क्या मणिपुर में डेंगू का प्रकोप बढ़ रहा है? 102 नए संक्रमित मरीजों की पुष्टि

सारांश
Key Takeaways
- डेंगू के मामलों में वृद्धि को गंभीरता से लेना चाहिए।
- स्वास्थ्य विभाग ने फॉगिंग और जागरूकता अभियानों को तेज किया है।
- लंबी बारिश ने मच्छरों के प्रजनन के लिए अनुकूल स्थिति बनाई है।
- सफाई रखना और रुका हुआ पानी हटाना आवश्यक है।
- जागरूकता से हम डेंगू के प्रसार को रोक सकते हैं।
इंफाल, 16 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। मणिपुर के 16 जिलों में से छह में गुरुवार को 102 और लोग डेंगू से संक्रमित पाए गए हैं, जिससे पूर्वोत्तर राज्य में डेंगू के मामलों में वृद्धि हुई है।
स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग की एक रिपोर्ट के अनुसार, इस वर्ष अब तक राज्य में कम से कम 2,585 लोग डेंगू से प्रभावित हुए हैं, जबकि बिष्णुपुर जिले में एक मरीज की इस बीमारी के कारण मौत हुई है।
अधिकारियों ने बताया कि इस वर्ष डेंगू के पॉजिटिव मामलों में पिछले वर्ष (2024) की इसी अवधि की तुलना में 91 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि 1 जनवरी से 12 अक्टूबर के बीच 6,093 लोगों की जांच में से 2,585 पॉजिटिव मामले सामने आए।
स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने बताया कि इस वर्ष 1,232 मामलों की वृद्धि हुई है। 2024 के इसी अवधि में डेंगू के 1,353 मामले दर्ज किए गए थे।
राज्य के 16 प्रशासनिक जिलों में से इंफाल पश्चिम में सबसे अधिक 1,839 मामले दर्ज किए गए हैं, इसके बाद इम्फाल पूर्व (434), बिष्णुपुर (79), थौबल (67), सेनापति (45), काकचिंग (37) और उखरुल (23) हैं।
बिष्णुपुर जिले में डेंगू से एक व्यक्ति की मौत हो चुकी है। स्वास्थ्य विभाग के एक अधिकारी ने कहा कि राष्ट्रीय वेक्टर जनित रोग नियंत्रण कार्यक्रम (एनवीबीडीसीपी) के दिशा-निर्देशों के तहत, विभाग अन्य विभागों के साथ मिलकर डेंगू को रोकने के लिए प्रयास कर रहा है।
अधिकारी ने बताया कि इंफाल घाटी में डेंगू के बढ़ते मामले चिंताजनक हैं। लंबे समय तक मॉनसून की बारिश और रुके हुए पानी के कारण एडीज मच्छरों के प्रजनन के लिए अनुकूल स्थिति बनी है, जिससे डेंगू फैल रहा है।
स्वास्थ्य विभाग ने मच्छरों को नियंत्रित करने के लिए फॉगिंग और जागरूकता अभियान तेज कर दिए हैं। नगर निकायों और शहरी विकास विभाग ने लोगों से अपने आसपास सफाई रखने, रुका हुआ पानी हटाने और मच्छर भगाने वाली दवाइयों एवं जालियों का उपयोग करने की अपील की है।