क्या एनडीए अस्तित्व बचाने के लिए नगर-नगर भटक रही है: मृत्युंजय तिवारी?

सारांश
Key Takeaways
- एनडीए और महागठबंधन के बीच राजनीतिक उठापटक जारी है।
- राजद का कहना है कि भाजपा अस्तित्व के लिए संघर्ष कर रही है।
- महागठबंधन में सीट बंटवारे का निर्णय हो चुका है।
- बिहार के लोग बदलाव के मूड में हैं।
- चुनाव की तिथि नजदीक है।
पटना, 11 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। बिहार विधानसभा चुनाव के लिए एनडीए में सीट बंटवारे पर अंतिम निर्णय से पहले दिल्ली में बैठकें जारी हैं। एनडीए के घटक दलों के नेता भी दिल्ली में इकट्ठा होंगे। इससे पहले भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के आवास पर भाजपा कोर ग्रुप की बैठक आयोजित की गई थी। इस पर राजद ने तंज कसा है।
राष्ट्रीय जनता दल के प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा कि भाजपा अपने अस्तित्व को बचाने के लिए नगर-नगर, द्वार-द्वार जा रही है। उन्होंने बताया कि महागठबंधन में सब कुछ 'ऑल इज वेल' है, जबकि एनडीए दिल्ली से लेकर पटना तक घूम रही है, बैठकें चल रही हैं, लेकिन वहां कुछ भी 'ऑल इज नॉट वेल' है। वहां सिर फुटव्वल जारी है।
राजद नेता मृत्युंजय तिवारी ने यह भी कहा कि महागठबंधन में सीट बंटवारे का निर्णय अंतिम रूप से ले लिया गया है। इसकी घोषणा जल्द ही की जाएगी।
उन्होंने एनडीए में नाराजगी का दावा करते हुए कहा कि नामांकन के अंतिम दौर तक एनडीए में भगदड़ मचाना तय है। दिल्ली के नेता कितना भी जोर लगा लें, लेकिन इस भगदड़ को वे रोक नहीं सकेंगे।
राजद नेता ने कहा कि तेजस्वी यादव ने सभी को साथ लेकर चलने का आश्वासन दिया है। उन्होंने स्पष्ट कहा है कि राजद 'ए टू जेड' की पार्टी है। उन्होंने यह भी कहा कि बिहार के लोग इस चुनाव में परिवर्तन के मूड में हैं। इस बार बिहार में कमाई, पढ़ाई, दवाई और कार्रवाई वाली सरकार बनेगी और बिहार को बदलने का कार्य किया जाएगा।
वास्तव में, बिहार में दोनों गठबंधनों, राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) और महागठबंधन, में अब तक सीट बंटवारे की घोषणा नहीं हुई है। दोनों गठबंधनों में बैठकें जारी हैं। यह एक महत्वपूर्ण बिंदु है कि दोनों गठबंधनों के नेता अपने-अपने गठबंधनों में सब कुछ ठीक होने का दावा कर रहे हैं। बिहार में पहले चरण का मतदान 6 नवंबर और दूसरे चरण की वोटिंग 11 नवंबर को होगी।