क्या मध्य प्रदेश में कानून व्यवस्था को चुनौती देने वाला भुगतेगा परिणाम? : मोहन यादव
सारांश
Key Takeaways
- राज्य में कानून-व्यवस्था को प्राथमिकता दी जाएगी।
- घटना से संबंधित पुलिस अधिकारियों को सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं।
- सरकार अपराधियों के खिलाफ सख्त रवैया अपनाने के लिए प्रतिबद्ध है।
- छेड़छाड़ के विरोध पर हत्या का मामला सामने आया है।
- कटनी में शोक-संतप्त परिवार को संवेदना व्यक्त की जा रही है।
भोपाल, 29 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। मध्य प्रदेश के कटनी जिले में भाजपा नेता की हत्या के संबंध में मुख्यमंत्री मोहन यादव ने कहा कि जो कानून-व्यवस्था को चुनौती देगा, उसे उसके कृत्य का परिणाम अवश्य भुगतना पड़ेगा।
मंगलवार को कटनी जिले में भाजपा के पिछड़ा वर्ग मोर्चा के जिला अध्यक्ष नीलेश रजक की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। इसके बाद से राज्य की कानून व्यवस्था पर बड़े सवाल उठ रहे हैं।
इस हत्याकांड पर प्रतिक्रिया देते हुए मुख्यमंत्री मोहन यादव ने बुधवार को सोशल मीडिया प्लेटफार्म 'एक्स' पर लिखा, ''कटनी में दो पक्षों के बीच हुए विवाद में एक व्यक्ति की मृत्यु अत्यंत दुखद है। मैं दिवंगत आत्मा को अपनी श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं तथा शोक-संतप्त परिवार के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त करता हूं।''
सीएम मोहन यादव ने अपराधियों को एक चेतावनी देते हुए कहा कि राज्य में कानून-व्यवस्था से किसी भी प्रकार का समझौता नहीं किया जाएगा। जो कानून-व्यवस्था को चुनौती देगा, उसे उसके कृत्य का परिणाम अवश्य भुगतना पड़ेगा। घटना की जानकारी मिलने पर मैंने संबंधित पुलिस अधिकारियों को सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए थे। पुलिस ने एक आरोपी के खिलाफ कठोर कार्रवाई करते हुए उसे गिरफ्तार किया है।
उन्होंने इस हत्याकांड के बाद दिए गए निर्देशों का हवाला देते हुए बताया कि हाल ही में जबलपुर में आयोजित संभागीय बैठक में मैंने स्पष्ट निर्देश दिए थे कि अपराधी कोई भी हो, बख्शा नहीं जाएगा।
प्रभारी मंत्री राव उदय प्रताप सिंह को कटनी जाकर शोक-संतप्त परिवार से भेंट कर संवेदना व्यक्त करने के निर्देश दिए गए हैं।
कटनी जिले में भाजपा नेता नीलेश रजक की हत्या की मुख्य वजह छेड़छाड़ का विरोध करना बताया जा रहा है। हत्या के आरोपी कॉलेज और स्कूल जाने वाली बालिकाओं से छेड़छाड़ किया करते थे, जिसका नीलेश रजक ने विरोध किया था।
इतना ही नहीं, आरोपियों ने छेड़छाड़ और छात्राओं को परेशान करने का विरोध करने पर पुलिस अधिकारी के सामने जान से मारने की धमकी दी थी, लेकिन इसके बावजूद पुलिस ने धमकी देने वाले के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की थी।