क्या पूर्वी दिल्ली में मोबाइल स्नैचिंग गिरोह का भंडाफोड़ हुआ? तीन शातिर स्नैचर गिरफ्तार!

सारांश
Key Takeaways
- पूर्वी दिल्ली में मोबाइल स्नैचिंग का मामला सामने आया।
- पुलिस ने 24 घंटे के भीतर तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया।
- आरोपियों के पास से मोटरसाइकिल बरामद की गई।
- सभी आरोपी शराबी प्रवृत्ति के हैं।
- पुलिस मामले की जांच कर रही है।
नई दिल्ली, 7 सितंबर (राष्ट्र प्रेस)। पूर्वी जिले के मदन विहार थाना पुलिस ने मोबाइल स्नैचिंग के एक मामले का खुलासा करते हुए 24 घंटे के भीतर तीन आरोपियों को पकड़ लिया। गिरफ्तार व्यक्तियों की पहचान अरबाज, आशीष उर्फ आशु और सचिन के रूप में हुई है। पुलिस ने आरोपियों से वारदात में इस्तेमाल की गई मोटरसाइकिल भी बरामद की है।
2 सितंबर को मदन विहार थाने में एक पीसीआर कॉल आई कि आईपी एक्सटेंशन स्थित आरएएस विहार अपार्टमेंट के पास एक महिला का मोबाइल फोन छीना गया है। सूचना पर सब-इंस्पेक्टर नवीन अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे, लेकिन शिकायतकर्ता वहां नहीं मिलीं। जांच के दौरान पता चला कि पीड़िता, जो पेशे से एक स्कूल टीचर हैं, अपने कार्यस्थल चंदर विहार चली गई थीं। बाद में शिकायतकर्ता निकिता वर्मा थाने पहुंचीं और बताया कि उनका सैमसंग गैलेक्सी ए-16 मोबाइल फोन तीन बाइक सवार बदमाशों ने छीन लिया। इस संबंध में एफआईआर संख्या 304/2025, धारा 304(2)/3(5) बीएनएस के तहत मामला दर्ज किया गया।
घटना की गंभीरता को देखते हुए मदन विहार थाना के एसएचओ के नेतृत्व और एसीपी मदन विहार की निगरानी में एक विशेष टीम बनाई गई, जिसमें हेड कॉन्स्टेबल सचिन त्यागी, हेड कांस्टेबल नीरज और कांस्टेबल अश्विनी शामिल थे। टीम ने आस-पास के लगभग 100 सीसीटीवी कैमरों की फुटेज खंगाली। इनमें से एक संदिग्ध की पहचान अरबाज के रूप में हुई। तकनीकी निगरानी और गुप्त सूचना के आधार पर पुलिस ने 3 सितंबर 2025 को गाजीपुर इलाके से अरबाज और आशीष को गिरफ्तार कर लिया।
पूछताछ में दोनों ने अपने तीसरे साथी सचिन का नाम उजागर किया। इसके बाद गुप्त सूचना के आधार पर पुलिस ने सचिन को भी गिरफ्तार किया और वारदात में इस्तेमाल हुई मोटरसाइकिल को बरामद कर लिया।
आरोपी अरबाज (22) ने केवल 10वीं कक्षा तक पढ़ाई की है और पेशे से बढ़ई है। वह शराब का आदी है और पहले भी एक आपराधिक मामले में शामिल रहा है। 22 वर्षीय आशीष उर्फ आशु, आईपी एक्सटेंशन का निवासी है, जिसने 8वीं कक्षा तक पढ़ाई की है और खिलौनों की दुकान में मजदूरी करता है। वहीं, 21 वर्षीय सचिन, जो कोंडली का निवासी है, ने भी 8वीं कक्षा तक पढ़ाई की है और पेंटर का काम करता है।
पूछताछ में खुलासा हुआ कि तीनों आरोपी शराबी प्रवृत्ति के हैं और त्वरित पैसे की जरूरत को पूरा करने तथा ऐशो-आराम वाली जिंदगी जीने के लिए स्नैचिंग करते थे। ये खासकर उन राहगीरों को निशाना बनाते थे जो अकेले मोबाइल फोन का इस्तेमाल कर रहे होते।
पुलिस ने बताया कि इस मामले में आगे की जांच जारी है।