क्या पाकिस्तान ने सीजफायर के लिए खुद फोन किया? भारत को नहीं चाहिए मध्यस्थता: देवेंद्र फडणवीस

सारांश
Key Takeaways
- भारत ने किसी भी मध्यस्थता को अस्वीकार किया।
- पाकिस्तान ने सीजफायर के लिए खुद फोन किया।
- सीजफायर में किसी देश की मध्यस्थता नहीं थी।
- भारत का ऑपरेशन जारी रहेगा।
- विदेश सचिव ने बातचीत के विषयों का खुलासा किया।
मुंबई, 18 जून (राष्ट्र प्रेस)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बीच हुई फोन वार्ता को लेकर महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने महत्वपूर्ण बयान दिया है। उन्होंने कहा कि भारत ने पहले दिन से स्पष्ट कर दिया था कि हम किसी भी प्रकार की मध्यस्थता को नहीं मानेंगे।
देवेंद्र फडणवीस ने बुधवार को मीडिया से बात करते हुए कहा, "भारत ने पहले दिन से ही यह तय कर लिया था कि हम किसी भी मध्यस्थता को स्वीकार नहीं करेंगे। जब भारतीय मिसाइलों ने पाकिस्तान के 11 एयरबेसों को ऐसी स्थिति में पहुंचा दिया था कि वहां से कोई भी विमान उड़ान नहीं भर सकता था, तब पाकिस्तान को यह समझ में आ गया था कि वह यह युद्ध नहीं लड़ सकता। इसके बाद पाकिस्तान ने कई देशों से मदद मांगी कि आप मध्यस्थता करें और भारत को समझाएं, साथ ही सीजफायर की अपील करें। उन सभी देशों को भारत ने स्पष्ट रूप से बताया कि यह हमारा आपसी मामला है और कोई भी बीच में न आए। अगर पाकिस्तान सीजफायर चाहता है तो उसे सीधे आकर हमसे बात करनी चाहिए, जिस पर भारत विचार करेगा।"
उन्होंने आगे कहा, "बाद में पाकिस्तान ने खुद फोन किया और सीजफायर की गुजारिश की, जिसके बाद सीजफायर किया गया। इसमें किसी भी देश ने कोई मध्यस्थता नहीं की थी। भारत ने पहले भी यही बात कही थी और आज भी पीएम मोदी ने इसे दोहराया है। उन्होंने स्पष्ट कहा है कि हमारा ऑपरेशन जारी है। अगर कोई हम पर हमला करता है तो हम उस पर जवाबी हमला करेंगे। हमें किसी की मध्यस्थता की आवश्यकता नहीं है।"
सीएम फडणवीस ने कांग्रेस पर भी हमला बोला। उन्होंने कहा, "मुझे ऐसा लगता है कि कांग्रेस को जवाब मालूम था, लेकिन ये लोग सोते नहीं हैं, बल्कि सोने का नाटक करते हैं। ऐसे ढोंगी लोगों से आप क्या उम्मीद कर सकते हैं।"
विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बीच 35 मिनट की बातचीत में कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा हुई।
विक्रम मिस्री ने आगे कहा, "'ऑपरेशन सिंदूर' के बाद दोनों नेताओं की यह पहली बातचीत थी। गत 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद ट्रंप ने पीएम मोदी को फोन कर शोक संवेदना प्रकट की थी और आतंक के खिलाफ समर्थन व्यक्त किया था। पीएम मोदी ने राष्ट्रपति ट्रंप से 'ऑपरेशन सिंदूर' के विषय में विस्तार से चर्चा की।