वयं सहायता समूहों को नाबार्ड और बैंकों से जोड़कर वित्तीय सहायता उपलब्ध करवाई जाती है, जिससे ये समूह विभिन्न व्यापारिक गतिविधियों में सफलता प्राप्त कर रहे हैं। ये महिलाएं अपने उत्पादों को मेलों और प्रदर्शनी में बेचकर अपने परिवार की आय बढ़ा रही हैं।
केंद्रीय मंत्री ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर कार्यक्रम की तस्वीरें साझा करते हुए लिखा कि उन्होंने बीकानेर प्रवास के दौरान लखपति दीदी एवं स्वयं सहायता समूह (एसएचजी) की महिलाओं को डिजिटल रूप से सक्षम बनाने के प्रशिक्षण कार्यक्रम में भाग लिया और उनके द्वारा निर्मित उत्पादों का अवलोकन किया।
इस पहल का उद्देश्य ग्रामीण महिलाओं और उनके स्वावलंबन को प्रोत्साहित करना और 'वोकल फॉर लोकल' के सिद्धांत को सशक्त बनाना है।
उन्होंने लिखा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में लखपति दीदी अभियान के माध्यम से लाखों महिलाएं आर्थिक स्वावलंबन की नई मिसाल गढ़ रही हैं, जो ग्रामीण अर्थव्यवस्था को नई गति और शक्ति प्रदान कर रही हैं।
दुर्गापुर रेप केस पर अर्जुन राम मेघवाल ने कहा कि बंगाल में कानून व्यवस्था बिगड़ चुकी है। वहां, महिला मुख्यमंत्री होने के बावजूद महिलाओं पर अत्याचार बढ़ रहे हैं। उन्होंने कहा कि जब भी बंगाल में दुष्कर्म जैसी जघन्य घटनाएं होती हैं, मुख्यमंत्री मामले को भटकाने का प्रयास करती हैं। ऐसे मामलों में दोषियों को तुरंत सजा मिलनी चाहिए।