क्या आपको तेज, ऐश्वर्य और आरोग्य से भरा जीवन चाहिए? इन सूर्य मंदिरों में जाकर करें दर्शन!

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क्या आपको तेज, ऐश्वर्य और आरोग्य से भरा जीवन चाहिए? इन सूर्य मंदिरों में जाकर करें दर्शन!

सारांश

अगर आप अपने जीवन में तेज, ऐश्वर्य और आरोग्य की खोज में हैं, तो इन प्राचीन सूर्य मंदिरों में दर्शन करने से आपके जीवन में सकारात्मक परिवर्तन आ सकते हैं। जानें कैसे ये मंदिर आपके जीवन को बेहतर बना सकते हैं!

Key Takeaways

  • सूर्य को ज्योतिष में महत्वपूर्ण स्थान प्राप्त है।
  • सूर्य मंदिरों में दर्शन से आरोग्य और धन की प्राप्ति हो सकती है।
  • भारत में कई प्राचीन सूर्य मंदिर हैं।

नई दिल्ली, २५ जून (राष्ट्र प्रेस)। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, ग्रहों में सूर्य को राजा की पदवी प्रदान की गई है। जिस जातक की कुंडली में सूर्य की शुभता होती है, वह नेतृत्व करने की क्षमता रखता है। ज्योतिष के अनुसार, सूर्य आत्मा और पिता का प्रतिनिधित्व करता है।

वैदिक ज्योतिष में, सूर्य को देवता और ग्रह दोनों माना गया है। प्राचीन ग्रंथों के अनुसार, हिंदू धर्म में पंच देवता हैं, जिनमें गणेश जी, शिव जी, विष्णु जी, मां दुर्गा और सूर्यदेव शामिल हैं। इस प्रकार, ज्योतिष में सूर्य ग्रह का विशेष स्थान है।

सूर्य को आयु, रूप, आरोग्य और ऐश्वर्य देने वाला माना गया है। इसके अतिरिक्त, यह व्यक्तित्व, अधिकार, सामान्य स्वास्थ्य, सरकारी नौकरी, और राजनीतिक पद के प्रतीक हैं। यदि किसी व्यक्ति की कुंडली में सूर्य की स्थिति अशुभ है, तो उसे मान-सम्मान और प्रतिष्ठा की हानि का सामना करना पड़ सकता है। इस स्थिति में ऊर्जा की कमी भी देखी जा सकती है, जिससे जातक का चेहरा भी तेज रहित हो जाता है।

ज्योतिष के अनुसार, सूर्य देव आरोग्य के देवता हैं। अगर कोई भक्त गंभीर बीमारी से पीड़ित है, तो वह भगवान सूर्य के दर्शन कर अपने अच्छे स्वास्थ्य की मन्नत मांग सकता है। इसके अलावा, भगवान सूर्य देव भक्तों के सभी पाप भी हर लेते हैं।

भारत में कई सूर्य मंदिर हैं, जहाँ जाकर दर्शन करने से जातक की कुंडली में सूर्य के अशुभ प्रभावों से मुक्ति मिल सकती है। इसके साथ ही, स्वास्थ्य, आय, और धन की प्राप्ति के रास्ते भी खुल सकते हैं।

जगन्नाथ पुरी का कोणार्क सूर्य मंदिर भारत का सबसे प्राचीन और प्रसिद्ध सूर्य मंदिर है, जो अपनी खूबसूरती और अद्भुत शिल्पकला के लिए विश्व विख्यात है। ओडिशा का कोणार्क सूर्य मंदिर एक विश्व धरोहर है। यहां भगवान के साक्षात दर्शन होते हैं। यह मंदिर अब एक ऐतिहासिक धरोहर बन चुका है, और यहां सक्रिय पूजा १६वीं शताब्दी के बाद से बंद हो गई।

गुजरात के मोढेरा में एक सूर्य मंदिर स्थित है। मोढेरा का सूर्य मंदिर गुजरात के मेहसाणा जिले में पुष्पावती नदी के किनारे बना है। मंदिर परिसर तीन भागों में बंटा है: गुधा मंडप, सभा मंडप, और कुंड। इसका सभा मंडप ५२ खंभों पर खड़ा है, जो साल के ५२ हफ्तों को दर्शाता है।

मार्तंड सूर्य मंदिर कश्मीर में है, जिसे ८वीं सदी में कर्कोटा वंश के राजा ललितादित्य मुक्तापिदा ने बनवाया था। यह कश्मीरी वास्तुशिल्प का एक अद्भुत उदाहरण है।

देश के १२ सूर्य मंदिरों में से ९ अकेले बिहार में हैं। औरंगाबाद का देवार्क मंदिर विशेष रूप से प्रसिद्ध है।

आंध्रप्रदेश के अरसावल्ली गांव में भगवान सूरज का लगभग १३ शताब्दी पुराना भव्य मंदिर है।

बिहार के बेलाूर गांव का सूर्य मंदिर भी प्राचीन है।

राजस्थान के झालावाड़ में सूर्य मंदिर स्थित है, जहाँ भगवान विष्णु की प्रतिमा है।

मध्य प्रदेश के दतिया जिले में उनाव-बालाजी सूर्य मंदिर है, जहाँ त्वचा रोगों का इलाज करने की मान्यता है।

तमिलनाडु में कुंभकोणम के पास का सूर्यनार कोविल भी प्रसिद्ध है।

उत्तराखंड के अल्मोड़ा जिले के अधेली सुनार गांव में कटारमल सूर्य मंदिर है।

Point of View

बल्कि ये हमारी सांस्कृतिक धरोहर का भी हिस्सा हैं। इन मंदिरों में दर्शन करने से न केवल आध्यात्मिक ऊर्जा मिलती है, बल्कि यह व्यक्ति के स्वास्थ्य और समृद्धि में भी सुधार लाते हैं।
NationPress
25/06/2025

Frequently Asked Questions

सूर्य मंदिरों में दर्शन करने से क्या लाभ होता है?
दर्शन से व्यक्ति के जीवन में ऊर्जा, स्वास्थ्य और समृद्धि में सुधार हो सकता है।
क्या सभी सूर्य मंदिरों में पूजा होती है?
कुछ सूर्य मंदिरों में पूजा की अनुमति नहीं है, जबकि अन्य में नियमित पूजा होती है।
सूर्य देवता किसका प्रतिनिधित्व करते हैं?
सूर्य देवता आत्मा और पिता का प्रतिनिधित्व करते हैं।