क्या नींद की समस्या से परेशान हैं? अपनाएं ये देसी नुस्खा
सारांश
Key Takeaways
- गुनगुना दूध नींद के लिए फायदेमंद है।
- ब्राह्मी और अश्वगंधा पाउडर मानसिक स्वास्थ्य में सुधार करते हैं।
- बादाम और शहद ऊर्जा को बढ़ाते हैं।
- 7 दिन तक लगातार अपनाने से नींद में सुधार होता है।
- डॉक्टर की सलाह लेना आवश्यक है।
नई दिल्ली, 25 दिसंबर (राष्ट्र प्रेस)। क्या रात में नींद नहीं आ रही है और आप काफी देर तक करवटें बदलते रह रहे हैं? सुबह उठते ही सिर भारी और मन चिड़चिड़ा रहता है? वास्तव में, आज की तेज़-तर्रार जिंदगी, मोबाइल स्क्रीन, तनाव और अनियमित दिनचर्या के कारण अनिद्रा यानी नींद न आने की समस्या तेजी से बढ़ रही है। ऐसे में लोग अक्सर नींद की गोलियों का सहारा लेते हैं, जिनके साइड इफेक्ट्स भी हो सकते हैं।
इसी बीच, आयुर्वेद से जुड़े मंचों पर एक देसी नुस्खा चर्चा का विषय बना हुआ है। यह दावा किया जा रहा है कि यह नुस्खा ऋषि-मुनियों के समय से चला आ रहा है और इसे 22 साल के एक युवक ने साझा किया है, जो प्राचीन आयुर्वेदिक ज्ञान से प्रेरित है। कहा जा रहा है कि इस उपाय से बिना किसी गोली के गहरी नींद आने लगती है।
इस देसी इलाज को अपनाने के लिए रात को सोने से करीब 30 मिनट पहले एक खास मिश्रण तैयार करना होता है। इसके लिए एक गिलास गुनगुना दूध लें, जिसमें एक चम्मच ब्राह्मी पाउडर या अश्वगंधा पाउडर मिलाएं। साथ ही, 4-5 भिगोए हुए बादाम को छिलका उतारकर पीसकर डालें। फिर एक चुटकी जायफल पाउडर और एक चम्मच शहद मिलाएं।
सभी चीजों को अच्छे से मिलाकर पीने के बाद बिस्तर पर लेटकर लगभग 5 मिनट तक गहरी सांस लेने की सलाह दी जाती है। यह कहा जा रहा है कि अगर इसे लगातार 7 दिनों तक अपनाया जाए, तो रात में 10 मिनट के भीतर नींद आने लगती है। सुबह उठने पर ताजगी महसूस होती है, तनाव कम होता है और दिमाग शांत रहता है। साथ ही, याददाश्त और एकाग्रता में भी सुधार होने का दावा किया जा रहा है।
हालांकि, विशेषज्ञों का कहना है कि हर व्यक्ति का शरीर अलग होता है। आयुर्वेदिक या घरेलू उपाय अपनाने से पहले डॉक्टर या विशेषज्ञ से सलाह लेना बेहतर होता है, खासकर यदि किसी को पहले से कोई बीमारी हो। फिर भी, नींद की समस्या से जूझ रहे लोगों के लिए यह देसी नुस्खा एक प्राकृतिक विकल्प के रूप में उम्मीद जरूर जगा रहा है।