क्या पाकिस्तान का अपने नागरिकों पर एयरफोर्स का इस्तेमाल शर्मनाक है? एसपी वैद का बयान

सारांश
Key Takeaways
- पाकिस्तान की एयरफोर्स द्वारा बमबारी को श्रीमान एसपी वैद ने अत्यंत शर्मनाक बताया।
- मानवाधिकार उल्लंघन के लिए अंतरराष्ट्रीय समुदाय से कार्रवाई की मांग की गई।
- कश्मीर मुद्दे पर पाकिस्तान के झूठे प्रचार का खुलासा।
- संयुक्त राष्ट्र से निष्पक्ष जांच की अपील।
- भारत-पाकिस्तान संबंधों पर गंभीर चिंताएं व्यक्त की गईं।
जम्मू, 22 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। पाकिस्तान की वायुसेना द्वारा खैबर पख्तूनख्वा प्रांत में अपने ही नागरिकों पर की गई बमबारी की हर जगह निंदा हो रही है। इस घटना पर जम्मू-कश्मीर के पूर्व पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) एसपी वैद ने तीखी प्रतिक्रिया दी और इसे शर्मनाक बताया।
जम्मू-कश्मीर के पूर्व डीजीपी एस.पी. वैद ने राष्ट्र प्रेस से बातचीत करते हुए कहा, "इससे शर्मनाक और कुछ नहीं हो सकता। एयरफोर्स का इस्तेमाल अपने ही लोगों पर हमला करने के लिए करना साफ दर्शाता है कि पाकिस्तान ने यह किया है। बलूचिस्तान और खैबर पख्तूनख्वा दोनों में यही हाल है। इसका यह मतलब नहीं कि अपने ही लोगों पर बमबारी की जाए। एयरफोर्स द्वारा 8 बम गिराए गए हैं, जिसमें 30 से अधिक लोगों की जान चली गई है; इनमें बच्चे और महिलाएं भी शामिल हैं। पाकिस्तान पूरे देश में जो प्रचार-प्रसार चलाता है, वह झूठ का पुलिंदा है।"
वैद ने आगे कहा, "क्या आपने कभी सुना है कि एयरफोर्स का इस्तेमाल अपने लोगों पर किया गया हो? क्या आपने कभी सुना है कि हेलीकॉप्टर या फाइटर-प्लेन से अपने ही नागरिकों पर बमबारी हुई हो? इससे घटिया और कुछ भी नहीं हो सकता। यही फर्क है भारत के सैनिकों और पाकिस्तान के सैनिकों के व्यवहार में। मैं आज पूछना चाहता हूं कि वे लोग जो मानवाधिकारों का दावा करते हैं, आज कहां हैं? अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार जो पश्चिम के झंडे के पीछे चलते हैं, वे कहां देख रहे हैं?"
उन्होंने कहा, "जिस तरह डोनाल्ड ट्रंप ने पाकिस्तान के नेताओं को बुलाया था, आज मुझे पश्चिमी देश दिख ही नहीं रहे। वे पाकिस्तान द्वारा हो रहे मानवाधिकार उल्लंघन को नहीं देख पा रहे। पाकिस्तान अपने ही लोगों पर हमला कर रहा है। मैं संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद और सभी संबंधित एजेंसियों से मांग करता हूं कि वे इस मामले को संज्ञान में लें और पाकिस्तान को फटकारें।"
कश्मीर मुद्दे को लेकर भारत-पाकिस्तान संबंधों पर वैद ने पाकिस्तान पर झूठे प्रचार करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, "हजार बार झूठ बोल दो तो सच नहीं बन जाएगा, आपके बोलने से सच नहीं बदलता। आपके फार्मर इतिहासकारों ने भी कबूला है और बताया है कि कैसे वहां भारतीय सैनिकों ने तबाही मचाई। 1965 की जंग में आप हारे थे, 1971 की जंग तो पूरे विश्व ने देखी, जिसमें 93,000 पाकिस्तानी सैनिकों ने आत्मसमर्पण किया था। कारगिल युद्ध को आप कैसे भूल सकते हैं? आपके बड़े नेता कैसे दौड़ते हुए अमेरिका गए थे। 'ऑपरेशन सिंदूर' के दौरान आप अमेरिका क्यों गए? अगर आप जीत रहे थे तो कश्मीर क्यों नहीं आपका हुआ? कश्मीर अभी भी भारत के पास है। पाकिस्तान ने जैसा जम्मू-कश्मीर और भारत के साथ किया, आज उसका ही बदला पाकिस्तान खुद भुगत रहा है, वही सलूक अब बलूचिस्तान और टीटीपी कर रहे हैं।"
दरअसल, सोमवार तड़के तीराह वैली के माटरे दारा गांव पर पाकिस्तानी एयर फोर्स के जेएफ-17 फाइटर जेट्स ने आठ एलएस-6 बम गिराए, जिसमें कम से कम 30 निर्दोष नागरिक मारे गए, जिनमें महिलाएं और बच्चे शामिल हैं। यह हमला तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (टीटीपी) के ठिकानों को निशाना बनाने के नाम पर किया गया, लेकिन पीड़ितों ने इसे मानवता के खिलाफ अपराध करार दिया है। पाकिस्तानी संसद सदस्य इकबाल अफरीदी ने इसे 'मानवता के खिलाफ अपराध' बताते हुए न्याय की मांग की है। मानवाधिकार आयोग ऑफ पाकिस्तान (एचआरसीपी) ने भी निष्पक्ष जांच की मांग की है।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के 'ऑपरेशन सिंदूर' 2 के बयान पर वैद ने समर्थन जताया। उन्होंने कहा, "रक्षा मंत्री सही कह रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्पष्ट कहा है कि 'ऑपरेशन सिंदूर' अभी समाप्त नहीं हुआ है। अगर पाकिस्तान ऐसे ही काम करता रहा तो 'ऑपरेशन सिंदूर' को पुनः सक्रिय किया जाएगा। पहले हमने 11 एयरबेस उड़ाए थे और अब और भी एयरबेस नष्ट किए जा सकते हैं। कुछ आतंकवादी ठिकानों को भी ध्वस्त कर दिया जाएगा। पहले पाकिस्तान घुटनों पर आया था और अब दंडवत प्रणाम करने आएगा; इस बार हम नहीं झुकेंगे, रक्षा मंत्री सही कह रहे हैं।"
भारत-पाकिस्तान एशिया कप मैच के दौरान पाकिस्तानी खिलाड़ी साहिबजादा फरहान की हरकत पर वैद ने कड़ी नाराजगी जताई। "मैच खेलने आते हैं, न कि प्रोवोकेशन के लिए। उनके कई बयान आते हैं कि उन्होंने पिच पर सभी हिंदुओं के सामने नमाज पढ़ी। क्या पाकिस्तान यह नहीं जानता कि भारत में सबसे ज्यादा मुसलमान रहते हैं जो यहां नमाज अदा करते हैं?"