क्या पंजाब में क्षेत्रीय परिवहन प्राधिकरण ऑनलाइन हो गए हैं?
सारांश
Key Takeaways
- फेसलेस आरटीओ सेवा की शुरुआत से भ्रष्टाचार में कमी आएगी।
- लोगों को 1076 पर कॉल करके सेवाएं प्राप्त होंगी।
- 56 प्रमुख सेवाएं अब पूरी तरह से फेसलेस हैं।
- यह पहल डिजिटल क्रांति का हिस्सा है।
- दूरदराज के निवासियों को असुविधा से राहत मिलेगी।
लुधियाना, 29 अक्टूबर (राष्ट्र प्रेस)। पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल के साथ मिलकर बुधवार को जनता के लाभ के लिए फेसलेस आरटीओ सेवा का शुभारंभ किया।
इस पहल की शुरुआत करते हुए मुख्यमंत्री ने प्रतीकात्मक रूप से क्षेत्रीय परिवहन प्राधिकरण (आरटीओ) के कार्यालय पर ताला लगाकर भ्रष्टाचार के एक युग का समापन किया। दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री केजरीवाल ने मीडिया से बातचीत में कहा कि आज़ादी के बाद से राज्य के लोग नौकरशाही और उनके भ्रष्ट कार्यों के शिकार हो गए थे।
हालांकि, उन्होंने बताया कि आज राज्य इससे मुक्त हो गया है और अब लोग 1076 पर एक कॉल करके ड्राइविंग लाइसेंस, वाहन पंजीकरण प्रमाणपत्र और अन्य सेवाएं प्राप्त कर सकेंगे।
केजरीवाल ने कहा कि इस प्रणाली के द्वारा लोग अब अपने कार्यों को करने के लिए भ्रष्टाचार, असुविधा और बिचौलियों से मुक्त हो गए हैं। उन्होंने यह भी कहा कि यह कदम भारत में ही नहीं, बल्कि दुनिया के लिए भी एक ऐतिहासिक घटना है। पंजाब के लोगों के लिए यह एक महत्वपूर्ण दिन है, क्योंकि राज्य में पहली बार फेसलेस आरटीओ सेवाएं शुरू की जा रही हैं। यह सच में परिवहन विभाग में एक डिजिटल क्रांति है, क्योंकि अब सेवाएं लोगों के घरों तक पहुँचेंगी।
केजरीवाल ने कहा कि ड्राइविंग लाइसेंस और वाहन पंजीकरण प्रमाणपत्र से जुड़ी 56 प्रमुख सेवाएं अब पूरी तरह से फेसलेस हो गई हैं। इन सेवाओं का लाभ लोग सेवा केंद्रों के माध्यम से या 1076 हेल्पलाइन पर कॉल करके उठा सकते हैं।
केजरीवाल ने यह भी बताया कि आवेदन करने के बाद लोगों को दस्तावेज सत्यापन जैसी प्रक्रियाओं के लिए कई बार आरटीओ कार्यालयों के चक्कर लगाने पड़ते थे, जिससे विशेषकर दूरदराज के निवासियों, बुजुर्गों और विकलांग व्यक्तियों को काफी कठिनाई होती थी।
मुख्यमंत्री मान ने अपने संबोधन में बताया कि लोगों को आरटीओ कार्यालयों में काफी असुविधा का सामना करना पड़ता था। उन्होंने कहा कि इस पहल से आम नागरिक को होने वाली असुविधा और भ्रष्टाचार पर नियंत्रण लगा है और यह राज्य सरकार की भ्रष्टाचार के प्रति जीरो टॉलरेंस नीति के अनुरूप है।