क्या पीएम मोदी लखनऊ में अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती पर राष्ट्र प्रेरणा स्थल का उद्घाटन करेंगे?
सारांश
Key Takeaways
- राष्ट्र प्रेरणा स्थल का उद्घाटन २४ दिसंबर को होगा।
- यह स्थल अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती पर स्थापित किया जा रहा है।
- इसमें कांस्य प्रतिमाएं और संग्रहालय शामिल हैं।
नई दिल्ली, २४ दिसंबर (राष्ट्र प्रेस) प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी गुरुवार को पूर्व प्रधानमंत्री भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती के अवसर पर उत्तर प्रदेश जाएंगे और लखनऊ में राष्ट्र प्रेरणा स्थल का उद्घाटन करेंगे। यह कार्यक्रम दोपहर करीब २:३० बजे आयोजित होगा। प्रधानमंत्री इस अवसर पर एक जनसभा को भी संबोधित करेंगे।
राष्ट्र प्रेरणा स्थल को एक ऐतिहासिक राष्ट्रीय स्मारक और स्थायी राष्ट्रीय महत्व के प्रेरणादायक परिसर के रूप में विकसित किया गया है।
लगभग २३० करोड़ रुपए की लागत से निर्मित और ६५ एकड़ के विशाल क्षेत्र में फैला यह परिसर नेतृत्व मूल्यों, राष्ट्रीय सेवा, सांस्कृतिक चेतना और सार्वजनिक प्रेरणा को बढ़ावा देने के लिए समर्पित एक स्थायी राष्ट्रीय संपत्ति के रूप में परिकल्पित है।
इस परिसर में डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी, पंडित दीनदयाल उपाध्याय और पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की ६५ फीट ऊंची कांस्य प्रतिमाएं हैं, जो भारत की राजनीतिक सोच, राष्ट्र निर्माण और सार्वजनिक जीवन में उनके महत्वपूर्ण योगदान का प्रतीक हैं।
इसमें लगभग ९८,००० वर्ग फुट में फैला एक अत्याधुनिक संग्रहालय भी है, जिसे कमल के फूल के आकार में डिजाइन किया गया है। यह संग्रहालय उन्नत डिजिटल और इमर्सिव तकनीकों के माध्यम से भारत की राष्ट्रीय यात्रा और इन दूरदर्शी नेताओं के योगदान को प्रदर्शित करता है, जो आगंतुकों को एक आकर्षक और शैक्षिक अनुभव प्रदान करता है।
इससे पहले उत्तर प्रदेश के शहरी विकास मंत्री एके शर्मा और लखनऊ की मेयर सुषमा खड़कवाल ने साइट का निरीक्षण किया और उस क्षेत्र को फिर से हासिल करने में किए गए महत्वपूर्ण प्रयासों पर ध्यान दिया।
एके शर्मा ने बताया कि यह पार्क लगभग ८०-८५ एकड़ में फैला हुआ है, जिसका अधिकांश हिस्सा पहले कचरे के ढेर से भरा हुआ था, जिससे गंभीर स्वच्छता और पर्यावरणीय समस्याएं पैदा हो रही थीं।
उन्होंने आगे कहा कि लगभग ६.५ लाख मीट्रिक टन कचरा हटाया गया और ३२ एकड़ जमीन को सफलतापूर्वक वापस हासिल किया गया, जिससे जो इलाका कभी उपेक्षित और बदबूदार था, वह अब एक विशाल राष्ट्रीय प्रेरणा स्थल बन गया है।
इसका उद्घाटन निस्वार्थ नेतृत्व और सुशासन के आदर्शों को संरक्षित करने और बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है और उम्मीद है कि यह वर्तमान और आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणा का स्रोत बनेगा।