क्या नए लेबर कोड भारत के श्रमिक वर्ग के लिए एक महत्वपूर्ण कदम हैं?

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क्या नए लेबर कोड भारत के श्रमिक वर्ग के लिए एक महत्वपूर्ण कदम हैं?

सारांश

नए लेबर कोड्स के तहत श्रमिकों के हितों की सुरक्षा को प्राथमिकता दी गई है, जिससे उन्हें बेहतर कार्य परिस्थितियों और वेतन का लाभ मिलेगा। क्या ये सुधार वाकई में श्रमिक वर्ग के लिए फायदेमंद साबित होंगे? जानें इस महत्वपूर्ण खबर में।

Key Takeaways

  • नए लेबर कोड्स श्रमिकों के अधिकारों की सुरक्षा करते हैं।
  • ये कोड सामाजिक सुरक्षा लाभ प्रदान करते हैं।
  • कामकाजी महिलाओं के लिए समान वेतन सुनिश्चित करते हैं।
  • श्रमिकों के लिए न्यूनतम सैलरी की गारंटी करते हैं।
  • ग्रेच्युटी का नियम भी श्रमिकों के फायदे में बदला गया है।

नई दिल्ली, 22 नवंबर (राष्ट्र प्रेस)। वर्कर्स यूनियन ने शनिवार को कहा कि नए लेबर कानून सुधार भारत के श्रमिक वर्ग के लिए एक महत्वपूर्ण कदम हैं। सरकार ने पहले के 29 लेबर कोड को चार नए लेबर कोड से बदल दिया है, जिससे वर्कफोर्स के लिए रेगुलेटरी फ्रेमवर्क अधिक सरल और प्रभावी हो गया है।

चार लेबर कोड में कोड ऑन वेजेज 2019, इंडस्ट्रियल रिलेशंस कोड 2020, कोड ऑन सोशल सिक्योरिटी 2020 और ऑक्यूपेशनल सेफ्टी, हेल्थ एंड वर्किंग कंडीशंस कोड 2020 शामिल हैं।

राष्ट्र प्रेस से बात करते हुए भारतीय मजदूर संघ (बीएमएस) के फाइनेंशियल सेक्टर के इंचार्ज ऑल इंडिया सेक्रेटरी गिरीश चंद्र आर्य ने लेबर कोड की सराहना की और प्रधानमंत्री और श्रम मंत्री का आभार व्यक्त किया। आर्य ने इस निर्णय को देश के श्रमिक वर्ग के लिए एक महत्वपूर्ण कदम बताया। उन्होंने कहा, "प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में लंबे समय से रुके हुए लेबर सुधार लागू किए गए हैं, जिससे देश के लाखों श्रमिकों को लाभ हुआ है।"

बीएमएस के एक डेलीगेशन ने पहले यूनियन लेबर और एम्प्लॉयमेंट मिनिस्टर, ह्यूमन रिसोर्स मिनिस्ट्री से मुलाकात की थी और लेबर कोड्स के विभिन्न पहलुओं पर चर्चा की थी। संगठन ने कहा कि श्रमिकों के हितों से जुड़े कई सुझाव सरकार को दिए गए थे, जिनमें से कई को लेबर कोड्स में शामिल किया गया है।

आर्य ने कहा, "लेबर सुधारों की सफलता के लिए सरकार और श्रमिक संगठनों के बीच सकारात्मक संवाद आवश्यक है।" साथ ही उन्होंने श्रमिकों के अधिकारों, सुरक्षा और सामाजिक सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए कोड्स को सही तरीके से लागू करने की आवश्यकता पर भी जोर दिया।

जनरल सेक्रेटरी रवींद्र हिमटे ने राष्ट्र प्रेस को बताया कि भारतीय मजदूर संघ देश के श्रमिकों के हितों की सुरक्षा के लिए काम करता रहेगा और लेबर कोड्स को प्रभावी तरीके से लागू करने में रचनात्मक सहयोग देगा।

अंगुल एल्युमिनियम मजदूर संघ ओडिशा के जनरल सेक्रेटरी गोपाल कृष्ण मलिक ने कहा कि इन नए नियमों से समय पर और बढ़ी हुई सैलरी, सभी श्रमिकों के लिए न्यूनतम सैलरी, महिलाओं के लिए समान अवसर और समान वेतन, सामाजिक सुरक्षा लाभ और मुफ्त स्वास्थ्य जांच सुनिश्चित होंगे।"

बीएमएस के डिस्ट्रिक्ट प्रेसिडेंट प्रशांत कुमार साहू ने भी इन सुधारों का स्वागत किया और ग्रेच्युटी से जुड़े एक विशेष नियम पर जोर दिया। उन्होंने कहा, "नए कानून के अनुसार अब कर्मचारी पांच साल की सेवा के बजाय केवल एक साल की सेवा के बाद ग्रेच्युटी के हकदार होंगे। यह श्रमिकों के लिए एक बड़ा लाभ होगा।"

Point of View

अवसर और सामाजिक सुरक्षा को बढ़ावा देना है। यह एक सकारात्मक कदम है जो भारत की श्रमिकों की स्थिति को सुधारने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल है। हालांकि, इसके प्रभावी कार्यान्वयन के लिए सरकार और श्रमिक संघों के बीच सहयोग अनिवार्य है।
NationPress
26/11/2025

Frequently Asked Questions

नए लेबर कोड्स का मुख्य उद्देश्य क्या है?
नए लेबर कोड्स का मुख्य उद्देश्य श्रमिकों के अधिकारों की सुरक्षा, उनके लिए बेहतर कार्य परिस्थितियों को सुनिश्चित करना और सामाजिक सुरक्षा लाभ प्रदान करना है।
ये नए नियम कब से लागू होंगे?
सरकार ने अभी तक नए लेबर कोड्स के लागू होने की तारीख की घोषणा नहीं की है, लेकिन उम्मीद है कि ये जल्द ही लागू होंगे।
क्या ये नियम सभी श्रमिकों के लिए समान हैं?
हाँ, नए लेबर कोड्स सभी श्रमिकों के लिए समान रूप से लागू होंगे, ताकि सभी को समान अवसर और सुरक्षा मिल सके।
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